इम्यूनिटी बढ़ाने में नियमित जीवनशैली की है विशेष भूमिका, सही रखें अपना खानपान
रिचा कुकरेती (डायटीशियन दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल) का कहना है कि इम्यूनिटी यानी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में नियमित जीवनशैली की विशेष भूमिका होती है।
देहरादून, जेएनएन। रिचा कुकरेती (डायटीशियन, दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल) का कहना है कि अगर आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होगी तो संक्रमण का खतरा ज्यादा है। इम्यूनिटी यानी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में नियमित जीवनशैली की विशेष भूमिका होती है।
रोजाना कम से कम सात से आठ घंटे की नींद जरूरी है। कम नींद से शरीर में कॉर्टिसोल नामक हॉर्मोन के लेवल में बढ़ोतरी होती है। यह हॉर्मोन न केवल तनाव बढ़ाता है, बल्कि हमारे इम्युनिटी सिस्टम को भी कमजोर करता है। हल्की कसरत नियमित रूप से करते रहें। आप सुबह की सैर पर जा सकते हैं पर एक निश्चित दूरी के साथ। यह भी कोशिश करें कि आपके शरीर को सुबह की 20 से 30 मिनट तक धूप भी मिल सके। रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने में मेटाबॉलिज्म का महत्व होता है।
हमारा मेटाबॉलिज्म जितना अच्छा होगा, हमारी रोग-प्रतिरोधक क्षमता भी उतनी ही बेहतर होगी। मेटाबॉलिज्म बढ़ाने के लिए न केवल सुबह का नाश्ता जरूरी है, बल्कि नियमित अंतराल पर कुछ हेल्दी खाना भी आवश्यक है। रोज की डाइट में कुछ खट्टे फल भी जरूर शामिल कीजिए। ये नींबू से लेकर संतरे, मौसमी तक कुछ भी हो सकते हैं। अगर ये न खा सकें तो रोजाना कम से कम एक आंवला खाना भी पर्याप्त होगा।
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खट्टे फल विटामिन सी के अच्छे स्नोत होते हैं जो फ्री रेडिकल्स के असर को कम कर रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाते हैं। लहसुन, अदरक आदि में भी हमारी इम्युनिटी को बढ़ाने की क्षमता होती है और ये शरीर को संक्रमणों से लड़ने के लिए तैयार करते हैं। एक बात और ध्यान देने वाली है। जितना ज्यादा पानी पीएंगे, शरीर के टॉक्सिन्स उतने ही बाहर निकलेंगे और आप संक्रमण से मुक्त रहेंगे।
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