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    ऑस्ट्रेलिया और क्लार्क के नाम दर्ज हुआ यह अनचाहा रिकॉर्ड..

    By Edited By:
    Updated: Mon, 26 Aug 2013 11:04 PM (IST)

    ऑस्ट्रेलियाई कप्तान माइकल क्लार्क ने आखिरी टेस्ट में एड़ी-चोटी का जोर लगा दिया, लेकिन एक अनचाहा रिकॉर्ड अपने नाम करते हुए वह अपनी टीम को एशेज सीरीज में ...और पढ़ें

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    लंदन। ऑस्ट्रेलियाई कप्तान माइकल क्लार्क ने आखिरी टेस्ट में एड़ी-चोटी का जोर लगा दिया, लेकिन एक अनचाहा रिकॉर्ड अपने नाम करते हुए वह अपनी टीम को एशेज सीरीज में एक भी जीत नहीं दिला पाने वाले पहले ऑस्ट्रेलियाई कप्तान बन गए। क्लार्क ने अपने साहसिक फैसलों से चार दिनों से नीरस चल रहे टेस्ट में जान तो डाल दी। लेकिन मैच आखिर में खराब रोशनी की वजह से ड्रॉ पर ही छूटा।

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    पांचवें और अंतिम टेस्ट का चौथा दिन बारिश की वजह से धुल जाने के बाद पांचवें दिन रविवार को ऑस्ट्रेलिया ने इंग्लैंड की पहली पारी में बचे छह विकेट को जल्दी आउट करते हुए मेजबान टीम को 377 रन पर समेट दिया और पहली पारी में 115 रन की अहम बढ़त ली। इसके बाद क्लार्क की अगुआई वाली टीम ने फटाफट रन जोड़ते हुए चायकाल तक दूसरी पारी घोषित करने से पहले 111 रन जोड़कर अपनी कुल बढ़त 226 रन की कर ली। ऑस्ट्रेलिया ने अपनी दूसरी पारी में कुल 23 ओवर खेले और छह विकेट गंवाए। सीरीज पहले ही 3-0 से अपने नाम कर चुकी मेजबान टीम को आखिरी सत्र में 44 ओवर में जीत के लिए 227 रनों का लक्ष्य मिला।

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    इसके जवाब में इंग्लैंड ने सकारात्मक शुरुआत की और जल्द ही विपक्षी टीम को बैकफुट पर भेज दिया। जोनाथन ट्रॉट ने 59 रन और पीटरसन ने 55 गेंदों पर तेजी से 62 रन बनाकर टीम को जीत की राह पर धकेला। आखिरी चार ओवरों में इंग्लैंड को जीत के लिए 21 रन की जरूरत थी और उसके पांच विकेट हाथ में थे। मेजबानों की एक और जीत सुनिश्चित नजर आ रही थी, लेकिन तभी क्लार्क ने अंपायरों से खराब रोशनी की शिकायत की जिसे अंपायरों ने सही पाते हुए मैच वहीं रोक दिया, जिससे ऑस्ट्रेलिया को पहली बार 4-0 से हराने का उसका सपना पूरा नहीं हो सका। खेल रोके जाने के समय इंग्लैंड ने पांच विकेट पर 206 रन बना लिए थे।

    यदि क्लार्क यह मैच हार जाते तो वह क्रिकेट इतिहास के तीसरे कप्तान होते जिसे दोनों पारियां घोषित करने के बावजूद हार का सामना करना पड़ा। पहला वाकया 1967-68 में हुआ, तब पोर्ट ऑफ स्पेन में वेस्टइंडीज के कप्तान गैरी सोबर्स ने इंग्लैंड के खिलाफ टीम की दोनों पारियां घोषित की थीं, लेकिन अंत में उनकी टीम हार गई थी। इसके बाद 2005-06 में दक्षिण अफ्रीकी कप्तान ग्रीम स्मिथ ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सिडनी टेस्ट में यह गलती की थी।

    ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज शेन वॉटसन को 'मैन ऑफ द मैच' चुना गया, जबकि इंग्लैंड के इयान बेल और ऑस्ट्रेलिया के रेयान हैरिस को संयुक्त रूप से 'मैन ऑफ द सीरीज' चुना गया। 1950 के बाद यह पहला मौका है जब इंग्लैंड ने चिर-प्रतिद्वंद्वी ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ लगातार तीन एशेज सीरीज जीती हैं। ऑस्ट्रेलिया के पास जल्द ही इस हार का बदला चुकता करने का मौका होगा जब नवंबर में उसकी सरजमीं पर एशेज सीरीज खेली जाएगी।

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