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    अदालत के आदेश पर महिला का शव कब्र से खुदवाकर पोस्टमार्टम

    By Nawal MishraEdited By:
    Updated: Fri, 17 Mar 2017 07:58 PM (IST)

    संदिग्ध मौत के मामले में कोर्ट ने कब्र से शव खुदवा कर पोस्टमार्टम कराने का आदेश दिया है। आज पुलिस ने कब्र से शव निकलवाकर पोस्टमार्टम कराया।

    अदालत के आदेश पर महिला का शव कब्र से खुदवाकर पोस्टमार्टम

    अमेठी (जेएनएन)। अमेठी के बाजारशुकुल क्षेत्र के भरोसी का पुरवा गांव में 25 जनवरी को एक प्रसूता की संदिग्ध परिस्थिति में मौत गई थी। जिसमें ससुरालीजनों ने शव को तत्काल दफन करा दिया था। मामले में मायके पक्ष के लोगो ने पुलिस से दहेज हत्या का आरोप लगाया था। मामले में पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की थी। जिसपर मृतका के परिजनों ने न्यायलय ने याचिका दायर की थी। जिसपर न्यायलय ने शव कब्र से खुदवा कर पोस्टमार्टम  कराने का आदेश दिया है। आज पुलिस ने कब्र खुदवा कर शव बाहर निकाला है।

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    विवरण के मुताबिक मृतका अकीलुन निशा के भाई शकील निवासी पूरे गुलाल तेतारपुर ने पुलिस को दी तहरीर में उसके ससुरालीजनों पर आरोप लगाया है कि मृतका के पति आमिर खां,जेठ तुफैल,ननद हीना,ससुर जाबिर व जेठानी और सास ने उसे दहेज के लिए मार डाला है। बताते चलें शकील पुत्र जब्बार निवासी पूरे गुलाल की 10 अक्टूबर 2013 को उक्त गांव निवासी आमिर पुत्र जाबिर के साथ निकाह हुआ था।उसी समय से वह सब उसकी बहन को दहेज के लिए परेशान कर रहे थे। उसने कई बार इसका बिरोध भी किया फिर भी वह सब उसे प्रताड़ित करना नही बन्द किया। वह मेहनत मजदूरी करके गुजरात में अपनी बहन का इलाज भी करा रहा था।उसका पति आमिर उसे वहां से अपने घर लेकर चला आया। अलीमुन को प्रसव था। चिकित्सकों ने उसकी हाई रिस्क प्रेगनेंसी की भी सलाह दी थी। उसे 25 जनवरी को बच्चा पैदा हुआ और उसको उक्त ससुरालीजनों ने मारकर आनन फानन दफन कर दिया।
    शकील का आरोप है कि उसे उसकी बहन की मौत की सूचना तक नही दी गई।शव का दफन करने के बाद जब उसको सूचना दी गई उसी समय उसने स्पीड पोस्ट के जरिये एस पी को शिकायती पत्र भेजकर मामले की जांच कराये जाने की गुहार की थी। वह वहां से घर आया और न जाने कितने अधिकारियों की दहलीज पर माथा टेक अपनी बहन की दहेज हत्या का मुकदमा लिखाने का प्रयास किया किन्तु उसकी किसी ने भी नही सुनी। 12 दिन बाद 6 फ़रवरी को उसकी रिपोर्ट तो पुलिस ने लिख ली फिर भी उसने न तो दफन लाश का परीक्षण कराने की जहमत उठायी न ही आरोपियों के खिलाफ कोई कार्यवाही ही की।पुलिस की कार्यशैली से क्षुब्ध शकील ने उच्च न्यायालय की शरण ली जिस पर कोर्ट ने जिला प्रशासन को लाश खुदवाकर उसका परीक्षण कराने का फरमान जारी किया।कोर्ट के आदेश पर उपजिलाधिकारी अभय कुमार पाण्डेय के नेतृत्व में पहुंची पुलिस ने 25 जनवरी को दफन लाश को खुदवाकर आज परीक्षण के लिए भेजा।