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    मोदी ने डेढ़ माह गुफा में की थी तपस्या

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    Updated: Sat, 17 May 2014 07:17 PM (IST)

    रुद्रप्रयाग [बृजेश भट्ट]। शायद कम ही लोगों को पता होगा कि देश में जननायक के रूप में उभरे नरेंद्र मोदी ने कभी केदारनाथ के पास गरुड़चट्टी में करीब डेढ़ म ...और पढ़ें

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    रुद्रप्रयाग [बृजेश भट्ट]। शायद कम ही लोगों को पता होगा कि देश में जननायक के रूप में उभरे नरेंद्र मोदी ने कभी केदारनाथ के पास गरुड़चट्टी में करीब डेढ़ माह गुफा में साधना की थी। बताया जाता है कि अस्सी के दशक में वह अक्सर बाबा केदार के दर्शनों को आते रहते थे। इतना ही नहीं गुजरात का मुख्यमंत्री बनने के बाद वर्ष 2002 में भी वह केदारनाथ आए थे। गत वर्ष आपदा के बाद भी उन्होंने गुजरात सरकार की ओर से पुनर्निर्माण की इच्छा जताई थी।

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    कभी केदारनाथ यात्रा का प्रमुख पड़ाव रहा गरुड़चट्टी पैदल मार्ग पर मंदिर से दो किलोमीटर पहले स्थित है। यात्रियों के ठहरने के लिए यहां कई धर्मशालाएं व आश्रम थे। जब केदारनाथ में सैलाब आया तो हजारों लोगों ने गरुड़चट्टी में पनाह लेकर जिंदगी बचाई। केदारनाथ के लिए नया पैदल पथ बन जाने से यह पड़ाव वीरान है। केदारनाथ के तीर्थ पुरोहित 73 वर्षीय श्रीनिवास पोस्ती उस दौर को याद कर बताते हैं कि वर्ष ठीक से याद नहीं आ रहा यह 1985 था या 1986। उन दिनों वह संघ से जुड़े थे व गरुड़चट्टी स्थित गुफा में साधना कर रहे थे। वह करीब डेढ़ माह यहां रहे। उन्होंने बताया कि तब मोदी प्रतिदिन केदार बाबा के दर्शनों के बाद ही चाय पिया करते थे। दो-तीन बार मोदी ने उनके साथ बाबा केदार के दर्शन किए।

    आपदा के बाद मोदी हेलीकॉप्टर से केदारनाथ पहुंचे, लेकिन सरकार ने यहां उतरने की अनुमति नहीं दी। इसके बाद उन्होंने केदारनाथ के पुनर्निर्माण का प्रस्ताव भी रखा, जिसे उत्तराखंड सरकार ने नहीं माना। पोस्ती को उम्मीद है कि मोदी प्रधानमंत्री बनने के बाद केदारनाथ के पुनर्निर्माण में रुचि दिखाएंगे।

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