उत्तराखंड: नाराज हरक सिंह रावत फिर पहुंचे दिल्ली, भाजपा असहज; कांग्रेस में वापसी की चर्चा ने पकड़ा जोर
दो टिकटों की मांग पर अड़े कैबिनेट मंत्री डा हरक सिंह रावत रविवार शाम फिर दिल्ली पहुंच गए जहां वह केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह समेत भाजपा के वरिष्ठ नेताओं से मुलाकात करेंगे। उनके साथ विधायक उमेश शर्मा काऊ भी हैं।
राज्य ब्यूरो, देहरादून: दो टिकटों की मांग पर अड़े कैबिनेट मंत्री डा हरक सिंह रावत रविवार शाम फिर दिल्ली पहुंच गए, जहां वह केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह समेत भाजपा के वरिष्ठ नेताओं से मुलाकात करेंगे। उनके साथ विधायक उमेश शर्मा काऊ भी हैं। हरक अपनी पुत्रवधू के लिए भी टिकट मांग रहे हैं, लेकिन इस बारे में उन्हें ठोस आश्वासन नहीं मिला है। इससे वे नाराज हैं। जैसे संकेत मिल रहे है, अगर बात नहीं बनी तो एक-दो दिन में वह कोई बड़ा निर्णय ले सकते हैं। इससे उनकी कांग्रेस में वापसी की चर्चा ने जोर पकड़ा है। उधर, भाजपा ठीक टिकट बटवारे से पहले हरक के रुख से पैदा स्थिति के कारण असहज दिखाई दे रही है।
कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत पिछले पांच साल के दौरान निरंतर चर्चा में रहे हैं। समय-समय पर विभिन्न विषयों को लेकर वह मुखर रहे, जिससे पार्टी को विकट स्थिति का सामना भी करना पड़ा। अब जबकि विधानसभा चुनाव की रणभेरी बज चुकी है तो हरक फिर से नाराज हो गए हैं। हाल में उन्होंने केंद्रीय मंत्री एवं प्रदेश चुनाव प्रभारी प्रल्हाद जोशी से बंद कमरे में बातचीत की थी। हरक की मांग है कि उनकी सीट बदलने के साथ ही पुत्रवधू अनुकृति गुसाईं को लैंसडौन से टिकट दिया जाए, लेकिन एक परिवार को एक ही टिकट देने का मानक इसमें आड़े आ रहा है।
हरक सिंह शनिवार को एक बार फिर चर्चा में तब आए, जब वह प्रदेश भाजपा कार्यालय में कोर गु्रप की बैठक में शामिल नहीं हुए। इसे उनकी दो टिकट की मांग का समाधान न होने से पैदा नाराजगी से जोड़कर देखा गया। अब रविवार शाम को हरक अपनी पुत्रवधू अनुकृति गुसाईं और विधायक उमेश शर्मा काऊ के साथ दिल्ली पहुंच गए। कैबिनेट मंत्री हरक सिंह ने इसकी पुष्टि की। उन्होंने बताया कि वह दिल्ली में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह समेत पार्टी के अन्य वरिष्ठ नेताओं से मुलाकात कर अपनी बात रखेंगे।
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दरअसल, रविवार शाम को विधानसभा चुनाव के लिए प्रत्याशी चयन के संबंध में भाजपा नेता मंथन में जुटे। माना जा रहा कि रविवार रात या फिर सोमवार को हरक पार्टी नेताओं से मिलेंगे। उधर, हरक के दिल्ली दौरे से राजनीतिक गलियारों में चर्चा तेज हो गई है। कहा जा रहा कि यदि भाजपा में बात नहीं बनी तो वह दिल्ली में कांग्रेस के बड़े नेताओं से मुलाकात कर सकते हैं। दोनों ही दलों के बड़े नेताओं के साथ उनके ठीकठाक संपर्क हैं। ऐसे में उनकी कांग्रेस में लौटने को लेकर चर्चा होने लगी है।
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