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    इन कारणों से रिजेक्ट होता है मोटर इंश्योरेंस क्लेम

    अगर गाड़ी में किसी तरह की गड़बड़ी होती है तो तुरंत इंश्योरेंस कंपनी को जानकारी देनी चाहिए।

    By Shashi Bhushan KumarEdited By: Updated: Mon, 26 Oct 2015 08:15 PM (IST)

    अमिताभ जैन

    हेड, मोटर अंडरराइटिंग और क्लैम, आईसीआईसीआई लोंबार्ड

    बिरवा के अच्छे बिजनेस स्कूल से एमबीए पास करने के बाद उसके पेरेंट्स ने उसे नई कार गिफ्ट में दी। बिरवा भी अपने दोस्तों के साथ कार में घूमने की शौकीन थी। जैसे ही उसे गिफ्ट में कार मिली वो तुरंत अपने दोस्तों को दिखाने निकल पड़ी। लेकिन जल्दबाजी में स्पीड का ध्यान नहीं रख पाई और सोसाइटी के दरवाजे पर कार मोड़ते ही कार भिड़ा दी। कार के पिछले हिस्से बड़ा सा डेंट पड़ गया और पिछली हेडलाइट भी टूट गई। पेरेंट्स की डांट ना पड़े इसलिए वो तुरंत ही नजदीक के गैरेज में कार सुधरवाने पहुंच गई।

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    कार रिपेयर होने के बाद गैरेज से मिले बिल के आधार पर उसने रिइंबर्समेंट के लिए इंश्योरेंस क्लैम भी फाइल कर दिया। बिरवा को तब शॉक लगा जब इंश्योरेंस कंपनी ने उसका क्लैम रिजेक्ट कर दिया। कंपनी ने दलील दी की कार की रिपेयर की जानकारी उन्हें नहीं दी गई। साथ ही सर्वेयर के बिना ही कार रिपेयर करवा ली गई। अगर गाड़ी में किसी तरह की गड़बड़ी होती है तो तुरंत अपनी इंश्योरेंस कंपनी को जानकारी देनी चाहिए। प्रक्रिया का पालन नहीं करने पर क्लैम रिजेक्ट हो जाता है।

    बिरवा की तरह कई दूसरे लोगों को भी जानकारी न होने के कारण क्लैम रिजेक्शन का सामना करना पड़ता है। इंश्योरेंस हमेशा विश्वास पर काम करता है।

    तो अगर आप चाहते हैं कि आपका क्लैम रिजेक्ट न हो तो इन बातों का रखें ध्यान

    1. सीएनजी किट

    पेट्रोल डीजल की कीमत बढ़ने के चलते कई लोग आजकल अपनी कारों में सीएनजी और एलपीजी किट फिट करवा रहे हैं। अगर आपने अतिरिक्त सीएनजी किट लगवाई है जिसे आरसी और पॉलिसी में इंडोर्स नहीं किया गया है तो आपका क्लैम रिजेक्ट हो सकता है।

    2. प्राइवेट व्हीकल का कमर्शियल उपयोग

    अगर आपका प्राइवेट व्हीकल किसी कमर्शियल उपयोग में लगा है तो भी इंश्योरेंस कंपनी क्लैम रिजेक्ट कर सकती है।

    3. जांच से पहले रिपेयर की शुरूआत

    किसी तरह के रिपेयर की शुरूआत से पहले इंश्योरेंस कंपनी के सर्वेयर की तरफ से सर्वे जरूरी है। सर्वेयर की रिपोर्ट के बाद ही रिपेयर का काम शुरू होना चाहिए। नहीं तो कंपनी क्लैमू रिजेक्ट कर देती है।

    4. ओवरलोडिंग

    किसी भी खराबी से पहले अगर गाड़ी ओवरलोड थी तो भी कंपनी आपका क्लैम रिजेक्ट कर सकती है। इसलिए गाड़ी में कभी भी तय मात्रा से ज्यादा सामान न भरें।

    5. पॉलिसी ट्रांसफर न हुई हो

    गाड़ी बेचने के बाद पहले मालिक के नाम परआरसी और पॉलिसी हो। इसे अगर गाड़ी के दूसरे मालिक को ट्रासफर न किया गया हो। इस स्थिति अगर क्लैम होता है तो वो भी रिजेक्ट हो जाता है।

    6. शराब पीना और बिना लाइसेंस के गाड़ी चलाना

    अगर ड्रायवर गाड़ी शराब पीकर चला रहा है तो भी कंपनी क्लैम रिजेक्ट कर सकती है। इसके अलावा ड्रायवर के पास वैध लाइसेंस न होने की सूरत में भी क्लैम रिजेक्ट हो सकता है।

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