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नमो के खिलाफ एफआइआर पर बढ़ी तकरार, पुलिस ने दी क्लीनचिट!

आचार संहिता उल्लंघन के आरोप में नरेंद्र मोदी पर दर्ज एफआइआर को भाजपा नेता अरुण जेटली ने चुनाव आयोग द्वारा जल्दबाजी और गुस्से में उठाया गया कदम करार दिया है। इस क्रम में उन्होंने गुजरात में एक महिला की जासूसी से संबंधित स्नूपगेट मामले पर सरकार की बढ़ी सक्रियता को राजनीतिक तौर पर गलत मंशा से प्रेरित कदम बताया।

By Edited By: Published: Thu, 01 May 2014 04:32 PM (IST)Updated: Fri, 02 May 2014 06:14 AM (IST)

नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। आचार संहिता उल्लंघन के आरोप में नरेंद्र मोदी पर दर्ज एफआइआर को भाजपा नेता अरुण जेटली ने चुनाव आयोग द्वारा जल्दबाजी और गुस्से में उठाया गया कदम करार दिया है। इस क्रम में उन्होंने गुजरात में एक महिला की जासूसी से संबंधित स्नूपगेट मामले पर सरकार की बढ़ी सक्रियता को राजनीतिक तौर पर गलत मंशा से प्रेरित कदम बताया। जबकि कांग्रेस ने अब और दबाव बढ़ाते हुए मोदी के खिलाफ जनप्रतिनिधित्व कानून की धारा 130 भी लगाने और उन्हें गिरफ्तार करने की मांग की।

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कांग्रेस आचार संहिता उल्लंघन मामले को तूल देने में जुट गई है। बृहस्पतिवार को पार्टी के प्रतिनिधिमंडल ने चुनाव आयोग से मुलाकात कर कहा कि वर्तमान में जनप्रतिनिधित्व कानून की धारा 126 के तहत मोदी पर एफआइआर दर्ज किया गया है। लेकिन मतदान क्षेत्र में चुनाव प्रचार करने के लिए उनपर धारा 130 भी लगनी चाहिए। ताकि उन्हें गिरफ्तार किया जा सके।

जेटली ने एफआइआर दर्ज करने पर ही सवाल उठाते हुए कहा, मतदान क्षेत्र में प्रचार का मामला दर्ज किया गया है। आयोग क्या यह बताएगा कि मतदान क्षेत्र का अर्थ क्या है। वह मतदान केंद्र के अंदर नहीं बोल रहे थे। बाहर पत्रकारों ने सवाल पूछा तो प्रधानमंत्री और अम‌र्त्य सेन की तरह ही जवाब दिया। सेन ने बाहर आकर मोदी के खिलाफ भी बातें की थी। चुनाव कई चरणों में हो रहे हैं, लिहाजा क्या पूरे देश को चुनाव क्षेत्र माना जाएगा। बोलने की आजादी के अधिकार का हवाला देते हुए उन्होंने आयोग के फैसले से असहमति जताई। स्नूपगेट मामले पर कहा, सरकार कुछ ही दिनों में जाने वाली है। जांच के लिए कई जजों से संपर्क कर चुकी है और सभी ने मना भी कर दिया था। अब यही आशा की जा सकती है कि विदाई के लिए तैयार सरकार के राजनीतिक मंशा के फंदे में कोई भी जज नहीं आएंगे।

प्रतिबंधित क्षेत्र के बाहर हुआ था मोदी का भाषण

अहमदाबाद। मतदान केंद्र के पास भाषण देने और भाजपा का चुनाव चिन्ह दिखाने के मामले में गुजरात पुलिस ने अपनी प्रारंभिक जांच में नरेंद्र मोदी को क्लीन चिट दे दी है। उनके खिलाफ बुधवार को निर्वाचन कानून के उल्लंघन के आरोप में मुकदमा दर्ज किया गया था। पुलिस ने प्रारंभिक जांच में पाया है कि मोदी ने भीड़ को मतदान केंद्र के 100 मीटर के प्रतिबंधित दायरे के बाहर संबोधित किया था।

अहमदाबाद की अपराध शाखा के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि किसी भी अन्य मामले की तरह हम लोग इस सच्चाई का पता लगाने के लिए जांच करेंगे कि क्या मोदी मतदान केंद्र के 100 मीटर के दायरे के अंदर थे? हमारी प्रारंभिक जांच से पता चला है कि प्रशासन ने पोलिंग बूथ के बाहर उस दायरे को सफेद पट्टी से चिन्हित कर रखा था और मोदी ने संवाददाता सम्मेलन उसके बाहर किया था। अपराध शाखा ने इस मामले की बृहस्पतिवार से जांच शुरू की। आदर्श आचार संहिता के तहत मतदान केंद्रों के 100 मीटर के दायरे में चुनाव प्रचार करने पर रोक है।

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