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    "100 फीसद कैशलैस संभव नहीं हो, तो क्यों न करें लेस कैश की शुरुआत"

    By Kishor JoshiEdited By:
    Updated: Sun, 27 Nov 2016 01:54 PM (IST)

    मन की बात में पीएम ने कहा कि काले धन के सफाए के लिए कैशलेस अर्थव्यवस्था का होना जरूरी है।

    नई दिल्ली (जेएनएन)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को अपने रेडियो कार्यक्रम 'मन की बात' के जरिए देश को संबोधित किया। अपने संबोधन में पीएम मोदी ने कहा कि कुछ लोग अभी भी काले धन को सफेद करने में लगे हैं। उन्होंने कहा, "सुधरना नहीं सुधरना आपकी मर्जी है,लेकिन गरीबों का इस्तेमाल ना करें। गरीबों के खाते में पैसे डालने वालों पर कार्रवाई होगी ।"

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    मन की बात के मुख्य अंश

    • देशवासियों ने जिस अनूठे अंदाज़ में दिवाली जवानों को समर्पित की, इसका असर जवानों के चेहरे पर अभिव्यक्त होता था।
    • उन्होंने आग्रह किया कि कोई भी उत्सोव हो, त्योहार हो या खुशी का माहौल हो, जवानों को हम किसी न किसी रुप में जरूर याद करें।
    • यह इस कार्यक्रम का 26वां संस्करण है तथा 8 दिसंबर की मध्यरात्रि से हुए नोटबंदी के फैसले के बाद यह प्रधानमंत्री के 'मन की बात' का पहला संबोधन है।जब सारा राष्ट्र सेना के साथ खड़ा होता है तो सेना की ताकत 125 करोड़ गुना बढ़ जाती है।
    • कुछ दिन पहले जम्मू-कश्मीर के 95% छात्रों ने बोर्ड की परीक्षा में हिस्सा लिया। यह इस बात की ओर इशारा करता है कि हमारे बच्चे शिक्षा के माध्यम से उज्ज्वल भविष्य के लिए कृतसंकल्प हैं
    • नोटबंदी के फैसले पर पीएम ने कहा कि ये एक सामान्य फैसला नहीं था, कठिनाई भर फैसला है।
    • सब कहते थे कि 500/- और 1000/- वाले नोटों पर और विस्तार से बातें करें।
    • जिस समय ये निर्णय किया था, आपके सामने प्रस्तुत रखा था, तब भी मैंने सबके सामने कहा था कि निर्णय सामान्य नहीं है, कठिनाइयों से भरा हुआ है।
    • हमारा देश, सोने की तरह हर प्रकार से तप कर, निखर कर आगे निकलेगा।
    • 70 साल से हम जिन बीमारियों को झेल रहे हैं, उनसे मुक्ति का अभियान सरल नहीं।
    • मैं इस महायज्ञ (नोटबंदी) में परिश्रम व पुरुषार्थ करने वाले साथियों का मैं हृदय से धन्यवाद करता हूं।
    • नोटबंदी पर मन की बात में पीएम ने कहा कि आप की मुश्किलों को समझता हूं, लोगों को भ्रमित करने की कोशिश की जा रही है।
    • आपकी कठिनाइयों को मैं समझता हूँ, भ्रमित करने के प्रयास चल रहे हैं फिर भी देशहित की इस बात को आपने स्वीकार किया है।
    • कुछ लोग अपने पैसे बचाने के लिए गरीबों को भ्रमित करने का काम कर रहे हैं।
    • पिछले वर्ष की तुलना में काफ़ी मात्रा में बुआई बढ़ी है, कठिनाइयों के बीच भी किसान ने रास्ते खोजे हैं।
    • मुश्किलों के बाद भी बुवाई में बढ़ोतरी हुई है, इसके लिए मैं किसानों को बधाई देता हूं।
    • मैं अपने छोटे व्यापारी भाइयों-बहनों से कहना चाहता हूं कि मौका है, आप भी डिजिटल दुनिया में प्रवेश कर लीजिए।
    • हमारा गाँव, हमारा किसान ये हमारे देश की अर्थव्यवस्था की एक मज़बूत धुरी हैं।
    • इतना बड़ा मैंने निर्णय देश के ग़रीब के लिये, किसान के लिये, मज़दूर के लिये, वंचित के लिये, पीड़ित के लिये लिया है।
    • देश को आर्थिक ऊंचाइयों पर ले जाने का अवसर आया है।
    • ये ठीक है कि शत-प्रतिशत कैशलैस सोसाइटी संभव नहीं होती, लेकिन क्यों न भारत लेस कैश सोसाइटी की शुरुआत करें।
    • मैं मज़दूर भाइयों-बहनों को इस योजना में भागीदार बनने के लिए विशेष आग्रह करता हूं।
    • हमारा गाँव, हमारा किसान ये हमारे देश की अर्थव्यवस्था की एक मज़बूत धुरी हैं, कठिनाइयों के बीच भी, किसान ने रास्ते खोजे हैं।
    • नोटबंदी के फैसले के बाद रुपे कॉर्ड के इस्तेमाल में 300 फीसद की बढ़ोतरी हुई है, रुपे का इस्तेमाल वॉट्सएप की तरह की आसान है।
    • मुझे आपकी मदद चाहिए और विश्वास है कि देश के करोड़ों नौजवान यह काम करेंगे, आज से ही संकल्प लीजिए कि आप कैशलैस इकोनॉमी का हिस्सा बनेंगे।

    आपको बता दें कि 500 और 1000 रुपये की नोटबंदी के खिलाफ विपक्षी दलों ने 28 नवंबर को भारत बंद का एलान किया है। बिहार में सत्ताधारी महागठबंधन का नेतृत्व कर रहे नीतीश कुमार ने विपक्ष की ओर से बुलाए गए इस भारत बंद से खुद को अलग कर लिया है।

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    मन की बात कार्यक्रम को ज्यादा से ज्यादा लोंगों तक पहुंचाने के उद्देश्य से असम में माजूली जिला प्रशासन आज इस कार्यक्रम को महत्वपूर्ण सार्वजनिक स्थानों पर लाउडस्पीकरों के जरिए प्रसारित किया, जिससे लोग प्रधानमंत्री के विचारो को सुन सकें।

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