भावी इंजीनियर गरीब बच्चों को बांट रहे ज्ञान की रोशनी
आइआइटी रुड़की में छात्रों का एक समूह गरीब व जरूरतमंद बच्चों को ज्ञान की रोशनी बांट रहा है। कक्षा में मेहनत के बाद ये छात्र आसपास के बच्चों के लिए मुफ्त कक्षाएं चलाते हैं।
रुड़की, [रीना डंडरियाल]: भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आइआइटी) रुड़की में छात्रों का एक समूह ऐसा भी है जो दिनभर जितनी मेहनत और लगन के साथ अपनी कक्षाओं में अध्ययन करता है, उतने ही समर्पण भाव से दूसरे बच्चों के जीवन में ज्ञान की रोशनी बांट रहा है। हम बात कर रहे हैं संस्थान में एनएसएस से जुड़े प्रेरणा सेल के छात्रों की।
संस्थान का प्रेरणा सेल पिछले दस साल से भी अधिक समय से शहर और आसपास गांवों के बच्चों को मुफ्त शिक्षा दे रहा है। वर्तमान में कक्षा चौथी से लेकर कक्षा 12वीं तक के 90 छात्र-छात्राओं को पढ़ाया जा रहा है। इस सेल से संस्थान के 200 छात्र-छात्राएं जुड़े हैं, जो शिफ्ट और समयानुसार इन बच्चों को पढ़ाते हैं।
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खास बात है कि हर एक बच्चे के लिए एक शिक्षक (आइआइटी छात्र) होता है। इन बच्चों में वो शामिल हैं जो गरीब तबके से होने के साथ ही पढ़ाई में थोड़ा कमजोर होते हैं, लेकिन उनमें आगे बढ़ने की लालसा है। इनमें शहर के निजी स्कूलों के साथ ही सरकारी विद्यालयों के विद्यार्थी शामिल हैं।
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इन बच्चों को रोजाना संस्थान परिसर स्थित आदर्श बाल निकेतन स्कूल परिसर में एक घंटे पढ़ाया जाता है। इसके लिए छात्रों को चार कमरे उपलब्ध करवाए गए हैं। प्रतिदिन अपनी कक्षाएं समाप्त होने के बाद संस्थान के छात्र इन बच्चों को पढ़ाने का कार्य करते हैं। अंग्रेजी, विज्ञान, गणित, सामाजिक विज्ञान सहित अन्य विषय बच्चों को पढ़ाए जाते हैं।
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इतना ही नहीं बच्चों के सर्वांगीण विकास के लिए उन्हें कंप्यूटर का बेसिक ज्ञान भी दिया जाता है। इसके लिए स्वयंसेवी अपने लैपटॉप में बच्चों को सिखाते हैं। वहीं राष्ट्रीय पर्वों पर आधारित प्रतियोगिताओं का भी समय-समय पर आयोजन किया जाता है।
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इन बच्चों के लिए एक पुस्तकालय भी बनाया गया है। यहां से उन्हें पाठ्य-सामग्री भी उपलब्ध करवाई जाती है। प्रेरणा सेल के सेक्रेटरी एवं बीटेक तृतीय वर्ष (सिविल ब्रांच) के छात्र अभिषेक कुमार के अनुसार सेल में उन्हीं छात्रों को शामिल किया जाता है जो इन बच्चों को पढ़ाने की इच्छा जताते हैं।
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इनमें बीटेक प्रथम, द्वितीय व तृतीय वर्ष के छात्र जुड़े हैं। उनके अनुसार बच्चों को पढ़ाकर सभी बच्चों को बेहद खुशी महसूस होती है। छात्र प्रसन्नजीत, नागेंद्र चौधरी, अर्पित अग्रवाल, महक मित्तल, मुस्कान मित्तल, कुंती पाटीदार, सलोनी अग्रवाल आदि स्वयंसेवी अधिक सक्रिय हैं।
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एनएसएस की प्रोग्राम को-आर्डिनेटर डॉ. स्मिता झा के अनुसार उन्हें प्रेरणा सेल से जुड़े छात्रों पर गर्व है। जो दिनभर कक्षाओं में व्यस्त होने के बावजूद अपना कीमती समय जरूरतमंद बच्चों के भविष्य को संवारने में दे रहे हैं। उनके अनुसार आइआइटी प्रशासन को इन स्वयंसेवियों के कार्य को सराहने के लिए प्रोत्साहित करना चाहिए।
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