जीएसटी मुख्यालय में लग्जरी बस को छुड़ाने नहीं आया कोई, पढ़िए पूरी खबर
कर चोरी का सामान लाने के आरोप में जिस लग्जरी बस को 17 नवंबर को स्टेट जीएसटी मुख्यालय में खड़ा किया गया था उसे अब तक छुड़ाने कोई भी नहीं आया है।
देहरादून, जेएनएन। कर चोरी का सामान लाने के आरोप में जिस लग्जरी बस को 17 नवंबर को स्टेट जीएसटी मुख्यालय में खड़ा किया गया था, उसे अब तक छुड़ाने कोई भी नहीं आया है। इस बस में जो सामान भरा गया था, उस पर विभाग ने पेनाल्टी के साथ 25 हजार रुपये का टैक्स लगाया है।
स्टेट जीएसटी के एसटीएफ विंग के उपायुक्त एसएस तिरुवा ने बताया कि टैक्स को लेकर संबंधित पते पर नोटिस जारी किया गया था। इसके बाद भी न तो टैक्स जमा कराया गया है, न ही किसी ने बस की खबर ली है। यह बस भी किसी साधारण घटनाक्रम में नहीं पकड़ी गई, बल्कि इसके पीछे की कहानी काफी दिलचस्प है।
उन्होंने बताया कि संज्ञान में आया था कि इस लग्जरी बस (उप्र15डीटी7131) को पहले स्टेट जीएसटी की आशारोड़ी की मोबाइल टीम ने 15 नवंबर की सुबह पकड़ा था। तब इसमें लाखों रुपये का सामान लदे होने की बात सामने आई थी। दो दिन बस आशारोड़ी में ही खड़ी रखी गई। इसके बाद रहस्यमय परिस्थितियों में 17 नवंबर की रात को बस को छोड़ दिया गया। इसके बाद एसटीएफ को सूचना मिली थी कि यह बस चोरी का सामान लेकर आइएसबीटी की तरफ आ रही है।
जब तक एसटीएफ की टीम आइएसबीटी के पास पहुंची, तब तक वह सरोवर प्रीमियर होटल के सामने खड़ी हो चुकी थी। बस में सामान भी सूचना से काफी कम सामान लदा था। हालांकि, एसटीएफ ने बस को कब्जे में ले लिया और उसे ङ्क्षरग रोड स्थित आयुक्त राज्य कर कार्यालय में खड़ा करा दिया गया था। अधिकारी यह नहीं समझ पा रहे हैं कि महज 24 हजार रुपये टैक्स जमा कराने के लिए भी कोई अपनी लग्जरी बस को छुड़ाने क्यों नहीं आ रहा।
रोडवेज में तीन एजीएम बदले
रोडवेज में तीन डिपो के सहायक महाप्रबंधक इधर से उधर किए गए हैं। प्रबंध निदेशक रणवीर सिंह चौहान की ओर से जारी आदेश में जेएनएनयूआरएम काठगोदाम डिपो के एजीएम तरुण अवस्थी को देहरादून ग्रामीण डिपो में एजीएम नियुक्त किया गया है। ग्रामीण डिपो से केएस रावत को फिलहाल प्रतीक्षा में रखा गया है।
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इसके अलावा मंडलीय प्रबंधक कार्यालय काठगोदाम में प्रभारी एजीएम कार्मिक के पद पर तैनात मनोज दुर्गपाल को जेएनएनयूआरएम डिपो काठगोदाम के एजीएम की अतिरिक्त जिम्मेदारी भी सौंपी गई है। देहरादून मंडल कार्यशाला के टायर अनुभाग के सीनियर फोरमैन को रुद्रपुर डिपो का प्रभारी एजीएम बनाया गया है। बता दें कि, दिल्ली में बस के प्रदूषण पर एक लाख रुपये का चालान होने पर बीते दिनों रुद्रपुर डिपो के प्रभारी एजीएम महेंद्र कुमार को हटा दिया गया था।
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