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    साइबर ठगों ने 1417 कार्ड का चुराया था डाटा, 120 खातों से उड़ाई रकम

    By BhanuEdited By:
    Updated: Thu, 03 Aug 2017 08:52 PM (IST)

    साइबर ठगों का गैंग दून में स्कीमर के जरिये 1417 एटीएम कार्ड का डाटा चुराने में कामयाब हो गया था, लेकिन दो दिन के भीतर ही दर्जनों खातों से पैसे निकालने के चलते उनका भंडा फूट गया।

    साइबर ठगों ने 1417 कार्ड का चुराया था डाटा, 120 खातों से उड़ाई रकम

    देहरादून, [जेएनएन]: साइबर ठगों का गैंग दून में स्कीमर के जरिये 1417 एटीएम कार्ड का डाटा चुराने में कामयाब हो गया था, लेकिन दो दिन के भीतर ही दर्जनों खातों से पैसे निकालने के चलते उनका भंडा फूट गया। खाताधारकों द्वारा एटीएम कार्ड का पिन चेंज करने या फिर उसे ब्लॉक करा देने से भी गिरोह लाचार हो गया था। हालांकि, तब तक गिरोह 120 खातों से 35 लाख रुपये साफ कर चुका था। इनमें से 95 खाताधारकों ने एटीएम ठगी के मुकदमे भी दर्ज कराए हैं।

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    एटीएम क्लोनिंग कर ठग करने की सनसनीखेज वारदात की जांच के दौरान बुधवार को बैंकों ने पुलिस के साथ स्कीमर लगे एटीएम से एक से आठ जुलाई के बीच हुए ट्रांजेक्शन का ब्योरा साझा किया। एसएसपी निवेदिता कुकरेती ने बताया कि बैंकों से मिली जानकारी के अनुसार ठगों ने डालनवाला क्षेत्र के तेग बहादुर रोड, नेहरू कॉलोनी व धर्मपुर स्थित एटीएम पर स्कीमर डिवाइस लगाए थे। 

    इस दौरान एक से आठ जुलाई के मध्य इन एटीएम पर कुल 1417 लोगों ने अपने कार्ड इस्तेमाल किए, जिनका डाटा स्कीमिंग डिवाइस में कॉपी हो गया। इसके बाद जालसाजों ने इसी डाटा के आधार पर एटीएम कार्ड की क्लोनिंग कर नया कार्ड बनाकर पैसे निकालने शुरू किए। 

    11 जुलाई को एक खाते से पैसे निकलने और अगले दिन तक दो दर्जन से अधिक खातों से रकम गायब होने की सूचना के बाद हड़कंप मचा तो जालसाजों के भी हाथ-पांव फूल गए। लिहाजा कार्ड का क्लोन मौजूद होने के बाद भी वह कई खातों से पैसे निकालने में कामयाब नहीं हो सके।

    कहां कितने कार्ड हुए प्रयोग

    तेग बहादुर रोड पीएनबी एटीएम से 663, नेहरू कॉलोनी, एसबीआइ एटीएम से 407, धर्मपुर स्थित एसबीआइ के एटीएम से 347 एटीएम कार्ड का डाटा चुराया गया। 

    झज्जर में मिलती है एटीएम फ्रॉड की ट्रेनिंग

    ठगी की इस वारदात का मास्टरमाइंड रामबीर झज्जर (हरियाणा) के जिस इलाके से ताल्लुक रखता है, वह एटीएम फ्रॉड का मिनी ट्रेनिंग सेंटर भी है। पुलिस सूत्रों ने बताया कि झज्जर में कभी नशे का कारोबार बड़े पैमाने पर होता था, लेकिन बाद में वहां की पुलिस ने शिकंजा कसना शुरू किया तो कई शातिरों ने धंधा बदल कर एटीएम जालसाजी के गुर सीख लिए। 

    जानकर हैरानी होगी कि यह गिरोह अब तक 40 से ज्यादा ठगों को एटीएम कार्ड की क्लोनिंग करने से लेकर सोशल मीडिया अकाउंट हैक करने तक के गुर सिखा चुका है।

    टीमें वापस लौटीं, कुर्की की तैयारी

    ठगों की तलाश में 13 जुलाई से राजस्थान, हरियाणा व दिल्ली की खाक छान रही पुलिस टीमें मंगलवार देर रात दून वापस लौट आईं। बुधवार को इन टीमों ने एसएसपी को फीडबैक दिया। एसएसपी निवेदिता कुकरेती ने बताया कि ठगों की तलाश जारी है। आरोपियों के रिश्तेदारों से भी पूछताछ हो चुकी है। अब आरोपियों के परिसंपत्तियों के कुर्की की तैयारी शुरू कर दी गई है।

    एटीएम बदलने की दिलाई याद

    रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया सभी बैंकों को आदेश कर चुका है कि वह वर्ष 2018 तक हर हाल में पुराने एटीएम को बदल कर उसकी जगह नई मशीनें लगा दें। एसएसपी ने भी बैंकों को पत्र भेजकर इसका हवाला देते हुए दून शहर के पुराने एटीएम को जल्द बदलने की याद को दिलाई है। बता दें कि नए एटीएम में न तो स्कीमर लगाए जा सकते हैं न ही किसी तरीके से उसे हैक किया जा सकता है।

    मसूरी रोड के होटल में ठहरे थे जालसाज

    स्कीमर लगाने के लिए दून आए जालसाज मसूरी रोड के एक होटल में ठहरे थे। यहां से पुलिस उनके सीसीटीवी फुटेज व आइडी मिले हैं। इसी आइडी के सहारे पुलिस जालसाजों तक पहुंचने में कामयाब भी हुई थी।

    सतर्कता में निजी बैंक आगे

    एटीएम से होने फ्रॉड को रोकने के लिए सरकारी बैंक अभी भी नींद में है, जबकि निजी बैंकों ने दून शहर में कई स्थानों पर हाईटेक मशीनें लगा दी हैं। एक बैंक ने तो अपने एटीएम में एंटी स्कीमर डिवाइस तक लगा दिए हैं, मगर सरकारी बैंक अभी वर्षों पुराने एटीएम से काम चला रहे हैं।

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