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    इस खूनी फ्लाइओवर में रफ्तार पर ब्रेक लगाने को अब स्पीड ब्रेकर

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    Updated: Thu, 25 Apr 2019 10:48 AM (IST)

    बल्लीवाला फ्लाईओवर पर वाहनों की रफ्तार पर ब्रेक लगाने के लिए राजमार्ग खंड डोईवाला ने रंबल स्ट्रिप्स वाले स्पीड ब्रेकर बनाने का काम शुरू कर दिए हैं।

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    इस खूनी फ्लाइओवर में रफ्तार पर ब्रेक लगाने को अब स्पीड ब्रेकर

    देहरादून, जेएनएन। बल्लीवाला फ्लाईओवर पर वाहनों की रफ्तार पर ब्रेक लगाने के लिए राजमार्ग खंड डोईवाला ने रंबल स्ट्रिप्स वाले स्पीड ब्रेकर बनाने का काम शुरू कर दिया। यह स्पीड ब्रेकर बल्लूपुर चौक से बल्लीवाला की तरफ आते हुए फ्लाईओवर की दायीं तरफ की लेन पर बनाए जा रहे हैं। 

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    यह कार्रवाई राजमार्ग अधिकारियों ने सोमवार को मुख्यमंत्री के दौरे में दुर्घटनाओं पर अंकुश लगाने के निर्देश के क्रम में की। इससे पहले जब बुधवार तड़के इस फ्लाईओवर पर एक बाइक सवार युवक की दुर्घटना में मौत हुई तो जागरण ने एक बार फिर इसकी तकनीकी खामी को लेकर प्रमुखता से खबर प्रकाशित की थी। इसके बाद मुख्यमंत्री ने फ्लाईओवर के निरीक्षण का निर्णय भी किया।

    राजमार्ग खंड के सहायक अभियंता नीरज अग्रवाल ने बताया कि रंबल स्ट्रिप्स पूरे फ्लाईओवर पर बनाए जाएंगे। हर 40 मीटर की दूरी पर 10-10 रंबल स्ट्रिप्स बनाई जा रही हैं। एक स्ट्रिप्स से दूसरी स्ट्रिप्स के बीच की दूरी करीब एक मीटर की है। इस तरह ब्रेकर की पूरी लंबाई 10 मीटर रहेगी और करीब 800 मीटर लंबे फ्लाईओवर पर 20 के आसपास रंबल स्ट्रिप्स वाले स्पीड ब्रेकर बनाए जाएंगे। 

    अभी तक फ्लाईओवर के आधे से अधिक हिस्से पर स्पीड ब्रेकर बना दिए गए हैं। सहायक अभियंता अग्रवाल ने बताया कि निश्चित दूरी पर 10-10 रंबल स्ट्रिप्स बनाए जाने से वाहन चालकों को रफ्तार बढ़ाने के अवसर नहीं मिलेगा, क्योंकि थोड़ी सी रफ्तार बढ़ाने के बाद ही दूसरा स्पीड ब्रेकर आ जाएगा। रंबल स्ट्रिप्स होने के चलते वाहन चालकों को अधिक झटके भी नहीं झेलने पड़ेंगे और रफ्तार पर अंकुश लगने के बाद दुर्घटनाओं को भी टाला जा सकेगा। 

    रफ्तार पर ब्रेक का पता नहीं, जाम की नई समस्या  

    बल्लीवाला फ्लाईओवर की एक लेन पर रंबल स्ट्रिप्स वाले स्पीड ब्रेकर बनने के पहले दिन ही यह कहा जाना मुश्किल है कि इससे देर रात की रफ्तार पर कितना अंकुश लगेगा। हालांकि, इतना जरूर नजर आ गया है कि दिन चढ़ने के साथ ही देर शाम तक यहां पर जाम की समस्या बढ़ने लगी है। 

    जागरण ने अपनी पड़ताल में पाया कि जिस फ्लाईओवर का निर्माण जाम की समस्या से निजात पाने के लिए किया गया था, उससे अब यह जाम का नया स्पॉट भी बन गया है। वाहन इस लेन पर रेंग कर चल रहे हैं और अधिक लोड वाले वाहनों के पीछे खिसकने (बैक लेने) का खतरा भी बढ़ गया है। 

    इसके चलते यदि कोई बड़ा वाहन बीच में रुक गया तो नई मुसीबत जरूर खड़ी हो जाएगी। दूसरी तरफ देर रात सड़क खाली होने पर दुपहिया सवार वाहनों की रफ्तार पर अंकुश लगेगा ही इसकी भी कोई गारंटी नहीं है। क्योंकि रंबल स्ट्रिप्स पर अक्सर देखा जाता है कि स्पीड अधिक कर वाहन चालक झटकों से भी बचने की कोशिश करते हैं। 

    खासकर मोड़ वाले स्थानों पर ऐसा प्रयास दुपहिया चालकों पर और भारी पड़ सकता है। इस प्रयोग की तुलना देश के अन्य फ्लाईओवरों से की जाए तो यह शायद इतने स्पीड ब्रेकर वाला यह पहला फ्लाईओवर होगा।

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