Meerut: रैपिड रेल की लिफ्ट में फंसकर आठ लोग हुए थे बेहोश, अधिकारी बोले, क्षमता से अधिक थे सवार, लेकिन जिम्मेदार कौन
Meerut News मेरठ के रैपिड रेल साउथ स्टेशन पर रविवार शाम को लिफ्ट में 22 यात्री फंस गए थे। यात्रियों को करीब सवा घंटे तक लिफ्ट में रहना पड़ा। अधिकारियों का कहना है कि लिफ्ट में क्षमता से अधिक यात्री सवार थे। कई यात्रियों ने कहा कि क्षमता से अधिक लोगों का सवार होना भी सवाल खड़े करता है।

जागरण संवाददाता, मेरठ। रविवार शाम सात बजे देश की पहली रैपिड रेल के मेरठ साउथ स्टेशन पर ग्राउंड से फर्स्ट फ्लोर पर जा रही लिफ्ट बीच में बंद हो गई थी। इसमें 22 यात्री थे। यात्री करीब सवा घंटे तक लिफ्ट में फंसे रहे। सूचना के बाद भी इंजीनियरों की टीम ने आने में 35 मिनट लगा दिए। फिर 40 मिनट के प्रयास के बाद लिफ्ट का दरवाजा खोला और यात्रियों को बाहर निकाला। तब तक आठ यात्री बेहोश हो चुके थे।
अधिकारियों का कहना है कि लिफ्ट में क्षमता से अधिक लोग सवार थे। सोमवार को यात्रा करने वाले कई यात्रियों ने कहा कि क्षमता से अधिक लोगों का सवार होना भी जिम्मेदारों पर सवाल खड़े करता है। अधिक लोगों को लिफ्ट में जाने से रोकने के लिए मौके पर कर्मचारी होने चाहिए।
लिफ्ट में इमरजेंसी हार्न, फोन नंबर, एसी तक नहीं
लिफ्ट में फंसीं वरिष्ठ अधिवक्ता रूबीना निवासी राधा गार्डन ने बताया कि वह दिल्ली जाने के लिए साउथ स्टेशन पर जा रही थीं। लिफ्ट बंद हुई तो उन्होंने सबसे पहले इमरजेंसी नंबर, हार्न देखा, लेकिन कुछ नहीं मिला। लिफ्ट में न एसी था और न ही पंखा।
थाने में किया खूब हंगामा
यात्री रुबीना जफर ने बताया कि सामान्य स्थिति होने के बाद वह परतापुर थाने पहुंचीं। आरोप है कि वहां मौजूद थाना प्रभारी सतवीर सिंह अत्री और ब्रह्मपुरी सीओ सौम्या अस्थाना को तहरीर दी, लेकिन उन्होंने कोई कार्रवाई नहीं की। महिला अधिवक्ता ने हंगामा कर दिया। थाने का वीडियो बनाना शुरू कर दिया। पुलिस ने किसी तरह समझाकर शांत किया।
यह बोले अधिकारी
एनसीआरटीसी के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी पुनीत वत्स ने बताया कि रैपिड स्टेशन पर ओटीआइएस कंपनी की लिफ्ट है। सूचना मिलने के 15 मिनट के अंदर लिफ्ट ठीक होनी चाहिए थी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। कंपनी की लापरवाही सामने आई है। कंपनी को जांच करने को भी कहा गया है। उच्चाधिकारियों को अवगत कराया जाएगा। लिफ्ट में करीब 40 मिनट तक यात्री फंसे रहे। यहां पर बड़ी लिफ्ट लगी है। इसकी क्षमता 17 लोगों की है लेकिन 20 लोग सवार थे। जांच पूरी होने तक लिफ्ट बंद कर दी गई है।
सीओ ब्रह्मपुरी सौम्या अस्थाना ने कहा कि लिफ्ट की क्षमता 17 लोगों को ले जाने की है। रविवार देर शाम 20 से अधिक लोग लिफ्ट में सवार हो गए थे। अधिक वजन होने से लिफ्ट बीच में बंद हो गई। लिफ्ट को ठीक करने में करीब 40 मिनट लग गए। सूचना मिलते ही हम लोग एंबुलेंस लेकर मौके पर पहुंचे। लिफ्ट में 8 लोगों की तबीयत खराब हो गई थी।
यह भी पढ़ें- लापरवाही की हद पार... रैपिड स्टेशन की लिफ्ट में फंसे यात्री हो रहे थे बेहोश, रेस्क्यू करने में लग गया एक घंटा
पुलिस कर्मियों ने सभी लोगों को तत्काल ओआरएस दिया। 8 यात्रियों की तबीयत खराब होने पर उन्हें सुभारती अस्पताल में भर्ती कराया। प्राथमिक उपचार के बाद सभी को घर भेज दिया गया। फिलहाल पुलिस ने लिफ्ट के चारों ओर बैरिकेडिंग लगा दी है।
यह भी पढ़ें- कोई दरवाजा खोलो, सांस नहीं आ रही...मेरा भाई अंदर है, Rapid Rail के मेरठ साउथ स्टेशन की लिफ्ट से आ रही थी ऐसी आवाज
लिफ्ट में फंसे थे यह यात्री
दिल्ली के रोहिणी निवासी रुबीना जफर, गाजियाबाद विजय नगर निवासी ज्योति व उसकी बहन संगीता, दिल्ली गेट निवासी कोमल 10 वर्षीय बेटी वृंदा और एक वर्षीय बेटी काव्या, कैलाशपुरी निवासी संजीव कुशवाहा, संजीव कुशवाहा की दो वर्षीय बेटी रूही के अलावा 14 लोग अन्य लोग।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।