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पति की हत्‍या कर शव टॉयलेट में दबाया, 8 माह बाद खुलासा

पहले पति की क्रूरतापूर्वक हत्या की। फिर उसकी लाश को पानी की प्लास्टिक में बंद कर जमीन में गाड़ दिया। इस घटना को आठ महीने गुजर चुके थे। आरोपी महिला न तो कानून की नजरों में आई और न ही किसी और ने उसे दोषी करार दिया।

By anand rajEdited By: Published: Mon, 01 Jun 2015 10:57 AM (IST)Updated: Mon, 01 Jun 2015 02:09 PM (IST)
पति की हत्‍या कर शव टॉयलेट में दबाया, 8 माह बाद खुलासा

ग्वालियर पहले पति की क्रूरतापूर्वक हत्या की। फिर उसकी लाश को पानी की प्लास्टिक में बंद कर जमीन में गाड़ दिया। इस घटना को आठ महीने गुजर चुके थे। आरोपी महिला न तो कानून की नजरों में आई और न ही किसी और ने उसे दोषी करार दिया।

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लेकिन आठ माह बाद उसके अंदर एकाएक अपराधबोध जागा और आत्मग्लानी ने उसे खुदबखुद अपराध कबूल करने के लिए मजबूर कर दिया। इसके बाद महिला रविवार को माधवगंज थाने पहुंच गई और उसने अपना अपराध स्वीकार कर लिया।

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जिंसी नाला नंबर-3 सैलार की गोठ में रहने वाली संतो बाई ने लगभग 7-8 माह पहले अपने पति सुरेश गोस्वामी की नशे की हालत घर में मोगरी से सिर पर प्रहार कर हत्या कर दी थी। इसके बाद उसकी लाश को पानी की प्लास्टिक की टंकी में बंद कर जमीन में गाड़ दिया था। 8 माह तक उसने पति की हत्या का किसी को पता नहीं चलने दिया, लेकिन पिछले कुछ दिनों से वह पति की हत्या बोझ बर्दाश्त नहीं कर पा रही थी।

रविवार को संतो बाई ने झांसी से अपनी मां कल्लू बाई को बुलाकर उसे बताया कि उसने अपने अत्याचारी पति की हत्या कर उसे शौचालय के नीचे दफन कर दिया है। आरोपी महिला ने अपने 12 साल के बेटे को अजय को भी वह जगह दिखाई, जहां उसके पिता को गाड़ा गया था। बेटी की इस करतूत की जानकारी लगते ही उसकी मां तो छोड़कर भाई, लेकिन संतो ने माधवगंज थाने पहुंचकर पति की हत्या की पूरी कहानी सुना दी। इसके बाद पुलिस ने शौचालय के नीचे दफ्न सुरेश के शव को बरामद कर लिया।

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भाई और पड़ोसियों को किया गुमराह

संतो बाई से जब सुरेश के संबंध उसके भाई, पड़ोसी व बच्चों द्वारा पूछताछ की जाती थी,वह उन्हें बातें बनाकर गुमराह कर देती थी। वह कहती थी कर्ज अधिक होने के कारण सुरेश घर से चले गए हैं। वह दिल्ली और आगरा में गाड़ी चला रहे हैं।

मां और बहन को सुनाई पूरी कहानी पति की हत्या करने के बाद संतो बाई अपने 12 साल के बेटे अजय व 10 साल की बेटी खुशी के साथ रह रही थी। वह एक अस्पताल में नौकरी करने भी जा रही थी, लेकिन मन पर रखा पति की हत्या का बोझ वह अंतत: बर्दाश्त नहीं कर पाई। उसने अपनी मां कल्लू बाई को झांसी से बुलाया और बड़ी बहन सुलेखा की मौजूदगी में पति की हत्या करने से लेकर उसे दफनाने तक की पूरी कहानी सुना दी। सुलेखा उसकी बहन के साथ-साथ संतो बाई की जिठानी भी है। संतो ने मां से कहा कि वह उसके बच्चों को ले। कानून उसे जो सजा देगा, वह उसे कबूल कर लेगी।

शव को निकालने में लगे 3 घंटे

घटना की जानकारी लगने पर सीएसपी दीपक भार्गव, टीआई संजीव नयन शर्मा, फोरेंसिक एक्सपर्ट डॉ. अखिलेश भार्गव के साथ मौके पर पहुंचे। संतो बाई ने कमरे में जिस स्थान पर शौचालय बनवाया था, उसी स्थान पर मजदूर लगाकर खुदाई कराई गई। पुलिस को शौचालय के नीचे से पानी की टंकी निकालने में पूरे 3 घंटे का समय लगा।

इसी टंकी में सुरेश गोस्वामी का शव बंद था। टंकी के ऊपर पुलिस को प्लास्टिक का कट्टा भी रखा मिला। लाश पानी की टंकी में डी-कंपोज हो चुकी थी। चूंकि टंकी पैक थी, इसलिए टंकी को डेड हाउस पहुंचा दिया गया। वही टंकी काटकर शव को बाहर निकाला गया। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है।

साभारः नई दुनिया

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