Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    EVM को लेकर विरोध बढ़ा, SP-AAP समेत आधा दर्जन दलों ने उठाए सवाल

    By JP YadavEdited By:
    Updated: Wed, 15 Mar 2017 07:26 AM (IST)

    AAP नेता संजय सिंह ने कहा कि पंजाब चुनाव जीतने वाली कांग्रेस को भी ईवीएम (EVM) पर संदेह है, बसपा को भी संदेह है और दूसरी पार्टियों भी संदेह है।

    EVM को लेकर विरोध बढ़ा, SP-AAP समेत आधा दर्जन दलों ने उठाए सवाल

    नई दिल्ली (जेएनएन)। उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव 2017 में मिली करारी हार के बाद इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (EVM) में गड़बड़ी को लेकर जहां समाजवादी पार्टी सुप्रीम कोर्ट जा सकती है, वहीं ईवीएम के खिलाफ तकरीबन आधा दर्जनभर पार्टियां आ गई है। बसपा-सपा के बाद कांग्रेस और अब आम आदमी पार्टी ने पंजाब और गोवा में अपेक्षित सफलता ना मिलने के बाद आम आदमी पार्टी (AAP) ने EVM यानी इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन पर संदेह जाहिर किया है। 

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    इसके साथ ही AAP ने आगामी दिल्ली नगर निगम चुनाव में मांग की है कि बैलट पेपर से चुनाव कराए जाएं।AAP के वरिष्ठ नेता संजय सिंह के मुताबिक, उत्तर प्रदेश में भी नगर पालिका और नगर पंचायत के चुनाव बैलट पेपर से होते हैं और ऐसे में दिल्ली एमसीडी (MCD) के चुनाव भी बैलेट पेपर से कराये जा सकते हैं।

    यह भी पढ़ेंः माया-अखिलेश के बाद अब कांग्रेस पार्टी ने भी उठाए EVM पर सवाल

    ईवीएम पर जताया संदेह

    संजय सिंह ने कहा कि पंजाब चुनाव जीतने वाली कांग्रेस को भी ईवीएम (EVM) पर संदेह है। वहीं, आप नेता बसपा, सपा और कांग्रेस द्वारा  EVM पर सवाल उठाने पर कहा कि बैलेट पेपर से चुनाव कराने में क्या हर्ज है?

    यह भी पढ़ेंः केजरीवाल ने लिखा EC को खत, EVM नहीं बैलेट पेपर से हो MCD चुनाव

    बता दें कि सपा, बसपा के बाद आरजेडी नेता लालू प्रसाद यादव ने भी ईवीएम पर शक जताया था। फिर कांग्रेस और अब आम आदमी पार्टी ने भी ईवीएम पर सवाल उठाए हैं। 

    यह भी पढ़ेंः गोवा व पंजाब चुनाव में झटके के बाद MCD चुनाव में AAP बदलेगी रणनीति

    यह कहा था लालू प्रसाद यादव ने

    लालू ने मायावती की ईवीएम जांच का समर्थन किया था और कहा कि ईवीएम की जांच होनी चाहिए क्योंकि वो मशीनें गुजरात से आती हैं। ऐसे में ईवीएम में गड़बड़ी की आशंका से इंकार नहीं किया जा सकता है।

    गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों में करारी हार झेल चुकी बहुजन समाज पार्टी की प्रमुख मायावती ने इसके लिए इलेक्ट्रोनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) को ज़िम्मेदार ठहराया है और इसके ज़रिए धोखाधड़ी का आरोप लगाया था।

    मायावती ने प्रधानमंत्री मोदी और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह को चुनौती दी थी कि यदि वो 'ईमानदार' हैं तो चुनाव आयोग से तुरंत वोटिंग की गिनती रोकने के लिए कहें और पारंपरिक मतपत्रों के ज़रिए दोबारा चुनाव कराने की घोषणा करने के लिए कहें।

    वहीं, दूसरी ओर समाजवादी पार्टी के अखिलेश यादव ने हार स्वीकार करते हुए कहा कि यदि ईवीएम के साथ छेड़छाड़ के आरोप लगे हैं तो उनकी जांच ज़रूर होनी चाहिए।

    इससे पहले 2009 में बीजेपी नेता लालकृष्ण आडवाणी ने भी ईवीएम को लेकर संदेह जताया था और परम्परागत मतपत्रों की वापसी की मांग की थी।

    यह भी पढ़ेंः माया-अखिलेश के बाद अब कांग्रेस पार्टी ने भी उठाए EVM पर सवाल