नाकेबंदी भारत ने नहीं, मधेशियों ने की है : महतो
नेपाल सरकार ने मधेशी आंदोलन को दबाने के लिए सुनियोजित ढंग से भारत सरकार के खिलाफ नाकेबंदी करने का दुष्प्रचार शुरूकिया है। उसकी मंशा है कि भारत सरकार मधेशी समुदाय को समर्थन न दे और वे मनमानी करते रहें।
गोरखपुर (ब्यूरो)। नेपाल सरकार ने मधेशी आंदोलन को दबाने के लिए सुनियोजित ढंग से भारत सरकार के खिलाफ नाकेबंदी करने का दुष्प्रचार शुरूकिया है। उसकी मंशा है कि भारत सरकार मधेशी समुदाय को समर्थन न दे और वे मनमानी करते रहें। हकीकत यह है कि नाकेबंदी भारत सरकार ने नहीं बल्कि मधेशी लोगों ने की है, जिसे आगे भी जारी रखा जाएगा।
यह बात नेपाल सद्भावना पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं मधेश नेता राजेंद्र महतो ने कही है। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मधेशियों की मांगें स्वीकार किए जाने के लिए नेपाल सरकार पर दबाव बनाने की मांग की और कहा कि मधेशी समुदाय अपने हक के लिए आंदोलन और तेज करेगा। यहां पत्रकारों से बातचीत में महतो ने कहा कि नेपाल का भारत से जो रिश्ता है, वह किसी और देश से नहीं।
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नेपाल सरकार द्वारा भारत का विरोध खोखला राष्ट्रवाद है। नेपाल सरकार दो तरह से मधेशी आंदोलन का दमन करना चाहती है। एक तो भारत का विरोध करके और दूसरा गोली चलाकर। महतो ने कहा कि पहा़़डी जातियों की यह साजिश है कि हमें भारतीय कहकर नेपाल से उखा़़डने की कोशिश करते हैं। मधेशी मूलत: नेपाली हैं। नेपाल सीमा पर फंसा करो़़डों का खाद्यान्न नेपाल में आंदोलन के चलते यहां के खाद्यान्न व्यवसायी सांसत में प़़ड गए हैं। बस्ती, सिद्धार्थनगर, बहराइच व लखनऊ से नेपाल जाने वाला करोड़ों रुपए का खाद्यान्न सीमा पर 19 सितंबर से फंसा पड़ा है।
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हवाई मार्ग से ईधन लाएगा नेपाल
काठमांडू । भारत से जमीनी व्यापार मार्ग बंद होने के कारण ईधन की किल्लत से जूझ रहा नेपाल अब दूसरे विकल्पों पर विचार कर रहा है। नेपाल तेल निगम (एनओसी) ने पेट्रोल, डीजल, केरोसिन, विमानन ईधन और घरेलू गैस की आपूर्ति के लिए वैश्विक निविदा जारी की है।