Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    डीएलएड के फॉर्मों में आवेदकों ने की हैं ग‍लतियां, निरस्‍त हो सकते हैं हजारों फॉर्म nainital news

    By Skand ShuklaEdited By:
    Updated: Sat, 22 Feb 2020 08:04 PM (IST)

    प्राथमिक शिक्षक बनने की तैयारी कर रहे अभ्यर्थियों ने डिप्लोमा इन एलीमेंटरी एजुकेशन (डीएलएड) के ओएमआर आवेदन ठीक से नहीं भरे हैं।

    डीएलएड के फॉर्मों में आवेदकों ने की हैं ग‍लतियां, निरस्‍त हो सकते हैं हजारों फॉर्म nainital news

    रामनगर, जेएनएन : प्राथमिक शिक्षक बनने की तैयारी कर रहे अभ्यर्थियों ने डिप्लोमा इन एलीमेंटरी एजुकेशन (डीएलएड) के ओएमआर आवेदन ठीक से नहीं भरे हैं। ऐसे में 2770 आवेदन पत्रों पर निरस्तीकरण की तलवार लटक गई है। जांच के दौरान आवेदनों मेें कई तरह की त्रुटियां सामने आई हैं। अधिकांश ने विषय का वर्ग ही नहीं भरा।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    रामनगर स्थित उत्तराखंड विद्यालयी शिक्षा परिषद प्रदेश में 30 मार्च को डीएलएड की प्रवेश परीक्षा कराने जा रहा है। परिषद ने दो माह पूर्व डाक से आवेदन मांगे। इस दौरान 42174 आवेदन पत्र मिले। जांच में 2770 आवेदन पत्रों मेें गलतियां मिलीं।  हालांकि परिषद ने ऐसे अभ्यर्थियों को एक मौका देने का निर्णय लिया है। निरस्त आवेदनों की सूची परिषद ने डब्ल्यूडब्ल्यूडब्ल्यू.यूबीएसई.जीओवी.इन पर अपलोड कर दी है। परिषद की सचिव नीता तिवारी ने बताया कि किसी को अपने आवेदन पत्र के निरस्तीकरण पर आपत्ति है तो वह दो मार्च तक अपना लिखित प्रत्यावेदन साक्ष्यों समेत निर्धारित प्रारूप पर परिषद कार्यालय को भेज सकता है। इस संबंध में दिशानिर्देेश वेबसाइट में दिए गए हैं।

    आवेदनों में यह हैं गलतियां

    कम शुल्क जमा करने के 81, दिव्यांगता का प्रकार अंकित करने के 34, जाति अंकित न करने के 74, आवेदन के लिए विषय वर्ग न भरने के 1943, अधिक आयु होने के 634, कम आयु होने के 56, जन्मतिथि अंकित न करने के 60 आवेदन निरस्त करने योग्य पाए गए हैं। उपसचिव उत्तराखंड विद्यालयी शिक्षा परिषद रामनगर सीपी रतूड़ी ने बताया कि जिन अभ्यर्थियों के आवेदन पत्रों में त्रृटि मिली है, उनके आवेदन निरस्त करने से पहले गलती सुधारने का एक मौका दिया गया है। दो मार्च के बाद यह आवेदन निरस्त कर दिए जाएंगे।

    यह भी पढ़ें : साइकिलिंग में दूसरे दिन कर्नाटक, केरल, महाराष्ट्र, उत्तराखंड की झोली में स्वर्ण

    यह भी पढ़ें : हैरान करने वाली थी बर्फबारी, वैज्ञानिकों ने कहा पश्चिमी सर्द हवाएं बनी वजह