लेह में Gen-Z को किसने उकसाया? कांग्रेस काउंसलर पर मामला दर्ज, प्रशासन ने इन गतिविधियों पर लगाई रोक
लेह में कांग्रेस नेता फुंटसोग स्टैनज़िन त्सेपाग पर भड़काऊ भाषण देने का आरोप लगा है जिसके बाद पुलिस ने मामला दर्ज किया है। प्रशासन के अनुसार उनके भाषण से क्षेत्र में अशांति फैल गई। लद्दाख को राज्य का दर्जा देने और छठी अनुसूची के विस्तार की मांग को लेकर चल रहे आंदोलन के बीच हिंसा भड़क उठी जिसमें कई लोग घायल हुए हैं।

डिजिटल डेस्क, जागरण, जम्मू। लेह प्रशासन ने कांग्रेस नेता और काउंसलर फुंटसोग स्टैनज़िन त्सेपाग पर एक भाषण के जरिए लोगों को भड़काने का आरोप लगाते हुए मामला दर्ज किया है। उपराज्यपाल प्रशासन के अनुसार, इस भाषण से क्षेत्र में अशांति फैल गई।
पुलिस सूत्रों ने बताया कि त्सेपाग द्वारा कल दिए गए एक सार्वजनिक भाषण का संज्ञान लिया गया है। त्सेपाग के भाषण में ऐसी टिप्पणियां पाई गईं जिससे अशांति फैलने का खतरा था। प्राप्त जानकारी के आधार पर उनके खिलाफ कानून की संबंधित धाराओं के तहत एक औपचारिक मामला दर्ज किया गया है।
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अधिकारियों ने पुष्टि की है कि लद्दाख में चल रहे आंदोलन पर काउंसलर के बयानों के पूर्ण प्रभाव का आकलन करने के लिए जांच चल रही है। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा कि हम भाषण और उसके संदर्भ की जांच कर रहे हैं। सबूतों के आधार पर उचित कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
लेह में बढ़ते तनाव के बीच यह मामला दर्ज किया गया है। अापको बता दें कि लद्दाख को राज्य का दर्जा देने और छठी अनुसूची के विस्तार की मांग को लेकर पिछले तीन सप्ताह से जारी शांतिपूर्ण आंदोलन ने आज हिंसा का रूप ले लिया।
आंदोलन कर रहे प्रदर्शनकारियों ने व्यापक हिंसा की और भाजपा कार्यालय तथा कई वाहनों पर हमला किया। अब स्थिति नियंत्रण में है। अधिकारियों ने बताया कि भीषण झड़पों में चार लोगों की मौत हो गई और 30 अन्य घायल हो गए हैं। प्रदर्शनकारियों ने दावा किया कि पुलिस की गोलीबारी में चारों लोग मारे गए।
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लद्दाख एपेक्स बॉडी (एलएबी) की युवा शाखा ने विरोध प्रदर्शन का आह्वान तब किया जब राज्य का दर्जा और छठी अनुसूची के विस्तार की मांग के समर्थन में 10 सितंबर से 35 दिनों की भूख हड़ताल पर बैठे 15 लोगों में से दो को मंगलवार शाम को हालत बिगड़ने के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया।
वहीं पथराव और आगजनी जैसी हिंसक घटनाओं के चलते प्रशासन ने भीड़भाड़ रोकने के लिए भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 163 के तहत प्रतिबंध लगा दिए हैं।
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