Aaj ka Panchang 16 Jan 2025: गुरुवार के दिन बन रहे हैं कई शुभ-अशुभ योग, पढ़ें आज का पंचांग
आज गुरुवार के दिन विष्णु जी और बृहस्पति देव की पूजा-अर्चना का विशेष महत्व माना गया है। कई लोग गुरुवार के दिन व्रत भी करते हैं। माना जाता है कि इस व्रत को करने से साधक को मनोवांछित फल मिलता है। ऐसे में चलिए पंडित हर्षित शर्मा जी से जानते हैं आज का पंचांग (today tithi) और शुभ-अशुभ समय के बारे में।

धर्म डेस्क, नई दिल्ली। पंचांग के अनुसार, आज यानी गुरुवार, 16 जनवरी 2025 को माघ माह के कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि है। इस तिथि पर कई तरह के शुभ योग के साथ-साथ अशुभ योग भी बन रहे हैं। ऐसे में चलिए पंचांग (Aaj ka Panchang 2025) से जानते हैं आज के शुभ मुहूर्त व राहुकाल के बारे में।
आज का पंचांग (Panchang 16 January 2025)
माघ माह के कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि समाप्त - प्रातः 04 बजकर 11 मिनट तक
नक्षत्र - आश्लेषा
वार - गुरुवार
ऋतु - वसंत
सूर्योदय और सूर्यास्त का समय
सूर्योदय - सुबह 07 बजकर 12 मिनट पर
सूर्यास्त - शाम 05 बजकर 47 मिनट पर
चंद्रोदय - रात 08 बजकर 13 मिनट से
चन्द्रास्त - सुबह 09 बजकर 06 मिनट पर
चन्द्र राशि - कर्क
शुभ समय
ब्रह्म मुहूर्त - प्रातः 05 बजकर 27 मिनट से 06 बजकर 21 मिनट तक
गोधूलि मुहूर्त - शाम 05 बजकर 45 मिनट से 06 बजकर 12 मिनट तक
निशिता मुहूर्त - रात्रि 12 बजकर 04 मिनट से 17 जनवरी रात 12 बजकर 58 मिनट तक
अभिजीत मुहूर्त - दोपहर 12 बजकर 11 मिनट से दोपहर 12 बजकर 49 मिनट तक
अमृत काल - सुबह 09 बजकर 37 मिनट से सुबह 11 बजकर 16 मिनट तक
यह भी पढ़ें - Sakat Chauth 2025: क्या पानी पीने से टूट सकता है सकट चौथ का व्रत, जानिए अन्य जरूरी बातें
अशुभ समय
राहुकाल - दोपहर 01 बजकर 49 मिनट से दोपहर 03 बजकर 13 मिनट तक
गुलिक काल - सुबह 09 बजकर 55 मिनट से सुबह 11 बजकर 31 मिनट तक
विडाल योग - सुबह 07 बजकर 15 मिनट से सुबह 11 बजकर 16 मिनट तक
गण्ड मूल - पूरे दिन
भद्रा - दोपहर 03 बजकर 39 मिनट से 17 जनवरी प्रातः 04 बजकर 06 मिनट तक
दिशा शूल - दक्षिण
नक्षत्र के लिए उत्तम ताराबल
अश्विनी, भरणी, रोहिणी, आर्द्रा, पुष्य, आश्लेषा, मघा, पूर्वा फाल्गुनी, हस्त, स्वाति, अनुराधा, ज्येष्ठा, मूल, पूर्वाषाढ़ा, श्रवण, शतभिषा, उत्तराभाद्रपद, रेवती
राशि के लिए उत्तम चन्द्रबलम - वृषभ, कर्क, कन्या, तुला, मकर, कुम्भ
यह भी पढ़ें - Magh Gupt Navratri 2025: कब से शुरू है माघ गुप्त नवरात्र? नोट करें कलश स्थापना मुहूर्त और पूजा विधि
अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।