शरीर के लिए क्यों है जरूरी है Iodine, कमी से क्या होते हैं नुकसान और कैसे करें इसे दूर?
क्या सिर्फ नमक खाने से हमें पर्याप्त आयोडीन मिल जाता है या फिर इसके लिए हमें अपनी डाइट में कुछ खास चीजें शामिल करनी चाहिए? और अगर शरीर में आयोडीन की कमी (Iodine Deficiency Effects) हो जाए तो इसे कैसे पूरा किया जाए? आइए इस आर्टिकल में आपको ऐसे ही सभी सवालों के जवाब देते हैं जिन्हें जानकर आप कई परेशानियों से बच सकते हैं।
लाइफस्टाइल डेस्क, नई दिल्ली। Iodine Deficiency Effects: हमारे शरीर को सुचारू रूप से काम करने के लिए कई जरूरी पोषक तत्वों की जरूरत होती है और आयोडीन उनमें से एक बेहद जरूरी मिनरल है। यह हमारे थायरॉयड ग्रंथि के सही ढंग से काम करने में अहम भूमिका निभाता है, जिससे शरीर में हार्मोनल संतुलन बना रहता है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि आयोडीन की कमी से कई सीरियस हेल्थ इशूज (Iodine Deficiency Symptoms) हो सकते हैं?
अगर शरीर में आयोडीन की पर्याप्त मात्रा न हो, तो थायरॉयड हार्मोन का उत्पादन प्रभावित होता है, जिससे गलगंड (गॉइटर), थकान, मानसिक विकास में बाधा और कई अन्य कॉम्प्लिकेशन्स हो सकती हैं। इसलिए यह जरूरी है कि हम अपनी डाइट में पर्याप्त आयोडीन शामिल करें। आइए जानते हैं कि आयोडीन हमारे शरीर के लिए क्यों जरूरी है, इसकी कमी से होने वाले नुकसान और इसे दूर करने के आसान उपाय (Iodine Deficiency Prevention Tips)।
आयोडीन क्या है और यह शरीर के लिए क्यों जरूरी है?
- आयोडीन एक जरूरी खनिज (Trace Mineral) है, जो मुख्य रूप से थायरॉयड हार्मोन के निर्माण में मदद करता है। यह हार्मोन शरीर के मेटाबॉलिज्म, एनर्जी प्रोडक्शन, ग्रोथ और ब्रेन हेल्थ के लिए जरूरी है।
- थायरॉयड ग्रंथि, जो गर्दन में स्थित होती है, आयोडीन का उपयोग करके थायरॉक्सिन (T4) और ट्राईआयोडोथायरोनिन (T3) हार्मोन बनाती है।
- ये हार्मोन शरीर की फिजिकल ग्रोथ, ब्रेन फंक्शन और मेटाबॉलिज्म को कंट्रोल करते हैं।
- आयोडीन गर्भवती महिलाओं और बच्चों के लिए विशेष रूप से जरूरी होता है, क्योंकि यह बच्चे के दिमागी विकास में अहम भूमिका निभाता है।
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आयोडीन की कमी से होने वाले नुकसान
अगर शरीर को पर्याप्त मात्रा में आयोडीन नहीं मिलता, तो यह कई बीमारियों और शारीरिक समस्याओं को जन्म दे सकता है। आयोडीन की कमी के कुछ मुख्य दुष्प्रभाव इस प्रकार हैं:
1) गलगंड (गॉइटर) - गर्दन में सूजन
आयोडीन की कमी से थायरॉयड ग्रंथि अधिक काम करने लगती है, जिससे गर्दन के आगे हिस्से में सूजन आ जाती है। इसे गलगंड या गॉइटर (Goiter) कहा जाता है। यह सूजन कभी-कभी इतनी बढ़ जाती है कि निगलने और सांस लेने में दिक्कत होने लगती है।
2) हाइपोथायरायडिज्म - थायरॉयड हार्मोन की कमी
जब शरीर में पर्याप्त आयोडीन नहीं होता, तो थायरॉयड ग्रंथि सही मात्रा में हार्मोन नहीं बना पाती, जिससे हाइपोथायरायडिज्म हो सकता है। इसके लक्षण हैं:
- थकान और कमजोरी
- वजन बढ़ना
- ठंड सहन न कर पाना
- ड्राई स्किन और बालों का झड़ना
- डिप्रेशन और सुस्ती
3) मानसिक विकास में बाधा
आयोडीन की कमी गर्भवती महिलाओं और छोटे बच्चों के लिए बहुत खतरनाक हो सकती है। यह बच्चे के दिमागी विकास को प्रभावित कर सकती है, जिससे मानसिक मंदता (Mental Retardation) और सीखने में कठिनाई हो सकती है।
4) प्रजनन क्षमता पर असर
आयोडीन की कमी से पुरुषों और महिलाओं की प्रजनन क्षमता (fertility) प्रभावित हो सकती है। गर्भवती महिलाओं में इसकी कमी से गर्भपात, जन्म दोष और बच्चों का कम वजन हो सकता है।
5) शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता में कमी
आयोडीन की कमी से शरीर की इम्युनिटी कमजोर हो सकती है, जिससे बार-बार बीमार होने की संभावना बढ़ जाती है।
शरीर में आयोडीन की कमी को कैसे पूरा करें?
