Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    'तुरंत अमेरिका लौट आओ', मेटा-माइक्रोसॉफ्ट के बाद अब Google ने भेजा ई-मेल; ट्रंप के फैसले से फैला खौफ

    Updated: Sun, 21 Sep 2025 01:00 PM (IST)

    डोनाल्ड ट्रंप के H-1B वीजा के लिए 1 लाख अमेरिकी डॉलर फीस लगाने के फैसले से अमेरिकी टेक कंपनियां चिंतित हैं। गूगल ने अपने कर्मचारियों को तुरंत अमेरिका लौटने के लिए कहा है और इंटरनेशनल यात्रा से बचने की सलाह दी है। कंपनी ने कहा है कि नई पॉलिसी के तहत अमेरिका से बाहर जाने पर परेशानी हो सकती है।

    Hero Image
    कंपनी ने अपने कर्मचारियों को इंटरनेशनल यात्रा से भी बचने की सलाह दी है (फोटो: जागरण)

    डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। डोनाल्ड ट्रंप ने H-1B वीजा के लिए 1 लाख अमेरिकी डॉलर फीस लगाने का फैसला किया है। इस फैसले के बाद से अमेरिका की टेक कंपनियां सकते में हैं। गूगल से लेकर मेटा और माइक्रोसॉफ्ट से लेकर अमेजन तक में कई कर्मचारी H-1B वीजा होल्डर हैं। कल मेटा, अमेजन और माइक्रोसॉफ्ट ने इस संबंध में अपने विदेशी कर्मचारियों को ईमेल भी लिखा था।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    वहीं अब गूगल ने भी ईमेल लिखकर कर्मचारियों को तुरंत अमेरिका लौट आने के लिए कहा है। गूगल ने एक मेमो जारी कर कहा है कि अगर आप अमेरिका के बाहर हैं, तो 21 सितंबर रविवार की सुबह 12:01 AM तक वापस लौट आएं। कंपनी ने अपने कर्मचारियों को इंटरनेशनल यात्रा से भी बचने की सलाह दी है।

    कंपनी ने तुरंत लौटने को कहा

    गूगल ने अपने मेमो में लिखा, 'नई पॉलिसी के तहत आपको अमेरिका से बाहर जाने पर परेशानी हो सकती है या री-एंट्री नहीं मिलेगी। हम समझते हैं कि इससे कुछ दिक्कतें हो सकती हैं, लेकिन हम आपका सपोर्ट करने के लिए तत्पर हैं। हम स्थिति पर नजर रख रहे हैं और जैसे ही कोई नई जानकारी मिलेगी, आपको अपडेट करेंगे।'

    कंपनी ने ये भी कहा है कि जो कर्मचारी तुरंत वापस नहीं लौट सकते, वह कंपनी की इमिग्रेशन सपोर्ट टीम से संपर्क करें। हालांकि H-1B वीजा के फैसले पर विवाद खड़ा होने के बाद व्हाइट हाउस की तरफ से सफाई दी गई है कि यह नियम केवल नए वीजा एप्लीकेशन पर लागू होगा और जिन लोगों के पास पहले से H-1B वीजा मौजूद है, उन्हें री-एंट्री में किसी दिक्कत का सामना नहीं करना पड़ेगा।

    बावजूद इसके अमेरिकी कंपनियां किसी तरह का रिस्क नहीं लेना चाहतीं। H-1B वीजा पाने वालों की लिस्ट में भारत सबसे आगे हैं। अमेरिका की कंपनियों में कई भारतीय पेशेवर काम करते हैं। ऐसे में वीजा नियमों में किसी भी तरह के बदलाव का सीधा असर भारत पर पड़ेगा। वहीं ट्रंप प्रशासन ने अपने फैसले का बचाव करते हुए कहा है कि H-1B वीजा से अमेरिकी लोगों की नौकरी चली जाती है।

    यह भी पढ़ें- '24 घंटे में US वापस लौटो', H-1B वीजा होल्डर्स को अमेजन, मेटा और माइक्रोसॉफ्ट ने भेजा ईमेल