Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    डेरा चेयरपर्सन विपसना बोलीं, प्रशासन चाहे तो चला सकता है सर्च अभियान

    By Kamlesh BhattEdited By:
    Updated: Mon, 04 Sep 2017 12:41 PM (IST)

    डेरा सच्चा सौदा की चेयरपर्सन विपसना व प्रशासन के अधिकारियों के बीच बैठक हुई। इसके बाद विपसना ने कहा कि प्रशासन चाहे तो डेरे में सर्च आपरेशन चला सकता ह ...और पढ़ें

    Hero Image
    डेरा चेयरपर्सन विपसना बोलीं, प्रशासन चाहे तो चला सकता है सर्च अभियान

    जेएनएन, सिरसा। डेरे की चेयरपर्सन विपसना इंसां ने कहा कि प्रशासन चाहे तो डेरे में अपना सर्च अभियान चला सकता है। यह उनका काम है। यह बात विपसना ने डेरा प्रबंधन व प्रशासन के बीच हुई बैठक के बाद पत्रकारों से कही। इससे पहले रविवार शाम डेरा प्रबंधन व प्रशासन की उच्चस्तरीय बैठक एसपी कार्यालय में हुई।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    डेरा मुखी को सजा सुनाने के बाद डेरा प्रबंधन व प्रशासन की यह चौथी बैठक हुई है। बैठक में प्रशासन ने पूछा कि डेरे में वर्तमान में कितने लोग मौजूद हैं उनकी नामवार सूची दी जाए। डेरे के नाम कितने हथियार हैं और प्रशासनिक निर्देशों के बाद कितने जमा करवाए गए हैं और कितने अभी शेष हैं और बाकी हथियारों को कब तक जमा करवाया जाएगा। इसके अलावा डेरा प्रबंधन समिति सदस्यों से यह भी पूछा गया कि डेरा के कितने बैंक अकाउंट हैं उनकी डिटेल दी जाए। इससे प्रशासन यह जानकारी जुटा पाए कि डेरा के पास कितनी संपत्ति है।

    देखें तस्वीरें : किसी आश्चर्य से कम नहीं बाबा का डेरा, फिल्मों के अलावा थे कई प्रोजेक्ट

    इस पर डेरा प्रबंधन समिति की चेयरपर्सन विपसना इंसां ने कहा कि डेरा में कितने लोग बचे हैं इसकी जानकारी प्रशासन को जल्द दे दी जाएगी। इसके अलावा उन्होंने यह भी कहा कि डेरा की ओर से हथियारों को अभी जमा करवाया जा रहा है। शीघ्र ही बचे हुए हथियारों को जमा करवा दिया जाएगा। बैठक में आइजी अमिताभ ढिल्लों, डीसी प्रभजोत सिंह व एसपी अश्विन शैणवी और डेरे की ओर से डेरा प्रबंधन समिति की चेयरपर्सन विपसना इंसां व पीआर नैन मौजूद रहे।

    डेरा के मुख्य सेवादारों के हवाले किया गया बेशकीमती सामान

    गुरमीत राम रहीम को दोषी करार दिए जाने के बाद उसका बेशकीमती सामान उसके विश्वासपात्रों ने डेरे के मुख्य सेवादारों के हवाले कर दिया, ताकि इसे ठिकाने लगाया जा सके। इस सामान में मर्सिडीज, ऑडी जैसी महंगी गाडिय़ां भी शामिल हैं। सामान और वाहनों को ठिकाने लगाने का काम 25 अगस्त रात से ही शुरू कर दिया गया था। यही विश्वासपात्र अलग-अलग सेवादारों को गाडिय़ां सौंप कर डेरे से बाहर भिजवाते रहे। बता दें कि डेरा प्रमुख के काफिले की गाडिय़ों के अलावा उसके खुद के द्वारा डिजाइन की गई गाडिय़ां और बाइक भी भारी मात्रा में डेरे में मौजूद थे।

    पारिवारिक सदस्यों के गैराज में भी रखवाई गाड़ियां

    सूत्रों की मानें तो डेरा प्रमुख के परिवार के सदस्यों की कोठी के गैराज में भी कई गाडिय़ां रखवाई गई हैं। इसके अलावा डेरे से बाहर की कॉलोनियों में रहने वाले सेवादार इन गाडिय़ों व बाइकों को पुलिस व अर्धसैनिक बलों की नजरों से बचते हुए अपने-अपने घरों में ले गए। छोटा सामान बैगों और अटैचियों में भरकर छोटी गाडिय़ों में महिलाओं के साथ भेजा गया है। सूत्रों की मानें तो डेरे से बाहर निकाला गया ज्यादातर सामान और गाडिय़ां डेरा के साथ लगती कालोनियों में भेजा गया है। क्योंकि कॉलोनियों में डेरे के काफी सेवादार रहते हैं।

    यह भी पढ़ेंः साेशल मीडिया असर, डेरा मुखी राम रहीम के 'डुप्लीकेट' की तह में जाएगी पुलिस