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    सीएम पद की साझेदारी की मांग राकांपा का 'गेमप्लान'

    By Sanjay BhardwajEdited By:
    Updated: Thu, 02 Oct 2014 07:24 AM (IST)

    महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण ने बुधवार को दावा किया कि राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) ने अपने गेमप्लान के तहत ही मुख्यमंत्री पद की साझेदारी की मांग की थी। उन्होंने दावा किया कि सरकार गिराना राकांपा की पूर्व नियोजित योजना थी। राज्यपाल द्वारा उन्हें कार्यवाहक मुख्यमंत्री बने रहने को कहे जाने के बावजूद राज्य में

    मुंबई। महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण ने बुधवार को दावा किया कि राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) ने अपने गेमप्लान के तहत ही मुख्यमंत्री पद की साझेदारी की मांग की थी। उन्होंने दावा किया कि सरकार गिराना राकांपा की पूर्व नियोजित योजना थी। राज्यपाल द्वारा उन्हें कार्यवाहक मुख्यमंत्री बने रहने को कहे जाने के बावजूद राज्य में राष्ट्रपति शासन लगा दिया गया।

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    चव्हाण ने कहा, 'राकांपा के समर्थन वापस लेने के बाद राज्यपाल (विद्यासागर राव) ने पहले तो मुझसे कार्यवाहक मुख्यमंत्री बने रहने को कहा। बाद में (केंद्रीय) कैबिनेट की बैठक हुई और राष्ट्रपति को मजबूर होकर रविवार को राष्ट्रपति शासन संबंधी फाइल पर दस्तखत करने पड़े। उन्हें तो कानूनी राय लेने तक का समय नहीं मिला।'

    पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि जिस समय राकांपा ने बराबरी के आधार पर विधानसभा की 144 सीटें तथा मुख्यमंत्री पद पर ढाई-ढाई साल की साझेदारी का दावा किया, उसी समय उन्हें पता चल गया था कि राकांपा का कोई 'गेमप्लान' है।

    उन्होंने कहा, 'राकांपा ने जब हमसे मुख्यमंत्री पद की साझेदारी को कहा तो मैं हैरान रह गया। इसके बाद मुझे पता चल गया कि गठबंधन टूटेगा। यह उनका गेमप्लान था..राज्य की सत्ता (सरकार गिराकर) भाजपा को सौंप दो और बदले में केंद्र में मंत्री पद पा लो।'

    जया जैसा होगा अजीत का हाल

    करोड़ों रुपये के कथित सिंचाई घोटाले में अजीत पवार को क्लीन चिट दिए जाने के बारे में पूछे जाने पर पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि कानून राकांपा नेता को भी पकड़ लेगा, जैसा कि तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जयललिता के साथ हुआ है। जयललिता को बेहिसाबी संपत्ति के मामले में चार साल की कैद तथा सौ करोड़ रुपये के जुर्माने की सजा सुनाई गई है।

    चव्हाण ने कहा, 'यदि माधव चितले कमेटी ने उन्हें (पवार) को क्लीन चिट दी है, जैसा कि वह दावा करते हैं तो कोर्ट ने राकांपा प्रदेश अध्यक्ष सुनील तटकरे के खिलाफ क्यों जांच के आदेश दिए हैं? चितले कमेटी की रिपोर्ट कहती है कि सिंचाई विकास निगम का अध्यक्ष मंत्री नहीं हो सकता। क्या तब वह (पवार) मंत्री नहीं थे? हमारी न्यायिक प्रणाली थोड़ी सुस्त जरूर है, लेकिन न्याय होता है। जयललिता 18 साल बाद दोषषी करार दी गई हैं।'

    भ्रष्टाचार दूर करेंगे

    उन्होंने कहा कि चुनाव बाद यदि उनकी सरकार बनी तो सबसे पहले भ्रष्टाचार को दूर किया जाएगा। उन्होंने कहा, 'मुझे मौजूदा सिस्टम की सफाई के लिए महाराष्ट्र भेजा गया। सभी मेरे विरोध में थे, बावजूद मैंने करने की कोशिश की। गठबंधन सरकार ने मुझे पूरी तरह से अपना काम नहीं करने दिया। लेकिन यदि अब बहुमत मिलता है तो मेरी सबसे पहली प्राथमिकता यह सुनिश्चित करना होगी कि कोई भी मंत्री राज्य सहकारिता का चेयरमैन नहीं होगा।'

    क्या कहना चाहती है भाजपा

    भाजपा के इस दावे पर कि यदि वह राज्य में सत्ता में आती है तो केंद्र और राज्य के बीच बेहतर तालमेल होगा, पूर्व मुख्यमंत्री ने सवाल किया कि 'क्या भाजपा यह कहने की कोशिश कर रही है कि यदि कांग्रेस को फिर से सत्ता मिली तो वह पूरी तरह से सहयोग नहीं करेगी?'

    मनपा की राजनीति पर

    मनपा अध्यक्ष राज ठाकरे की राजनीति पर तंज कसते हुए चव्हाण ने कहा कि राजनेताओं को महाराष्ट्र के विकास के लिए काम करना चाहिए ताकि देश की भी तरक्की हो। उन्होंने कहा, 'महाराष्ट्र देश का नंबर वन राज्य है। इसे देश से अलग नहीं किया जा सकता। राज अपनी रैलियों में मूर्खतापूर्ण टिप्पणी करते हैं। आपको विकास के पथ पर सबको साथ लेकर चलना सीखना चाहिए।'

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