एम्स जम्मू ने फिर किया कमाल, पहली आर्बिटल ट्यूमर सर्जरी आर्बिटोटामी की हुई सफलतापूर्वक सर्जरी
एम्स जम्मू के नेत्र रोग विभाग ने पहली बार आर्बिटल ट्यूमर सर्जरी सफलतापूर्वक की। सहायक प्रोफेसर डॉ. नाजिया अंजुम के नेतृत्व में टीम ने मरीज की दृष्टि और आर्बिटल संरचनाओं को सुरक्षित रखा। मरीज जो ग्रामीण जम्मू का था आँखों की समस्या से पीड़ित था। एम्स जम्मू की टीम ने उच्च रिजाल्यूशन सीटी और एमआरआई इमेजिंग से ट्यूमर का पता लगाया।

राज्य ब्यूरो, जागरण, जम्मू। अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) जम्मू के नेत्र रोग विभाग ने मंगलवार को अपनी पहली आर्बिटल ट्यूमर सर्जरी आर्बिटोटामी सफलतापूर्वक की। इस सर्जरी का नेतृत्व सहायक प्रोफेसर डॉ. नाजिया अंजुम ने किया।
उन्हें डॉ. अस्मा जबीन और डा. सुप्रीतम दास ने सहयोग किया। इस प्रक्रिया में मरीज की दृष्टि और महत्वपूर्ण आर्बिटल संरचनाओं को संरक्षित करना चुनौती थी।
डॉ. नाजिया अंजुम ने कहा कि यह सर्जरी करना एक चुनौती और अवसर दोनों था। यह हमारे विभाग की बढ़ती क्षमताओं और स्थानीय स्तर पर उन्नत नेत्र देखभाल प्रदान करने की हमारी प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
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मरीज ग्रामीण जम्मू का रहने वाला मध्यम आयु वर्ग का था जो कई महीनों से आंखों के उभरे हुए हिस्से, बेचैनी और नजर की गड़बड़ी से पीड़ित था। पहले विशेषज्ञ देखभाल की सीमित उपलब्धता के कारण उसकी स्थिति का सही निदान नहीं हो पाया था।
एम्स जम्मू की नेत्र रोग टीम ने उच्च रिजाल्यूशन सीटी और एमआरआई इमेजिंग की सहायता से विस्तृत मूल्यांकन किया। स्कैन से पता चला कि एक उच्च जोखिम वाला आर्बिटल ट्यूमर आंखों की महत्वपूर्ण संरचनाओं पर दबाव डाल रहा था।
एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. नितिन कुमार की विशेषज्ञ देखरेख और डा. भवानी रैना के नैदानिक मार्गदर्शन में टीम ने सफल आर्बिटोटामी की। ट्यूमर को पूरी तरह से हटा दिया गया और आपरेशन के दौरान कोई परेशानी नहीं आई। आपरेशन के बाद मरीज ने शानदार सुधार दिखाया। दृष्टि में कोई कमी नहीं आई और लक्षणों में काफी राहत मिली।
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एम्स जम्मू के कार्यकारी निदेशक और सीईओ डॉ. शक्ति कुमार गुप्ता ने कहा यह मामला उन्नत शल्य चिकित्सा प्रक्रियाओं को सटीकता और देखभाल के साथ करने के लिए एम्स जम्मू की तत्परता को दर्शाता है।
हमारा लक्ष्य यह सुनिश्चित करना है कि इस क्षेत्र के किसी भी मरीज को ऐसे जीवन परिवर्तनकारी उपचारों के लिए दूर न जाना पड़े। डॉ. सुनैना गुप्ता, डा. रक्षा कुंडल, डा. सलोमी गुप्ता और डॉ. बिंदु ने एनेस्थीसिया दिया।
इस सर्जरी का सफल समापन न केवल नेत्र रोग विभाग की क्षमताओं को उजागर करता है बल्कि वंचित क्षेत्रों में विश्व स्तरीय सुपर-स्पेशलिटी देखभाल प्रदान करने के एम्स जम्मू के व्यापक दृष्टिकोण का भी प्रतिनिधित्व करता है।
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