क्राइम सीरियल देख बनाई योजना, दिल्ली से महाकुंभ लाकर पत्नी की हत्या की; बेटों से कहा- मेले में खो गई मां
प्रयागराज पुलिस ने महाकुंभ में अपनी पत्नी की हत्या करने वाले आरोपित अशोक वाल्मीकि को गिरफ्तार कर लिया है। अशोक ने अपनी पत्नी मीनाक्षी की हत्या करने से पहले क्राइम सीरियल देखा था और उसने अपने बेटों को बताया था कि मां मेले में खो गई है। अशोक ने पुलिस पूछताछ में बताया कि वह अपनी पत्नी की हत्या करने के लिए दिल्ली से महाकुंभ लाया था।

जागरण संवाददाता, प्रयागराज। महाकुंभ में करोड़ों लोग पाप धुलने और पुण्य की कामना से आ रहे हैं, लेकिन दिल्ली के एक व्यक्ति ने विश्व के इस सबसे बड़े धार्मिक आयोजन को अपनी पत्नी की हत्या के पाप के लिए चुना। पत्नी को महाकुंभ में लाकर संगम में स्नान किया। पत्नी संग मेले में घूमने का वीडियो बनाया। इसके बाद झूंसी के एक लाज में पत्नी के गर्दन पर चाकू से वार करके हत्या कर दी और वहां से भाग गया।
घर पर उसने बेटों को बताया कि मां मेले में खो गई है। तीन बेटों में दो जब परिचतों को लेकर प्रयागराज पहुंचे तो आरोपित उनके साथ पत्नी को ढूंढ़ने का नाटक करता रहा। मेले में खोया-पाया शिविर में उद्घोषणा करवाता रहा। इस बीच बड़ा बेटा झूंसी थाने में मां की फोटो लेकर पहुंचा तो लाज में एक महिला की हत्या की जांच कर रही पुलिस को मानो बड़ी कड़ी मिल गई।
आरोपित पति को गिरफ्तार कर पूछताछ करने पर सारी हकीकत सामने आ गई। कत्ल की यह कहानी शुरू होती है 19 फरवरी की सुबह। झूंसी पुलिस को पता चलता है कि आजाद नगर स्थित लाज में एक महिला की धारदार हथियार से गला रेतकर हत्या कर दी गई है। बाथरूम में उसका शव पड़ा मिला।
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महिला कौन है? कहां से आई? किसने हत्या की। पुलिस इन सवालों में उलझ गई। इस बीच, 21 फरवरी को दिल्ली के त्रिलोकपुरी का रहने वाला अश्वनी अपने भाई आदर्श, बुलंदशहर निवासी मामा प्रवेश व दो मित्रों के साथ झूंसी थाने जा पहुंचा। एसओ उपेंद्र प्रताप सिंह को फोटो दिखाते हुए बताया कि यह उसकी मां मीनाक्षी है।
महाकुंभ स्नान करने आए उसके पिता अशोक वाल्मीकि ने बताया है कि महाकुंभ मेला से उसकी मां गायब हो गई। शहर के दो थानों में गया तो वहां पता चला कि झूंसी में एक महिला का कत्ल हुआ है तो झूंसी थाने में आया है। एसओ ने पोस्टमार्टम हाउस में शव दिखाया तो वह मीनाक्षी का ही था।
मीनाक्षी की फाइल फोटो
अश्वनी ने बताया कि पिता अशोक प्रयागराज में ही है। पुलिस के कहने पर अश्विनी ने फोन कर बहाने से पिता को बैरहना चौराहे के पास बुलाया। पुलिस ने उसे वहीं दबोच लिया। उससे कड़ाई से पूछताछ की तो उसने सब कुछ उगल दिया।
बताया कि वह दिल्ली में सफाईकर्मी है। 17 फरवरी को दिल्ली से पत्नी को लेकर निकला था। 18 फरवरी की शाम संगम स्नान किया। उसी रात कमरे की तलाश में उसकी मुलाकात सुरेंद्र बिंद से हुई। सुरेंद्र ने अपने मौसी के बेटे संजय का कमरा पांच सौ रुपये में किराये पर दिलवा दिया। उसने कमरे में शराब पी।
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मीनाक्षी सो गई तो उसने मोबाइल पर क्राइम सीरियल देखा। इसमें एक व्यक्ति पत्नी का कत्ल करता है। कोई सुराग नहीं छोड़ता है। भोर में मीनाक्षी उठी तो उससे कई बार बोला कि मुझे माफ कर देना। मीनाक्षी कुछ समझ न सकी। वह जब बाथरूम में गई तो अशोक ने चाकू से उसके गर्दन में तीन से चार बार प्रहार किया। घरवालों को संदेह न हो, इसलिए फोन कर बेटों से बोला कि मीनाक्षी खो गई है। अशोक को जेल भेज दिया गया है।
हरिद्वार में बच गई थी मीनाक्षी
अशोक करीब दो माह पहले भी मीनाक्षी की हत्या के लिए उसे हरिद्वार लेकर गया था। वहां वह सफल नहीं हो पाया था। जहां किराये पर कमरा लिया था, वहां उससे आइडी ली गई थी।
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