अब सवाल यह है कि शरीर को जरूरी आयोडीन कैसे दिया जाए? इसके लिए आपको आयोडीन से भरपूर फूड आइटम्स को अपनी डाइट में शामिल करना होगा। आइए जानें।
1) आयोडीन युक्त नमक
- बाजार में मिलने वाला आयोडीन युक्त नमक (Iodized Salt) सबसे आसान और इफेक्टिव सोर्स है।
- रोजाना खाने में इसका इस्तेमाल करें, लेकिन अधिक मात्रा में नमक खाना भी सेहत के लिए हानिकारक हो सकता है, इसलिए संतुलन बनाए रखें।
2) सी-फूड
- मछली, झींगा, केलप (समुद्री शैवाल) और अन्य समुद्री भोजन आयोडीन के सबसे अच्छे स्रोत हैं।
- खासतौर पर टूना, सालमन और कॉड मछली में भरपूर आयोडीन पाया जाता है।
3) डेयरी प्रोडक्ट्स
- दूध, दही, पनीर और चीज में अच्छी मात्रा में आयोडीन पाया जाता है।
- रोजाना एक गिलास दूध और दही खाने से आयोडीन की कमी को रोका जा सकता है।
4) अंडे और नट्स
- अंडे की जर्दी (Egg yolk) आयोडीन का अच्छा स्रोत है।
- साथ ही, बादाम, अखरोट और सूरजमुखी के बीज भी इसमें मदद कर सकते हैं।
5) हरी सब्जियां और फल
- पालक, ब्रोकली, बीन्स और आलू में आयोडीन की कुछ मात्रा होती है।
- केला, स्ट्रॉबेरी और क्रैनबेरी भी आयोडीन का अच्छा स्रोत हैं।
6) आयोडीन सप्लीमेंट्स
अगर आपको डॉक्टर सलाह दें, तो आयोडीन सप्लीमेंट्स भी लिए जा सकते हैं, लेकिन बिना डॉक्टर की सलाह के इन्हें न लें।
रोजाना कितना आयोडीन है जरूरी?
- वयस्कों के लिए – 150 माइक्रोग्राम (mcg)
- गर्भवती महिलाओं के लिए – 220-250 माइक्रोग्राम (mcg)
- स्तनपान कराने वाली महिलाओं के लिए – 250-290 माइक्रोग्राम (mcg)
- बच्चों के लिए – 90-120 माइक्रोग्राम (mcg)
अगर रोजाना डाइट में सही मात्रा में आयोडीन लिया जाए, तो शरीर हेल्दी रहेगा और थायरॉयड से जुड़ी समस्याएं दूर रहेंगी।
क्यों जरूरी है आयोडीन?
- यह थायरॉयड ग्रंथि के सही कामकाज के लिए जरूरी है।
- शरीर के मेटाबॉलिज्म, एनर्जी और विकास में मदद करता है।
- दिमागी सेहत और मानसिक विकास में अहम भूमिका निभाता है।
- इसकी कमी से गलगंड, थायरॉयड, प्रजनन समस्याएं और मानसिक विकास में बाधा आ सकती है।
- आयोडीन युक्त नमक, समुद्री भोजन, डेयरी प्रोडक्ट्स और हरी सब्जियों के सेवन से इसे आसानी से पूरा किया जा सकता है।
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Disclaimer: लेख में उल्लेखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो, तो हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह लें।
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