सीबीएसई का अल्टीमेटम, सात जनवरी तक कम उपस्थिति का कारण बताएं स्कूल
सीबीएसई ने 10वीं और 12वीं की परीक्षाओं में बैठने के लिए 75 फीसद उपस्थिति अनिवार्य कर दिया है।
देहरादून, जेएनएन। केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने 10वीं और 12वीं की परीक्षाओं में बैठने के लिए 75 फीसद उपस्थिति अनिवार्य कर दिया है। सीबीएसई ने इस संबंध में अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर नोटिस जारी करते हुए स्कूलों से कम उपस्थिति वाले छात्र-छात्राओं की सूची सात जनवरी तक उपलब्ध करवाने के निर्देश दिए हैं।
सीबीएसई की बोर्ड परीक्षाएं आगामी 15 फरवरी से शुरू होंगी। बोर्ड ने अपनी वेबसाइट पर बोर्ड परीक्षाओं के लिए जरूरी दिशा-निर्देश जारी कर दिए हैं। जिसमें सभी क्षेत्रीय कार्यालयों को 10वीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षाओं में शामिल होने जा रहे छात्र-छात्राओं की संख्या और उनकी उपस्थिति का डाटा जमा करने के आदेश दिए हैं। प्रत्येक स्कूल कम उपस्थिति वाले छात्रों की सूची क्षेत्रीय कार्यालयों को भेजेंगे। इन पर आखिरी फैसला सात जनवरी को या उससे पहले लिया जाएगा। यदि किसी छात्र-छात्रा के पास कम उपस्थिति के पीछे कोई वास्तविक कारण है, तो वे स्कूल को इस संबंध में सात जनवरी से पहले जानकारी देंगे, जिससे स्कूल देय तिथि से पहले बोर्ड को इस बारे में सूचित कर सकें।
छात्रों की कम अनुपस्थिति पर जरूरी दस्तावेज भी पेश करने होंगे। बोर्ड के मुताबिक यदि देय तिथि के बाद छात्र या स्कूल की ओर से कोई कम उपस्थिति का कोई मामला आता है तो इस पर विचार नहीं किया जाएगा। 15 फरवरी से शुरू होने वाली सीबीएसई की बोर्ड परीक्षा के प्रवेश पत्र केवल उन छात्रों के लिए जारी किए जाएंगे जो अनिवार्य उपस्थिति सहित सभी मापदंडों पर खरे उतरेंगे।
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सीबीएसई के क्षेत्रीय अधिकारी रणबीर सिंह ने बताया कि कम उपस्थिति वाले छात्रों को मौका दिया गया है। वे देय तिथि से पहले स्कूल को उपस्थिति कम होने का कारण बताएंगे, इसके बाद स्कूल सात जनवरी तक बोर्ड को कम उपस्थिति वाले छात्रों की सूची भेजेगा।
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