हिमाचल के इस शहर में प्रदूषण का स्तर बढ़ा, चिंताजनक हुआ एयर क्वालिटी इंडेक्स, आखिर क्या है खराब हवा की वजह?
Baddi Pollution हिमाचल प्रदेश के औद्योगिक क्षेत्र बीबीएन में बरसात थमने के बाद वायु प्रदूषण का स्तर बढ़ने लगा है। एयर क्वालिटी इंडेक्स 165 दर्ज किया गया है जो मध्यम श्रेणी में है। प्रदूषण का मुख्य कारण औद्योगिक गतिविधियां उद्योगों से निकलने वाला धुआं और रसायन हैं। फोरलेन निर्माण और कचरा जलाने से भी प्रदूषण बढ़ रहा है।

जागरण संवाददाता, बीबीएन। हिमाचल प्रदेश में बरसात थमने के साथ ही प्रदूषण भी बढ़ने लगा है। औद्योगिक क्षेत्र बीबीएन में वायु प्रदूषण का स्तर फिर से बढ़ने लगा है। प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (पीसीबी) के अनुसार क्षेत्र की हवा में प्रदूषण का स्तर एयर क्वालिटी इंडेक्स 165 दर्ज किया गया है।
यह स्तर मध्यम श्रेणी में आता है, लेकिन चिंताजनक इसलिए है क्योंकि दिन-प्रतिदिन प्रदूषण का स्तर बढ़ने की आशंका है।
प्रदूषण की यह भी वजह
बीबीएन क्षेत्र में प्रदूषण के कई कारण सामने आए हैं। इनमें सबसे बड़ा कारण औद्योगिक गतिविधियां हैं। उद्योगों से निकलने वाला धुआं और रसायन वायु को प्रदूषित कर रहे हैं। इतना ही नहीं कई जगह उद्योगों द्वारा नदी-नालों में सीधे प्रदूषित कैमिकल छोड़े जा रहे हैं। इससे न केवल सतही जल बल्कि भूजल भी दूषित हो रहा है।
फोरलेन निर्माण ने भी बढ़ाई दिक्कत
बरसात खत्म होते ही बद्दी-नालागढ़ नेशनल हाईवे और अन्य मार्गों पर धूल की मोटी परत जम गई है। सड़क पर वाहनों की आवाजाही और निर्माण कार्य के चलते हवा में पीएम10 और पीएम2.5 कणों की मात्रा तेजी से बढ़ रही है। कचरा खुले में जलाने से भी हवा की गुणवत्ता बिगाड़ता है।
स्वास्थ्य पर पड़ रहा सीधा असर
वायु प्रदूषण का सीधा असर लोगों के स्वास्थ्य पर पड़ रहा है। चिकित्सकों के अनुसार धूल और धुएं से श्वसन संबंधी बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। बीबीएन क्षेत्र में खांसी, दमा, सांस लेने में कठिनाई, एलर्जी और त्वचा संबंधी रोगों के मामले लगातार सामने आ रहे हैं। खासकर बुजुर्ग, बच्चे और पहले से अस्थमा या फेफड़ों की बीमारियों से जूझ रहे लोग अधिक प्रभावित हो रहे हैं।
स्थानीय प्रशासन ने भी स्वीकार किया है कि फोरलेन मार्ग के निर्माण कार्य के चलते बद्दी से नालागढ़ के बीच धूल की समस्या गंभीर हो गई है। इस संबंध में एनएचएआइ को पत्र लिखने की तैयारी है।
सख्त कदम उठाना जरूरी
विशेषज्ञों का मानना है कि बीबीएन जैसे औद्योगिक क्षेत्र में प्रदूषण पर अंकुश लगाने के लिए सख्त कदम उठाना बेहद जरूरी है। औद्योगिक इकाइयों से निकलने वाले धुएं पर नियंत्रण के लिए प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को नियमित जांच करनी चाहिए। साथ ही सड़क निर्माण एजेंसियों को धूल कम करने के उपाय तत्काल लागू करने होंगे।
फोरलेन मार्ग निर्माणाधीन है। जिस पर बद्दी से नालागढ़ के बीच काफी धूल इन दिनों देखने को मिल रही है। इसको लेकर पत्र एनएचएआइ को लिखा जाएगा, ताकि फोरलेन मार्ग पर पानी का छिड़काव कर हवा में धूल कम हो सके।
-संजीव धीमान, एसडीएम, बद्दी।
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