रॉकेट लांचर से दिल्ली को दहलाना चाहता था यासीन भटकल
दिल्ली में रॉकेट लांचर की मदद से तबाही मचाना चाहता था। उसके निशाने पर सुरक्षा की दृष्टि से संवेदनशील सरकारी भवन तथा भीड़भाड़ वाले इलाके थे। इसके लिए यासीन ने ससुर मुहम्मद इरशाद की मदद से कंझावला इलाके के मीर विहार में अवैध हथियार बनाने की फैक्ट्री स्थापित कर ली थी।
नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। आतंकी यासीन भटकल दिल्ली में रॉकेट लांचर की मदद से तबाही मचाना चाहता था। उसके निशाने पर सुरक्षा की दृष्टि से संवेदनशील सरकारी भवन तथा भीड़भाड़ वाले इलाके थे। इसके लिए यासीन ने ससुर मुहम्मद इरशाद की मदद से कंझावला इलाके के मीर विहार में अवैध हथियार बनाने की फैक्ट्री स्थापित कर ली थी।
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दिल्ली पुलिस ने वर्ष 2011 में इरशाद की निशानदेही पर फैक्ट्री पर छापा मारा तो वहां से रॉकेट लांचर की नाल तथा हथियारों के अर्धनिर्मित पार्ट्स मिले थे। पुलिस अधिकारियों के अनुसार, वर्ष 2012 में सऊदी अरब से प्रत्यर्पित कर भारत लाए गए आइएम आतंकी फसीह महमूद व यासीन की दोस्ती से आइएम के बिहार मॉड्यूल की नींव पड़ी।
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फसीह ने अंजुमन इंजीनियरिंग कॉलेज, भटकल, कनार्टक से इंजीनियरिंग की पढ़ाई की थी। उसी दौरान वह आइएम संस्थापक रियाज व इकबाल भटकल, आमिर रजा व यासीन के संपर्क में आया था। वर्ष 2003 में यासीन भटकल बिहार में दरभंगा जिले के बाढ़ समरिया गांव में फसीह से मिलने गया था।
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