केदारनाथ में जल्द शुरू कराएं पूजा: सोनिया
यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा से कहा कि केदारनाथ धाम में पूजा-अर्चना शीघ्र शुरू कराई जाए।शुक्रवार शाम श्रीमती गांधी से मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा ने फोन पर बात कर उन्हें आपदा राहत कार्यो की जानकारी दी।
देहरादून। यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा से कहा कि केदारनाथ धाम में पूजा-अर्चना शीघ्र शुरू कराई जाए।
शुक्रवार शाम श्रीमती गांधी से मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा ने फोन पर बात कर उन्हें आपदा राहत कार्यो की जानकारी दी। मुख्यमंत्री ने बताया कि आपदा प्रभावित क्षेत्रों में जो शव जमीन पर दिखाई दे रहे थे, उनका सम्मानपूर्वक विधि विधान के साथ दाह संस्कार कर दिया गया है। जो शव मलबे में दबे हैं, उन्हें निकालने के लिए हर संभव कोशिश की जा रही है। मुख्यमंत्री ने भरोसा दिलाया कि मंदिर परिसर की साफ सफाई और मार्गो के निर्माण के बाद केदारनाथ धाम में पूजा-अर्चना शुरू कराने के लिए युद्धस्तर पर कार्य किया जा रहा है। सीमा सड़क संगठन और लोक निर्माण विभाग को डेडलाइन दे दी गई है। उन्होंने उम्मीद जताई कि सितंबर माह में पूजा-पाठ का कार्य शुरू हो जाएगा।
केदारनाथ में पहली बार सावन में सन्नाटा-
रुद्रप्रयाग- शायद यह पहला अवसर है जब सावन के महीने में बारह ज्योतिर्लिग में से एक भगवान केदारनाथ के मंदिर में सन्नाटा पसरा है। मौसम के बिगड़ते मिजाज और मंदिर की वर्तमान दशा को देखते हुए पूजा-अर्चना शुरू नहीं हो पा रही है। धर्माचार्यो का मानना है कि यदि इस सावन में भोले बाबा केदारनाथ में विराजमान नहीं हुए तो फिर शुभ मुहुर्त के लिए काफी समय लग सकता है। केदारनाथ मंदिर रावल भीमाशंकर लिंग कहते हैं कि ' बताया कि यदि सावन में पूजा शुरू हो पाती तो उत्तम रहता, क्यों शास्त्रों के मुताबिक भाद्र पक्ष में पूजा शुरू नहीं की जा सकती।'
पिछली 16 जून से केदारनाथ में भोले बाबा की पूजा बंद है। वहां आई त्रासदी इतनी भयावह थी अभी तक हालात सामान्य नहीं हो पाए हैं। हालांकि मंदिर समिति ने दस दिनों के भीतर पूजा शुरू करने की घोषणा की थी, लेकिन अब एक महीने से अधिक समय बीत चुका है, पर मंदिर में जमा मलबा तक नहीं हटाया जा सका है। मंदिर समिति की टीम भी केदारनाथ नहीं पहुंच पाई है। हेलीकॉप्टर के इंतजार में टीम गुप्तकाशी में ही डेरा जमाए हुए है।
केदारनाथ में मंदिर के गर्भगृह से लेकर सभामंडप की सफाई, क्षतिग्रस्त दरवाजों का निर्माण, मंदिर के पुजारी व कर्मचारियों के रहने व खाने की व्यवस्था होने के बाद ही पूजा शुरू होना संभव हो सकेगा। केदारनाथ के मुख्य पुजारी राजशेखर लिंग का कहना है कि सावन में भोले बाबा मंदिर में विराजित हो जाते तो अच्छा था। हालांकि वेदपाठियों से विमर्श के बाद दूसरे मुहुर्त भी देखे जाएंगे।
मंदिर समिति की टीम सर्वप्रथम केदारनाथ जाकर नुकसान का जायजा लेगी। इसके बाद सफाई, शुद्धिकरण व पूजा शुरू करने को लेकर अलग-अलग कमेटियां बनाई जाएंगी। केदारनाथ में पूजा फिर से शुरू करने के लिए शुभ मुहुर्त भी निकाला जाएगा, इसमें समय लगना स्वाभाविक है।
बीडी सिंह, मुख्य कार्याधिकारी, बदरी-केदार मंदिर समिति
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