उत्तर प्रदेश में एसआइटी करेगी पेट्रोल पंपों पर घटतौली की जांच
डीजीपी सुलखान सिंह ने आइजी स्तर के अधिकारी देखरेख में एसआइटी गठित करने का निर्देश दिया है। यह पेट्रोल पंपों में घटतौली की जांच करेगी। मामले में 23 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
लखनऊ (जेएनएन)। लखनऊ के कई पेट्रोल पंपों में इलेक्ट्रानिक चिप लगाकर घटतौली किए जाने का भंडाभोड़ होने के बाद पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) सुलखान सिंह ने आइजी स्तर के अधिकारी देखरेख में विशेष जांच दल (एसआइटी) गठित करने का निर्देश दिया है। उल्लेखनीय है कि लखनऊ के सात पेट्रोल पंपों पर हाईटेक पेट्रोल चोरी में पुलिस ने चार पेट्रोल पंप मालिकों व नौ पंप प्रबंधकों सहित 23 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। इस मामले में कैबिनेट मंत्री श्रीकांत शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार ऐसी गड़बडिय़ां बर्दाश्त नहीं करेगी और कार्रवाई की जाएगी। डीजीपी ने भी जिलाधिकारियों को भेजी सलाह में कहा है कि उपभोक्ताओं के साथ लंबे समय से चल रही ठगी के इस धंधे से बेपरवाह रहने वाले बांट-माप विभाग के अधिकारियों की भूमिका की जांच कराई जाए। साथ ही प्रशासनिक अधिकारियों की निगरानी में बांट-माप विभाग का दल बनाकर पेट्रोल पंपों की चेकिंग का विशेष अभियान चलाया जाए। इसमें एसआइटी को भी शामिल किया जाए। एसआइटी में एसटीएफ के अधिकारी शामिल रहेंगे।
यह भी पढ़ें: योगी का नया एक्शन : प्रेजेंटेशन के बाद अब यूपी सभी विभागों के श्वेतपत्र
विभाग को नहीं मिली गड़बड़ी
एसटीएफ ने तो सुराग मिलने पर पेट्रोल पंपों में की जा रही चोरी का पर्दाफाश कर दिया लेकिन इस तरह की गड़बड़ी पकडऩे का जिम्मा जिस मूल विभाग यानी बांट-माप कार्यालय का है, उसके हाथ पेट्रोल चोरों की गर्दन तक पहुंच कर भी खाली रह गए। बांट-माप विभाग के आंकड़े बताते हैैं कि बीते एक साल में प्रदेश के 223 पेट्रोल पंपों में कम तेल दिए जाने के मामले तो पकड़े गए, लेकिन विभाग के निरीक्षक इसकी वजह नहीं पकड़ पाए। फिलहाल ये सभी पेट्रोल पंप सील कर दिए गए हैैं और मामला अदालत में है। बांट-माप विभाग ने वित्तीय वर्ष 2016-17 के दौरान प्रदेश भर में कुल 19,882 पेट्रोल पंपों की जांच की, लेकिन, मशीन में हेराफेरी कर घटतौली का वे एक भी मामला नहीं पकड़ पाए।
यह भी पढ़ें: उन्नाव में फोटो लेकर संदिग्ध आतंकी गाजीबाबा का सहयोगी तलाश रही पुलिस
गड़बडिय़ां कागजी खानापूरी से जुड़ी
बांट-माप विभाग के उपनियंत्रक ओपी सिंह बताते हैैं कि 1088 पेट्रोल पंपों में विभिन्न अनियमितताएं पाई गईं, लेकिन इसमें अधिकतर गड़बडिय़ां कागजी खानापूरी से जुड़ी थीं। मसलन, कहीं पंप की मशीनों का वैरीफिकेशन नहीं हुआ था तो कहीं नपने पर मुहर नहीं लगी थी। जांच के दौरान बांट-माप विभाग की टीमों ने 223 पेट्रोल पंपों में कम मात्रा में तेल दिए जाने का मामला पकड़ा, लेकिन विभाग के निरीक्षक मशीन में गड़बड़ी करने के साक्ष्य नहीं जुटा सके, इसलिए पंप सील कर केस दर्ज करने और पेट्रोलियम कंपनियों को मामले की जानकारी देने से आगे कुछ नहीं हो सका।
बिजली मीटरों की तरह पंप भी स्लो
पेट्रोल पंपों की डिस्पेंसर यूनिट में पूरी माप दिखाकर सुनियोजित तरीके से की जा रही पेट्रोल की चोरी रोकने के लिए बांट-माप विभाग के अधिकारी बड़ा अभियान चलाने की जरूरत बताते हैैं। विभाग के एक अधिकारी ने माना कि पुलिस को अगर सुराग न मिले होते तो यह गड़बड़ी पकडऩा मुश्किल था। अधिकारियों को आशंका है कि बिजली मीटरों की तरह पंपों की डिस्पेंसर यूनिट को भी स्लो करने वाले गिरोह पूरे प्रदेश में फैले हैैं और मुनाफा बढ़ाने के लिए पंप मालिक इनकी मदद से मशीन में चिप और रिमोट लगाकर नागरिकों को चूना लगा रहे हैैं।
नए नियंत्रक का इंतजार
धोखाधड़ी की नई चुनौतियों से निपटने के लिए बांट-माप निरीक्षकों को आधुनिक तकनीक में पारंगत करने का मामला हो या पेट्रोल पंपों में गड़बड़ी मिलने के बाद बड़े पैमाने पर जांच अभियान चलाने की बात हो, बांट-माप विभाग इन मुद्दों पर फैसला लेने के लिए अपने नए नियंत्रक का इंतजार कर रहा है। विभाग के अधिकारियों ने बताया कि दो दिन में नए नियंत्रक के आने के बाद जैसा तय होगा, वैसा किया जाएगा।
सफेद हाथी बनी हेल्पलाइन
बांट-माप विभाग कार्यालय के एक कक्ष में 'थ्री-पी' मॉडल पर संचालित की जा रही उप्र राज्य उपभोक्ता हेल्पलाइन भी सफेद हाथी बन कर रह गई है। 18001800300 नंबर की इस हेल्पलाइन में न कोई शिकायत दर्ज होती है और न ही शिकायत से संबंधित विभाग से हेल्पलाइन द्वारा कोई संपर्क किया जाता है। यहां बैठी युवतियां बिना किसी प्रशिक्षण के शिकायतकर्ताओं को सिर्फ सलाह देती हैैं कि उन्हें कहां शिकायत करनी चाहिए। मसलन, कोई यदि यहां पेट्रोल कम मिलने की शिकायत करे तो हेल्पलाइन से हेल्प के नाम पर सिर्फ इतना ही बताया जाता है कि आप पंप के मैनेजर से शिकायत कर दीजिए।
पेट्रोल पंपों पर गड़बड़ी बर्दाश्त नहीं : मंत्री
प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री श्रीकांत शर्मा ने पेट्रोल पंपों पर घटतौली पकड़े जाने को गंभीर मामला ठहराते हुए कहा कि इस पर पेट्रोलियम मंत्रालय सतर्क है। राज्य सरकार भी ऐसी गड़बडिय़ां बर्दाश्त नहीं करेगी और कार्रवाई की जाएगी।