MP Politics: इंदौर में कांग्रेस पर लटकी तलवार! अक्षय बम के नामांकन वापस लेने के बाद इस नेता ने HC में दायर की याचिका
लोकसभा चुनाव में कांग्रेस की मुश्किलें बढ़ती जा रही है। इंदौर सीट से उम्मीदवार अक्षय बम के ऐन मौके पर नामांकन वापस लेने के बाद अब कांग्रेस नेता मोती सिंह पटेल (Moti Singh Patel) ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की है। दरअसल कांग्रेस ने अक्षय बम को इंदौर लोकसभा सीट से उम्मीदवार बनाया था और मोती सिंह पटेल को स्थानापन्न उम्मीदवार बनाया था। हाईकोर्ट ने आदेश सुरक्षित रख लिया है।
एएनआई, इंदौर। लोकसभा चुनाव में कांग्रेस की मुश्किलें बढ़ती जा रही है। इंदौर सीट से उम्मीदवार अक्षय बम के ऐन मौके पर नामांकन वापस लेने के बाद अब कांग्रेस नेता मोती सिंह पटेल ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की है।
दरअसल, कांग्रेस ने अक्षय बम को इंदौर लोकसभा सीट से उम्मीदवार बनाया था और मोती सिंह पटेल को स्थानापन्न उम्मीदवार बनाया था। अब अक्षय बम के मतदान से ठीक पहले नामांकन वापस लेने के बाद मोती सिंह इंदौर सीट से उम्मीदवार बनाने की कांग्रेस से मांग कर रहे है।
इंदौर सीट पर मोती सिंह चुनाव लड़ेंगे या नहीं?
समाचार एजेंसी ANI से बात करते हुए मोती सिंह ने कहा, 'कांग्रेस ने अक्षय बम को अपना उम्मीदवार (इंदौर लोकसभा सीट से) बनाया और मुझे स्थानापन्न उम्मीदवार बनाया। अब, अक्षय बम ने अपना नामांकन वापस ले लिया है। इसलिए मैंने खुद को उम्मीदवार बनाने के लिए हाई कोर्ट में याचिका दायर की है। मैं चाहता हूं कि कांग्रेस पार्टी इंदौर लोकसभा सीट से उम्मीदवार के रूप में मेरे नाम की घोषणा करे।'
#WATCH | Indore, Madhya Pradesh: Congress leader Moti Singh Patel says, "The Congress made Akshay Bam their candidate (from Indore Lok Sabha seat) and made me substitute candidate. Now, Akshay Bam has withdrawn his nomination. That's why I have filed a petition in the High Court… pic.twitter.com/GO2zz6g8dy— ANI (@ANI) April 30, 2024
हाईकोर्ट करेगा विचार
कांग्रेस नेता मोती सिंह की याचिका पर मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने सुनवाई पूरी कर आदेश सुरक्षित रख लिया है। मोती सिंह के वकील विभोर खंडेलवाल ने बताया कि कांग्रेस ने बी फॉर्म में 2 प्रत्याशियों के नाम जारी किए थे। इसमें अक्षय बम का नाम अनुमोदित प्रत्याशी और मोती सिंह का नाम वैकल्पिक प्रत्याशी के रूप में दर्ज किया गया था।
जिला निर्वाचन अधिकारी ने मोती सिंह का नाम इस आधार पर निरस्त किया है कि उनके फॉर्म पर प्रस्तावक के रूप में 10 लोगों के बजाय सिर्फ एक व्यक्ति का नाम था।
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