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    'आप' नेता आतिशी का खुलासा, शांति की जिद से नहीं हुआ समझौता

    By anand rajEdited By:
    Updated: Tue, 07 Apr 2015 05:16 PM (IST)

    आम आदमी पार्टी को एक और चिट्ठी मिली है। चिट्ठी में दावा किया गया है कि आप के अंदरूनी विवादों पर दोनों गुटों में समझौता होने वाला था, लेकिन प्रशांत भूषण के पिता शांति भूषण की जिद की वजह से समझौता नहीं हो पाया। हालांकि प्रशांत ने आतिशी मारलेना के

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    नई दिल्ली। आम आदमी पार्टी को एक और चिट्ठी मिली है। चिट्ठी में दावा किया गया है कि आप के अंदरूनी विवादों पर दोनों गुटों में समझौता होने वाला था, लेकिन प्रशांत भूषण के पिता शांति भूषण की जिद की वजह से समझौता नहीं हो पाया। हालांकि प्रशांत ने आतिशी मारलेना के इस बयान का खंडन किया है।

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    आप को ये चिट्ठी पार्टी की पूर्व प्रवक्ता आतिशी मारलेना ने लिखा है। मारलेना ने ईमेल कर ये चिट्ठी पार्टी को भेजी थी। इस ईमेल में उन्होंने लिखा है कि शांति भूषण ने प्रशांत भूषण को धमकी दी थी कि अगर उन्होंने केजरीवाल गुट से कोई समझौता किया तो वह घर छोड़ देंगे। बता दें कि आतिशी, योगेंद्र यादव और प्रशांत भूषण की करीबी मानी जाती थीं, जिसके बाद पार्टी में विवाद बढ़ने पर उन्हें प्रवक्ता पद से हटा दिया गया था।

    प्रवक्ता पद से हटाए जाने के बाद आतिशी ने पार्टी के वरिष्ठ नेताओं को ईमेल कर बताया कि उन्होंने योगेंद्र यादव और प्रशांत भूषण से अपनी राहें जुदा करने का ऐलान कर दिया है। उनकी यह नई चिट्ठी दोनों आप नेताओं के लिए बड़ा झटका माना जा सकता है।

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    आतिशी ने यह चिट्ठी केजरीवाल गुट के नेताओं को लिखी। चिट्ठी के मुताबिक केजरीवाल गुट और उनके विरोधी प्रशांत-योगेंद्र गुट के बीच बातचीत सही दिशा में आगे बढ़ रही थी और इसमें समझौते की संभावना थी लेकिन शांति भूषण नहीं चाहते थे कि प्रशांत और योगेंद्र केजरीवाल के आगे समर्पण करें। शांति भूषण ने अपने बेटे प्रशांत भूषण से साफ कह दिया था कि अगर वह केजरीवाल से समझौता करने की दिशा में आगे बढ़ते हैं तो वह घर छोड़ देंगे।

    उधर आतिशी मारलेना के आरोपों को प्रशांत भूषण ने खारिज कर दिया है। उन्होंने कहा है कि ये कहना ठीक नहीं है कि बातचीत मेरे पिता की वजह से बंद हुई। वार्ताकारों से चर्चा नहीं करना और विश्वास की कमी की वजह से बातचीत बंद हुई ।

    बता दें कि शांति भूषण ने ‘आप’ की स्थापना के समय पार्टी को एक करोड़ रुपए का चंदा दिया था लेकिन वह लंबे समय से केजरीवाल से खफा चल रहे हैं। दिल्ली चुनाव से पहले उन्होंने मुख्यमंत्री पद के लिए किरण बेदी को केजरीवाल से बेहतर उम्मीदवार बता दिया था।

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