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बीजेपी ने उठाया पर्दा, कोई और नहीं, मोदी ही होंगे पीएम उम्मीदवार

समय पूर्व लोकसभा चुनाव की संभावना देख रही प्रमुख विपक्ष भाजपा ने इसके लिए तैयारी शुरू कर दी है। मिशन 2014 में भाजपा नरेंद्र मोदी को ही प्रधानमंत्री का चेहरा बनाकर उतारेगी। संघ भी शुरुआती स्वीकृति के बाद अगले सप्ताह महाराष्ट्र के अमरावती में होने वाली बैठक में इस पर मुहर लगा देगा।

By Edited By: Published: Tue, 09 Jul 2013 05:23 AM (IST)Updated: Tue, 09 Jul 2013 11:08 AM (IST)

आशुतोष झा, नई दिल्ली। समय पूर्व लोकसभा चुनाव की संभावना देख रही प्रमुख विपक्ष भाजपा ने इसके लिए तैयारी शुरू कर दी है। मिशन 2014 में भाजपा नरेंद्र मोदी को ही प्रधानमंत्री का चेहरा बनाकर उतारेगी। संघ भी शुरुआती स्वीकृति के बाद अगले सप्ताह महाराष्ट्र के अमरावती में होने वाली बैठक में इस पर मुहर लगा देगा। संकेत स्पष्ट हैं कि इस महीने के अंत तक मोदी को प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित कर दिया जाएगा।

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समय पूर्व चुनाव की अटकल कांग्रेस में तेज है। इसे भांपते हुए भाजपा ने अपनी तैयारी शुरू कर दी है। भाजपा ही नहीं राजग में भी अब मोदी के नाम कोई अड़चन नहीं है तो पार्टी ने उन्हें बतौर पीएम प्रत्याशी पेश करने का मन बना लिया है। 4 और 8 जुलाई को हुई संसदीय बोर्ड की बैठक के बीच पार्टी में कई घटनाएं हुई हैं। भाजपा के तीन शीर्ष नेता मुरली मनोहर जोशी, लालकृष्ण आडवाणी और फिर राजनाथ सिंह ने नागपुर जाकर सरसंघचालक से मुलाकात की थी। वहां उन्हें सलाह दी गई थी कि चुनाव में उतरने से पहले पार्टी बंटी हुई नहीं दिखनी चाहिए। एक तरफ जहां पार्टी के अंदरूनी मतभेदों को दुरुस्त कर आगे बढ़ने के मामले में संघ ने हस्तक्षेप किया। वहीं इसका मन भी तैयार हो गया कि अब प्रधानमंत्री उम्मीदवार घोषित करने में देर नहीं होनी चाहिए।

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सूत्रों ने बताया कि सबकुछ ठीक रहा तो जुलाई के अंत या अगस्त की शुरुआत में ही इसकी औपचारिक घोषणा हो जाएगी। यही कारण था कि सोमवार को हुई संसदीय बोर्ड की बैठक में एक तरफ जहां पार्टी अध्यक्ष राजनाथ सिंह और मोदी की टीम को मिलकर चुनावी अभियान के लिए समितियां बनाने का जिम्मा सौंपा गया। वहीं संसदीय बोर्ड के सभी वरिष्ठ सदस्यों से लगातार चर्चा का खाका तैयार हो गया। हर सप्ताह संसदीय बोर्ड की बैठकें हुआ करेंगी। इसमें सम्मिलित होने के लिए मोदी का दिल्ली आना-जाना अब तेज होगा।

गौरतलब है कि राजग में सिर्फ जदयू को मोदी के नाम पर आपत्ति थी। जदयू से अलगाव के बाद राजग में अब उनके नाम को लेकर कोई मतभेद नहीं है। अकाली दल शुरू से ही मोदी के साथ है। जबकि शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे से नरेंद्र मोदी ने हाल ही में मुंबई में मुलाकात कर गिले-शिकवे दूर कर लिए थे। यहां तक कि राजग की भावी सहयोगी के रूप में देखी जा रहीं तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जयललिता ने भाजपा चुनाव अभियान समिति का अध्यक्ष बनने पर गुजरात के मुख्यमंत्री को बधाई दी थी।

आगे की रणनीति का खाका तैयार

बिल्कुल सिर पर चुनाव देख रहे भाजपा नेतृत्व ने सोमवार को हुई संसदीय बोर्ड में आगे की रणनीति का खाका तैयार कर लिया है। पार्टी महासचिव अनंत कुमार ने तो घोषणा कर दी कि भाजपा किसी भी वक्त चुनाव के लिए तैयार है। बैठक में पूर्व अध्यक्ष वेंकैया नायडू ने चुनाव प्रबंधन पर अपने विचार सामने रखे। आगे की बैठकों में उस पर चर्चा होगी। अभी यह तय हो गया कि मोदी और राजनाथ विचार विमर्श कर चुनाव प्रबंधन, चुनाव संचालन और अभियान से संबंधित समितियों का गठन करेंगे।

बूथ स्तर समिति, साहित्य निर्माण जैसी कई समितियों का भी गठन किया जाएगा। स्पष्ट है कि चुनाव अभियान समिति का कामकाज इन समितियों से ही कराया जाएगा। साथ ही राज्यों के प्रभारियों को प्रदर्शन की जवाबदेही दी जाएगी। अच्छे और बुरे प्रदर्शन का श्रेय उन्हीं के खाते में जाएगा। पूरी रणनीति यह है कि जहां कामकाज चुस्त हो वहीं अंदरूनी तौर पर भी पार्टी एकजुट खड़ी दिखे। बैठक में सुब्रमण्यम स्वामी की जनता पार्टी को भाजपा में समाहित करने के मुद्दे पर चर्चा नहीं हो सकी। अगली बैठक में इस पर फैसला हो सकता है।

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