श्रीलंका ने रिहा किए 98 भारतीय मछुआरे
कोलंबो। अमेरिका समर्थित संयुक्त राष्ट्र के प्रस्ताव पर मतदान में भारत के हिस्सा नहीं लेने से प्रसन्न श्रीलंका के राष्ट्रपति महिंद्रा राजपक्षे ने शुक्रवार को
कोलंबो। अमेरिका समर्थित संयुक्त राष्ट्र के प्रस्ताव पर मतदान में भारत के हिस्सा नहीं लेने से प्रसन्न श्रीलंका के राष्ट्रपति महिंद्रा राजपक्षे ने शुक्रवार को 98 भारतीय मछुआरों को रिहा करने का आदेश दिया है। यह प्रस्ताव एक दिन पहले लाया गया था। इसमें श्रीलंका में गृहयुद्ध के दौरान हुए कथित मानवाधिकार उल्लंघन के मामलों की अंतरराष्ट्रीय जांच का प्रस्ताव है।
राष्ट्रपति के प्रवक्ता विजयनंदा हेराथ ने कहा कि राष्ट्रपति ने शुक्रवार सुबह सभी भारतीय मछुआरों की रिहाई के आदेश दिए हैं। 98 मछुआरों को रिहा करने के साथ उनके 62 नावों को भी छोड़ दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि राष्ट्रपति के निर्देश अटार्नी जनरल विभाग और मत्स्य मंत्रालय को भेज दिए गए हैं, ताकि उनकी रिहाई के लिए आवश्यक इंतजाम किए जा सकें। हाल के समय में भारतीय मछुआरों की नियमित गिरफ्तारी द्विपक्षीय संबंधों के लिए एक बड़ी दिक्कत बन गई है। भारत उन 12 देशों में शामिल है, जो गुरुवार को श्रीलंका के खिलाफ लाए गए प्रस्ताव पर मतदान से किनारा कर लिया था।
प्रस्ताव को जेनेवा में 47 सदस्यीय संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद में 12 के मुकाबले 23 मतों से पारित कर दिया गया था। इस प्रस्ताव में श्रीलंका के कथित मानवाधिकार उल्लंघनों की जांच की बात कही गई है। राजपक्षे ने मतदान से भारत की अनुपस्थिति का स्वागत करते हुए कहा कि यह बहुत महत्वपूर्ण घटनाक्रम है। श्रीलंका के विदेश मंत्री जीएल पेइरिस ने भी भारत के रुख का स्वागत किया है।
गौरतलब है कि इसके पहले भारत ने वर्ष 2012 और 2013 में श्रीलंका के खिलाफ पेश प्रस्ताव के समर्थन में मतदान किया था।
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