उत्तराखंड में भारी बर्फबारी से जन जीवन अस्त-व्यस्त, चमोली में 30 गांव बर्फ से ढंके; बदरीनाथ हाइवे बंद
Snowfall in Uttarakhand उत्तराखंड में भारी बर्फबारी से जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। चमोली में 30 से अधिक गांव बर्फ से ढंक गए हैं और बदरीनाथ हाइवे बंद हो गया है। केदारनाथ में तीन फीट से अधिक बर्फ जमी है और पुनर्निर्माण कार्य ठप हो गया है। गंगोत्री-यमुनोत्री सहित सीमांत क्षेत्र में भी बर्फबारी हुई है और कई मार्ग बंद हो गए हैं।

संवाद सहयोगी,जागरण, गोपेश्वर। Snowfall in Uttarakhand: उत्तराखंड में शुक्रवार को मौसम बदला और यहां की ऊंची चोटियां बर्फ की सफेद चादर से एक बार फिर ढंक गईं। चारधाम सहित हेमकुंड साहिब और औली भी हिमपात हुआ। वहीं उत्तरकाशी में बर्फबारी के कारण कई मार्ग बंद हो गए हैं। जिन्हें खोलने का प्रयास किया जा रहा है।
जन जीवन अस्त-व्यस्त
चमोली जिले में सुबह से ही मौसम के बदले मिजाज से जन जीवन अस्त व्यस्त हो गया है। बदरीनाथ धाम, हेमकुंड साहिब, हनुमान चट्टी, विश्व प्रसिद्ध पर्यटन स्थल औली, गौरसों सहित नीति घाटी में बर्फबारी हुई है। बर्फबारी से बदरीनाथ हाइवे हनुमान चट्टी से आगे एक बार फिर बंद हो गया है।
शुक्रवार सुबह से ही चमोली जिले में मौसम का मिजाज बदला था। बदरीनाथ धाम, हेमकुंड सहित ऊंची चोटियों में बर्फबारी व दोपहर बाद पर्यटन स्थल औली, गौरसों सहित जिले के रामणी, ईराणी डुमक, कलगोट गांव सहित निचले स्थानों में वर्षा जो रात्रि तक जारी रही।
बर्फबारी से 30 से अधिक गांव हिमाच्छादित
बर्फबारी व वर्षा के चलते कड़ाके की ठंड है। लोग घरों में ही दुबके हैं। बताया गया कि बर्फबारी से 30 से अधिक गांव हिमाच्छादित हो गए हैं। बर्फबारी से नीति, बदरीनाथ के साथ चोपता हाइवे भी धौतीधार से आगे बाधित हो गया है।
केदारनाथ में तीन फीट से अधिक बर्फ जमी, पुर्ननिर्माण कार्य ठप
रुद्रप्रयाग: मौसम बदलने से शुक्रवार को पूरे दिन बारिश व बर्फबारी का सिलसिला बना रहा। केदारनाथ धाम में तीन फीट से अधिक बर्फ जम चुकी है, वहीं निचले इलाकों में भी बारिश होने से मौसम काफी ठंड हो गया है। शुक्रवार को सुबह से ही घने बादल छाए हुए थे।
सुबह दस बजे से ही केदारनाथ धाम में बर्फबारी शुरू हो गई, जो पूरे दिन चलती रही। केदारनाथ धाम के साथ ही तुंगनाथ, मद्महेश्वर, चोपता, देवरियाताल, गौंडार समेत ऊंचाई वाले स्थानों पर बर्फबारी हुई, जो पूरे दिन चलती रही। वहीं घाटी वाले क्षेत्रों में बारिश का सिलसिला बना रहा। जिससे पूरा जन जीवन प्रभावित हुआ। अधिकांश लोग अपने घरों में ही दुबके रहे, जबकि बाजारों में कम लोग ही दिखाई दिए।
केदारनाथ धाम में बर्फबारी होने से पुर्ननिर्माण कार्य पूरी तरह ठप रहे। धाम में तापमान माईनस 19 डिग्री तक पहुंच गया। जिससे पूरे दिन यहां रह रहे सौ से अधिक मजदूर अपने घरों में ही दुबके रहे। वहीं ठंड का प्रकोप बढ़ने से ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों ने अलाव का सहारा लिया। जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के लोनिवि शाखा के अधिशासी अभियंता विनय झिंकवाण ने बताया कि केदारनाथ धाम में लगातार बर्फबारी होने से पुर्ननिर्माण कार्य प्रभावित हो रहे हैं।
भारी बर्फबारी से बदरीनाथ में महायोजना के कार्य बंद
गोपेश्वरः बदरीनाथ धाम में कड़ाके की ठंड और भारी बर्फबारी के चलते पुनर्निर्माण कार्य बंद हो गए हैं। अब जनवरी और फरवरी में कार्य बंद रहेंगे। मार्च में ठंड कम होने और बर्फ के पिघलने पर कार्य फिर शुरू होने की उम्मीद है। इसके साथ ही 100 और श्रमिक धाम से लौट आए हैं। अभी धाम में 150 लोग मौजूद हैं, जिनमें कुछ श्रमिक और निर्माणदायी कंपनियों के अधिकारी-कर्मचारी हैं। ये लोग भी एक या दो दिन में लौट आएंगे। केदारनाथ में भी पुनर्निर्माण कार्य बंद हो चुके हैं।
गंगोत्री-यमुनोत्री सहित सीमांत क्षेत्र में बर्फबारी, कई मार्ग बंद
उत्तरकाशी : जनपद उत्तरकाशी के सीमांत क्षेत्र में शुक्रवार को मौसम बदल गया। शाम तीन बजे से गंगोत्री, यमुनोत्री धाम सहित हर्षिल घाटी, हरकीदून घाटी में बर्फबारी शुरू हो गई। सुक्की टाप से लेकर गंगोत्री धाम तक करीब 35 किलोमीटर गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग अवरुद्ध हो गया है।
बर्फबारी के कारण नेलांग व जादूंग को जोड़ने वाली बार्डर रोड भी अवरुद्ध हो गई। जनपद के चार संपर्क मार्ग भी बर्फबारी के कारण अवरुद्ध हैं। ऐसे में लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। उधर, जिला मुख्यालय और सभी तहसील क्षेत्रों में शुक्रवार शाम से बूंदाबांदी शुरू हो गई थी। वहीं, नए साल को लेकर हर्षिल व सुपीन घाटी में बड़ी संख्या में पर्यटक भी पहुंच रहे हैं।
शुक्रवार को सुपीन घाटी में करीब दो हजार व हर्षिल घाटी में 800 पर्यटक पहुंचे हैं। गुरुवार को गंगोत्री व यमुनोत्री धाम में धूप खिली रही, वहीं शुक्रवार सुबह बादल उमड़ गए। शाम को गंगोत्री, यमुनोत्री, हर्षिल, धराली, मुखवा, झाला, सुक्की में बर्फबारी शुरू हुई। यह बर्फबारी शुक्रवार की देर शाम तक जारी रही।
इसके अलावा दायरा बुग्याल, हरकीदून घाटी, डोडीताल क्षेत्र में भी बर्फबारी हुई है। उद्यान विशेषज्ञों के अनुसार यह वर्षा व बर्फबारी पहाड़ी क्षेत्रों में सेब की बागवानी सहित मटर-मसूर, गेहूं की फसल के लिए अच्छी है।
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