Move to Jagran APP

कानपुर रेल हादसे के पीछे ISI का हाथ, संदिग्धों को रिमांड पर लेगी UP ATS

हाल की कानपुर रेल दुर्घटनाओं में दाउद इब्राहिम व ISI की संलिप्तता थी। बिहार के घोड़ासहन रेल ट्रैक बम कांड के सिलसिले में गिरफ्तार अपराधियों ने इसका खुलासा किया है।

By Amit AlokEdited By: Published: Tue, 17 Jan 2017 06:05 PM (IST)Updated: Wed, 18 Jan 2017 09:00 PM (IST)
कानपुर रेल हादसे के पीछे ISI का हाथ, संदिग्धों को रिमांड पर लेगी UP ATS
कानपुर रेल हादसे के पीछे ISI का हाथ, संदिग्धों को रिमांड पर लेगी UP ATS

पटना [जेएनएन]। पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी ISI नेपाल को बेस बनाकर बिहार के रास्ते भारत में ट्रेनों को उड़ाने की साजिश रच रहा है। ऐसे दो मामलों का खुलासा हो चुका है। बीते दिनों कानपुर में हुई ट्रेन दुर्घटनाओं में ISI की संलिप्तता थी। ISI ने बिहार के घाड़ासहन में भी ट्रेन को उड़ाने की साजिश रची थी, जो नाकाम रही। यह सनसनीखेज खुलासा बिहार पुलिस ने मंगलवार को किया।

loksabha election banner

20 नवंबर को हुए कानपुर ट्रेन हादसे में सनसनीखेज खुलासा हुआ है। इस ट्रेन हादसे में 142 लोगों की मौत की जिम्मेदार पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी ISI है। उसने ही ट्रैक पर बम रखकर ट्रेन को उड़ाने की साजिश रची। इसके बाद कानपुर के रूरा में एक और ट्रेन को निशाना बनाया गया। इस खुलासे के बाद उत्तर प्रदेश एटीएस मोतिहारी पहुंचकर संदिग्धों से पूछताछ कर रही है। एटीएस उन्हें रिमांड पर लेने की तैयारी कर रही है।

मोतिहारी पुलिस ने किया गिरफ्तार

उत्तर प्रदेश के कानपुर में हुए रेल हादसों व पूर्वी चंपारण के घोड़ासहन स्टेशन के पास इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस (आइईडी) लगाने की साजिश के पीछे पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी ISI थी। बीते दिन मोतिहारी पुलिस के हत्थे चढ़े तीन शातिर अपराधियों ने यह स्वीकर किया।

बताते चलें कि इंदौर से पटना जा रही ट्रेन इंदौर-राजेन्द्र नगर एक्सप्रेस पिछले साल 20 नवंबर में दुर्घटनाग्रस्त हो गई थी। इसमें 142 लोगों की मौत हो गई थी। इसके बाद कानपुर में ही रूरा के पास अजमेर-सियालदह एक्सप्रेस दुर्घटनाग्रस्त हो गई थी।

नेपाली आप्रवासी ने दुबई से रची थी साजिश, आइएसआइ का था हाथ

गिरफ्तार अपराधियों में शामिल मोती पासवान ने बताया कि दुबई के अप्रवासी नेपाली कारोबारी शमशुल होदा ने उसे ट्रेन को दुर्घटनाग्रस्त करने की जिम्मेवारी सौंपी थी। घोड़ासान में 01 अक्तूबर को ट्रेन दुर्घटना के टल जाने पर के बाद उसने कानपुर में इंदौर-पटना तथा अजमेर-सियालदह एक्सप्रेस को उड़ाने की जिम्मेवारी दी थी। मोती के अनुसार शमशुल ISI के लिए काम करता है। उसके नेटवर्क में कई बड़े आतंकवादी भी हैं।

यह भी पढ़ें: ट्रेन हादसा : जब बूढ़ी मां की छड़ी ने बचा ली पूरे परिवार की जान...जानिए

मोती पासवान ने बताया कि कानपुर में 20 नवंबर 2016 को हुए रेल हादसे की साजिश ISI ने रची थी। उसे अंजाम देने में उसके साथ ऑर भी लोग थे। उनमें से दो जुबैर व जियायुल दिल्ली में पकड़े जा चुके हैं। पूर्वी चंपारण के एसपी जितेन्द्र राणा के समक्ष उसने दोनों की तस्वीर देखकर पहचान की।

इसके पहले नाकाम हुई थी घोड़ासहन बम ब्लास्ट की घटना

मोती ने बताया कि कानपुर से पहले पूर्वी चंपारण जिले के घोड़ासहन स्टेशन के पास रेल ट्रैक व चलती ट्रेन को उड़ाने की साजिश भी ISI ने रची थी। इसके लिए नेपाल में गिरफ्तार ब्रजकिशोर गिरी ने आदापुर निवासी अरुण व दीपक राम को तीन लाख रुपये दिए थे।

यह भी पढ़ें: अजमेर-सियालदह एक्स. दुर्घटनाग्रस्त, हेल्पलाइन नंबर जारी

मोती के अनुसार अरुण व दीपक राम ने आइईडी लगाने के बाद भी रिमोट का बटन नहीं दबाया। इस कारण विस्फोट नहीं हो सका और विध्वंसात्मक कार्रवाई की साजिश नाकाम हो गई थी। मोती ने साफ किया कि घटना को अंजाम नहीं देने के कारण नेपाल बुलाकर ब्रजकिशोर ने अरुण व दीपक की हत्या कर शव को फेंक दिया था।

दाउद की भी संलिप्तता से इंकार नहीं

पूर्वी चंपारण के एसपी जितेंद्र राणा ने पकड़े गए मोती पासवान, उमाशंकर प्रसाद व मुकेश यादव के बारे में बताया कि उनके ISI से लिंक के प्रमाण मिले हैं। इंटेलिजेंस ब्यूरो की टीम सभी से पूछताछ कर चुकी है। रॉ व एनआइए को इस आशय की सूचना भेजी गई है। एसपी ने इस साजिश के पीछे दाउद इब्राहिम का हाथ होने की आशंका से भी इंकार नहीं किया।

नेपाल में भी हुई है गिरफ्तारी

एसपी ने बताया कि इस सिलसिले में तीन लोग नेपाल में भी गिरफ्तार किए गए हैं। उनमें नेपाल के कलेया निवासी ब्रजकिशोर गिरी, शंभू उर्फ लड्डू और मोजाहिर अंसारी शामिल हैं। नेपाल पुलिस से जो जानकारी आई है, उसमें बताया गया है कि ISI ने बिहार में विध्वंसात्मक कार्रवाई का जिम्मा ब्रजकिशोर गिरी को दे रखा था और उसे इसके लिए 30 लाख रुपये भी दिए गए थे।

रेल राज्यमंत्री ने कहा, पूछताछ जारी

रेलवे राज्यमंत्री मनोज सिन्हा ने कहा कि मोतीहारी से गिरफ्तार अपराधियों का पुखरायां ट्रेन हादसे में भी हाथ था। उनसे पूछताछ की जा रही है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.