वर्ष 2009 से लगातार हरियाणा में बढ़ रहे हैं दलितों के खिलाफ अपराध
हाल ही में हरियाणा में दलित परिवार के खिलाफ हुई घटना से भले ही सभी लोग हतप्रभ हों लेकिन हकीकत यह है कि पिछले कुछ वर्षों में इस राज्य में दलितों के ख ...और पढ़ें

नई दिल्ली। हाल ही में हरियाणा में दलित परिवार के खिलाफ हुई घटना से भले ही सभी लोग हतप्रभ हों लेकिन हकीकत यह है कि पिछले कुछ वर्षों में इस राज्य में दलितों के खिलाफ लगातार अपराध का ग्राफ बढ़ा है। नेशनल क्राइम रिकाॅर्ड ब्यूरो (NCRB) के मुताबिक वर्ष 2009 से लेकर वर्ष 2014 तक इन अपराधों में लगातार तेजी हुई है। एनसीआरबी की रिपोर्ट के मुताबिक वर्ष 2009 में 33,594, 2010 में 32,712, 2011 में 33,719, 2012 में 33,655, 2013 में 39,408 और वर्ष 2014 में करीब 47,064 अपराध दलितों के खिलाफ हुए हैं। गौरतलब है कि हरियाणा के सोनपेड में कुछ दिन पहले ही दबंगों ने दलित परिवार के घर में आग लगा दी थी जिसमें दो बच्चों की मौत हो गई थी।
इस संबंध में एनसीआरबी के आंकड़े बेहद चौंकाने वालेे हैं। इन आंकड़ों के मुताबिक पिछले वर्ष दलितों के खिलाफ हुए अपराधों में करीब 744 दलितों की हत्या की गई। वर्ष 2013 में 676, 2012 में 651, 2011 में 673, 2010 में 570 और 2009 में करीब 624 दलितों की हत्याएं की गईं। पिछले वर्ष जब हरियाणा में कांग्रेस की सरकार सत्ता पर काबिज थी, के दौरान ही करीब 21 दलितों की हत्या की गई।
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ब्यूरों के आंकड़े बताते हैं कि दलित महिलाओं के साथ होने वाले अपराधों में भी पिछले कुछ वर्षों में लगातार इजाफा हुआ है। आंकड़ों के मुताबिक वर्ष 2009 में 1346, 2010 में 1349, 2011 में 1557, 2012 में 1576, 2013 में 2074 और 2014 में करीब 2233 अपराध दलित महिलाओं के खिलाफ सामने आए हैं। दलितों को अगवा करने के मामलों में भी पिछले दो वर्षों में तेजी देखने को मिली है। वर्ष 2009 के दौरान 512, 2010 में 511, 2011 में 616, 2012 में 490, 2013 में 628 और 2014 में 755 दलितों को अगवा किया गया था।

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