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    Madurai Train Accident: पत्नी और बहनोई के शव लेकर घर पहुंचे पिता बोले- बिटिया… तुम्हरी मम्मी का बचाय नाय पाएन

    पत्नी मिथिलेश और बहनोई शत्रुदमन सिंह का शव लेकर पहुंचे शिव प्रताप सिंह को देखते ही उनकी बेटी मनीषा सिंह रोते हुए बोली -हाय पापा… मम्मी कहां हैं? बेटी के सवाल का भर्राए गले से सिर्फ वह इतना ही जवाब दे सके “बिटिया… तुम्हरी मम्मी का बचाय नाय पाएन”। इसके बाद यह कहकर उन्होंने रोते हुए बेटी को गले से लगा लिया।

    By nirmal pandeyEdited By: Shivam YadavUpdated: Mon, 28 Aug 2023 06:44 PM (IST)
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    चार किलोमीटर के दायरे में पहुंचे पांच शव, रो पड़ा सीतापुर

    सीतापुर [जगदीप शुक्ल]। कोच में आग लगने से हादसा भले ही मदुरै में हुआ हो, लेकिन हृदय को झकझोर देने वाली तस्वीर सीतापुर के हर गली मोहल्ले में नजर आती है। हवाई जहाज से पहले लखनऊ और फिर रविवार शाम एंबुलेंस से पांचों शव सीतापुर लाए गए। करीब चार किलोमीटर के दायरे में आदर्श नगर में दो, प्रेमनगर, आलमनगर-नई बस्ती और कांशीराम कॉलोनी में एक-एक शव पहुंचा। 

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    शव पहुंचते ही परिजन दहाड़ मारकर रोने लगे। इस वक्त वहां बड़ी संख्या में मौजूद लोगों की भी आंखें नम हो गईं। यह दृश्य देखकर ऐसा लग रहा था मानो पूरा सीतापुर ही रो पड़ा हो। जनप्रतिनिधियों और अधिकारियों ने पीड़ितों के घर पहुंचकर परिवारीजन को सांत्वना दी और शासन की ओर से आर्थिक सहायता की चेक भेंट की।

    शिव प्रकाश से बोली बेटी- पापा… मम्मी कहां हैं

    पत्नी मिथिलेश और बहनोई शत्रुदमन सिंह का शव लेकर पहुंचे शिव प्रताप सिंह को देखते ही उनकी बेटी मनीषा सिंह रोते हुए बोली -हाय पापा… मम्मी कहां हैं? बेटी के सवाल का भर्राए गले से सिर्फ वह इतना ही जवाब दे सके, “बिटिया… तुम्हरी मम्मी का बचाय नाय पाएन”। इसके बाद यह कहकर उन्होंने रोते हुए बेटी को गले से लगा लिया। 

    मजबूत इरादे वाले शिव प्रताप सिंह का साहस बेटी सहित अपने परिजनों के सामने आखिरकार जवाब ही दे गया। नाते रिश्तेदारों के करुण क्रंदन ने मोहल्ले में पसरे सन्नाटे को तोड़ दिया। घर परिवार के सदस्यों के साथ-साथ पास पड़ोसी हर किसी आंखे नम थीं। 

    सैकड़ों लोगों से भरा पूरा मोहल्ला

    हादसे में शिव प्रताप ने चार लोगों को बचाया था। शत्रुदमन सिंह व शिव प्रताप सिंह का घर कुछ दूरी पर ही है। पहले शत्रुदमन सिंह का शव पहुंचा उसके बाद मिथिलेश का शव शिव प्रताप सिंह के दरवाजे पर पहुंचा। दोनों के शव पहुंचने के पूर्व ही दोनों के घरों के सामने सैकड़ों लोग मौजूद थे। लखीमपुर मुख्य मार्ग से लगाकर आदर्श नगर मोहल्ले की गली पूरी भरी थी।

    नगर के आदर्श नगर सेक्टर एक की मिथिलेश सिंह व शत्रुदमन सिंह, प्रेमनगर के हरीश भासीन, आलमनगर नई बस्ती के अंकुल कश्यप और कांशीराम कालोनी के दीपक कश्यप की मदुरै हादसे में मौत हुई है। शासन-प्रशासन की ओर से रविवार शाम को शव परिवारीजनों के सुपुर्द किए गए। 

    नगर विकास राज्य मंत्री राकेश राठौर गुरू, कारागार राज्यमंत्री सुरेश राही, सांसद राजेश वर्मा, एमएलसी पवन सिंह, विधायक रामकृष्ण भार्गव, जिलाध्यक्ष अचिन मेहरोत्रा, जिलाधिकारी अनुज कुमार, पुलिस अधीक्षक चक्रेश मिश्र और पूर्व विधायक महेंद्र यादव ने पीड़ितों के घर पहुंचकर दुखी परिजनों को ढांढस बंधाया।

    आधा घंटे पहले ही पहुंच गए थे अधिकारी

    प्रशासन ने स्थितियों को नियंत्रित रखने के लिए व्यापक रणनीति बनाई थी। अलग-अलग स्थानों पर अधिकारियों की ड्यूटी लगा दी गई थी। अधिकारी शव पहुंचने से पहले ही पीड़ितों के घर पहुंच गए थे। आदर्श नगर में जिलाधिकारी अनुज सिंह और पुलिस अधीक्षक चक्रेश मिश्र मौजूद थे। वहीं, आलमनगर नई बस्ती में अतिरिक्त मजिस्ट्रेट आकांक्षा गौतम और सीओ महोली अमन सिंह स्थितियों पर नजर रखे थे। प्रेमनगर में एसडीएम लहरपुर अनिल कुमार मौजूद थे।

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    हर किसी जुबान रेलवे की लापरवाही की चर्चा

    पार्थिव शरीर को देखने पहुंचे लोगों की जुबान पर रेलवे की लापरवाही की चर्चा रही है। हर कोई यही कह रहा था कि अगर रेलवे प्रशासन कोच से गैस सिलेंडर हटवा देता तो लोगों की जान नहीं जाती। ट्रैवल एजेंसी के जिम्मेदारों को भी लोग दोषी ठहराते दिखे।

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