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निर्भया केस : इंटरव्यू के प्रसारण पर लगी रोक, एफआईआर दर्ज

बहुचर्चित दिल्ली गैंगरेप कांड में पुलिस ने दोषी के विवादास्पद इंटरव्‍यू के सिलसिले में मंगलवार को एफआइआर दर्ज किया। पुलिस का कहना है कि इंटरव्‍यू के प्रसारण पर रोक के लिए वो अदालत जाएगी। एफआइआर में किसी को नामित नहीं किया गया है, लेकिन दिल्ली पुलिस के आयुक्त बीएस बस्सी

By anand rajEdited By: Published: Wed, 04 Mar 2015 10:05 AM (IST)Updated: Wed, 04 Mar 2015 11:56 PM (IST)
निर्भया केस : इंटरव्यू के प्रसारण पर लगी रोक, एफआईआर दर्ज

नई दिल्ली। बहुचर्चित दिल्ली गैंगरेप कांड में पुलिस ने दोषी के विवादास्पद इंटरव्यू के सिलसिले में मंगलवार को एफआइआर दर्ज किया। पुलिस का कहना है कि इंटरव्यू के प्रसारण पर रोक के लिए वो अदालत जाएगी। एफआइआर में किसी को नामित नहीं किया गया है, लेकिन दिल्ली पुलिस के आयुक्त बीएस बस्सी ने कहा कि ‘मुख्य व्यक्ति’ वह है जिसने ये बयान दिए हैं। साथ ही बस्सी ने मीडिया से अपील की कि ऐसे किसी बयान का प्रसारण नहीं करे जो कानून की सीमा को लांघता हो। उधर इस मामले को लेकर राज्यसभा में भी हंगामा हो गया।

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गृहमंत्री ने मांगा रिपोर्ट

केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने 16 दिसंबर सामूहिक बलात्कार कांड के दोषी मुकेश सिंह से तिहा़ड़ जेल में एक ब्रिटिश फिल्मकार द्वारा साक्षात्कार करने पर कड़ा ऐतराज जताया और जेल प्रमुख से इस पूरे मुद्दे पर विस्तृत रिपोर्ट मांगी।

तिहाड़ जेल के महानिदेशक का जवाब

राजनाथ सिंह ने तिहाड़ जेल के महानिदेशक आलोक कुमार वर्मा से पूछा कि जेल के अंदर साक्षात्कार कैसे लिया गया? इस पर उन्हें बताया गया कि जिस समय विमला मेहरा तिहाड़ की महानिदेशक थीं, साक्षात्कार उसी समय लिया गया।

पीड़िता को बताया था जिम्मेदार

विदेशी फिल्मकार द्वारा लिए गए साक्षात्कार में मुकेश कुमार ने सामूहिक दुष्कर्म की घटना के लिए पीड़िता को जिम्मेदार बताया है। उसने कहा है कि यदि युवती व उसके दोस्त विरोध नहीं करते, तो उसकी जान नहीं जाती। महिलाएं रात को बाहर निकलती हैं, वे बदमाशों का ध्यान खींचने के लिए खुद जिम्मेदार होती हैं। मुकेश को अदालत मृत्युदंड की सजा सुना चुकी है।

कोर्ट ने इंटरव्यू के प्रसारण पर लगाई रोक

इस बीच दिल्ली पुलिस को साक्षात्कार का प्रसारण और प्रकाशन रोकने संबंधी कोर्ट का आदेश प्राप्त हो गया है। दिल्ली पुलिस के प्रवक्ता राजन भगत ने बताया कि मंगलवार देर शाम दिल्ली पुलिस पटियाला हाउस कोर्ट में मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट पुनीत पाहवा की अदालत में पहुंची और अगले आदेश तक मीडिया में इस विवादास्पद साक्षात्कार का प्रसारण व प्रकाशन रोकने का आदेश प्राप्त किया।

माता-पिता ने बताया बकवास

दोषी के साक्षात्कार पर पीड़िता युवती के माता-पिता ने कड़ी प्रतिक्रिया जताई है। उन्होंने मुकेश के बयान को बकवास बताते हुए कहा कि वह अपराधी है और उसका बयान कोई मायने नहीं रखता। ऐसे अपराधी को तुरंत फांसी पर चढ़ा दिया जाए।

अक्टूबर 2013 में मांगी थी अनुमति

अक्टूबर, 2013 में ब्रिटिश फिल्मकार लेस्ली उडविन ने गृह मंत्रालय से तिहाड़ में बंद वसंत विहार सामूहिक दुष्कर्म केस के आरोपियों का साक्षात्कार लेने के लिए अनुमति मांगी थी। मंत्रालय ने उनका पत्र तिहाड़ की महानिदेशक विमला मेहरा के पास भेज दिया था। इसके बाद उन्हें साक्षात्कार की अनुमति दे दी गई।

फिल्मकार का तर्क

उडविन का कहना है कि यह भारतीय महिलाओं के प्रति भारतीय पुरुषों की प्रवृत्ति को परखने का प्रयास है और इसमें कुछ भी संवेदनशील नहीं है।

पढ़ेंः दुष्कर्मी के साक्षात्कार पर केंद्र सख्त


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