गाजीपुर के सनबीम स्कूल में छात्र की हत्या की पटकथा तो 15 अगस्त को ही लिखी जा चुकी थी
गाजीपुर के सनबीम स्कूल में एक छात्र की हत्या ने गुटबाजी की समस्या को उजागर किया है। पता चला है कि हत्या की पटकथा 15 अगस्त को ही लिख दी गई थी। आरोपी छात्र पहले से ही चाकू लेकर आया था। घायल छात्र अभिनव तिवारी ने बताया कि 15 अगस्त को उसकी पिटाई की गई थी।

जागरण संवाददाता, गाजीपुर। सनबीम स्कूल के दसवीं के छात्र आदित्य वर्मा की नौवीं के छात्र द्वारा हत्या करने की जानकारी सामने आने के बाद सबसे बड़ी जानकारी हत्या के वजह को लेकर बनी हुई है। इस मामले की तह में जागरण ने पड़ताल की तो पता चला कि हत्या की पटकथा तो पहले से ही तय कर दी गई थी। इसी पटकथा 15 अगस्त हो ही लिखी जा चुकी थी।
— Ghazipur Police (@ghazipurpolice) August 18, 2025
यह भी पढ़ें : गाजीपुर के सनबीम स्कूल में छात्र को चाकुओं से गोद डाला, अब सामने आ रहा है इस गिरोह का कनेक्शन
वारदात को अंजाम देने वाला नौवीं का छात्र पहले ही बैग में चाकू छिपाकर ले आया था। दो दिन के बंदी के बाद स्कूल सोमवार को खुला तो बैग भी खुला और बैग में रखा चाकू भी बाहर निकल आया। नौवीं का आरोपित छात्र आदर्श बाजार क्षेत्र का निवासी है। वह पूर्व में भी गिरोह के साथ सक्रिय रहा करता था। छात्रों के गुट के साथ पूर्व में दबंगई के मामले भी थे।
यह भी पढ़ें : गाजीपुर के सनबीम स्कूल में छात्र की चाकू मारकर हत्या, तीन अन्य छात्र गंभीर रूप से घायल
सनबीम स्कूल में छात्रों के बीच गुटबाजी की समस्या लंबे समय से बनी हुई है। सोमवार को हुई चाकूबाजी की घटना में घायल छात्र अभिनव तिवारी ने बताया कि स्कूल में यह गुटबाजी पहले से ही चल रही थी। 15 अगस्त को उसकी स्कूल बस छूट गई थी, जिसके कारण वह अपने निजी वाहन से स्कूल आया। स्कूल के गेट पर एक हत्यारोपित छात्र ने उसे रोका और उसके साथ तीन-चार लोगों ने मिलकर उसकी पिटाई की। अभिनव ने यह भी बताया कि आज भी चार लोगों ने मिलकर आदित्य वर्मा पर हमला किया और चाकू मारकर उसकी हत्या कर दी।
यह भी पढ़ें : प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 13 सितंबर को आ सकते हैं सोवा रिग्पा मेडिकल कालेज और अस्पताल के लोकार्पण के लिए
इस घटना ने स्कूल में सुरक्षा के मुद्दे को एक बार फिर से उजागर किया है। छात्रों के बीच बढ़ती हिंसा और गुटबाजी ने अभिभावकों और शिक्षकों के बीच चिंता का माहौल बना दिया है। स्कूल प्रशासन को इस गंभीर समस्या का समाधान निकालने की आवश्यकता है, ताकि छात्रों के बीच शांति और सद्भावना स्थापित की जा सके।
यह भी पढ़ें : वाराणसी नगर निगम में दालमंडी के पांच मकान शत्रु संपत्ति, सड़क चौड़ीकरण में मुआवजा बनेगा चुनौती
अभिनव की बातों से स्पष्ट होता है कि स्कूल में छात्रों के बीच आपसी संघर्ष और गुटबाजी की स्थिति गंभीर हो चुकी है। ऐसे में यह आवश्यक है कि स्कूल प्रशासन इस दिशा में ठोस कदम उठाए। छात्रों को एक सुरक्षित और सकारात्मक वातावरण प्रदान करना उनकी प्राथमिकता होनी चाहिए। इस घटना ने न केवल स्कूल के छात्रों को बल्कि पूरे समुदाय को झकझोर कर रख दिया है। अब यह देखना होगा कि स्कूल प्रशासन इस समस्या का समाधान कैसे करता है और क्या वे छात्रों के बीच आपसी समझ और सहयोग को बढ़ावा देने में सफल होते हैं।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।