Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    संगम में पांच डुबकी लगाकर उमा भारती ने शुरू किया गंगा स्वच्छता और श्रद्धा संकल्प अभियान, हर डुबकी में छिपा था संदेश

    By Jagran News Edited By: Brijesh Srivastava
    Updated: Tue, 04 Nov 2025 03:38 PM (IST)

    पूर्व केंद्रीय मंत्री उमा भारती ने प्रयागराज में संगम तट पर गंगा स्वच्छता और श्रद्धा संकल्प अभियान शुरू किया। उन्होंने गंगा की स्वच्छता के लिए आम जन को जोड़ने का आह्वान किया। उमा भारती ने संगम में पांच डुबकी लगाई, जिनमें प्रत्येक डुबकी एक विशेष संदेश के साथ थी। उन्होंने महाकुंभ के सफल आयोजन के लिए सरकार का आभार जताया और गंगा की निर्मलता बनाए रखने का संकल्प लिया।

    Hero Image

    प्रयागराज में पूर्व केंद्रीय मंत्री उमा भारती ने गंगा स्वच्छता अभियान का आरंभ करने के बाद लोगों से आह्वान किया। जागरण 

    जागरण संवाददाता, प्रयागराज। पूर्व केंद्रीय मंत्री व मध्य प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती इन दिनों प्रयागराज प्रवास पर हैं। मंगलवार अर्थात कार्तिक चतुर्दशी पर उन्होंने संगम तट से गंगा स्वच्छता और श्रद्धा संकल्प अभियान शुरू किया। इसके जरिए गंगा की स्वच्छता अभियान से आम जन को जोड़ने का आह्वान भी किया।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    प्रत्येक डुबकी में एक संदेश शामिल था 

    महाकुंभ के भव्य आयोजन के लिए उन्होंने केंद्र और प्रदेश सरकार का आभार व्यक्त किया। तट पर एकत्र लोगों व देशभर से जुड़े गंगा सेवकों को साथ लेकर उन्होंने संगम में पांच डुबकी लगाई। प्रत्येक डुबकी में एक संदेश शामिल रहा।

    तीसरी और चौथी डुबकी किसलिए लगाई?

    पहली डुबकी कुंभ के आयोजन के लिए प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री योगी को धन्यवाद देने के लिए रही। दूसरी डुबकी महाकुंभ में साधु संतों के आगमन पर उनके वंदन के लिए रही। तीसरी डुबकी कुंभ में प्रयागराज वासियों द्वारा धैर्य और सद्भावना दिखाने पर, चौथी डुबकी विश्व भर से आए श्रद्धालुओं के प्रति आभार के लिए रही।

    गंगा की अविरलता के प्रति सजगता का दिलाया संकल्प 

    पांचवीं डुबकी मां गंगा की निर्मलता और अविरलता बनाए रखने के संकल्प के लिए रही। सभी को गंगा की निर्मलता और अविरलता को लेकर सजग रहने हर स्तर पर प्रयास करने का संकल्प भी दिलाया। कहा, सभी लोग अपने अपने घर जब लौटें तो वहां आसपास के लोगों को नदी की निर्मलता के लिए प्रेरित करें। वे अपने कार्य व्यवहार में आवश्यक बदलाव भी लाएं। यदि कहीं व्यवस्था के तहत दोष है तो उसके लिए आवाज उठाएं।

    यह भी पढ़ें- संगम नगरी में सनातनी किन्नर अखाड़ा गठित, कौशल्यानंद बनीं आचार्य महामंडलेश्वर, संगम स्नान के बाद विधिवत पट्टाभिषेक

    यह भी पढ़ें- PDA काश्तकारों से सीधे खरीदेगा जमीन, सर्किल रेट से दोगुना कीमत देगा, गरीबों के घर को लैंड बैंक की व्यवस्था करेगा