महाकुंभ की दिव्यता को ईरान की रेहेन्यू ने सराहा, बोलीं- दुनिया में कई जगह गए... प्रयागराज जैसा अच्छा कहीं नहीं लगा
Maha Kumbh 2025 | महाकुंभ के दिव्य आयोजन में विदेशी पर्यटकों की भीड़ उमड़ी। ईरान से आई रेहेन्यू ने महाकुंभनगर की भव्यता की सराहना की। दुनियाभर के श्रद्धालुओं ने संगम में अमृत स्नान किया। अमेरिकी इजरायली फ्रांसीसी आस्ट्रेलियाई अफ्रीकी समेत कई देशों के नागरिकों ने भारत की सनातन संस्कृति का अनुभव किया। अमृत स्नान के दिन साढ़े तीन करोड़ श्रद्धालुओं ने डुबकी लगाई।

जागरण संवाददाता, महाकुंभनगर। Maha Kumbh 2025 | महाकुंभ मेले की भीड़ में शामिल ईरान की रेहेन्यू भी उन विदेशी पर्यटकों में से एक थी, जो संगम तट पर बसे-सजे महाकुंभनगर की दिव्यता-भव्यता को वशीभूत सी होकर अपलक निहारती दिखीं।
रेहेन्यू ने कहा कि उनका नौ लोगों का एक समूह है। उनके पति और वह दुबई और लिस्बन के बीच रहते हैं। उनका यहां पहली बार आना हुआ है। महाकुंभ बहुत ही व्यवस्थित है। यह प्रभावशाली है। वह एक बहुत अच्छी टेंट कॉलोनी में रह रहे हैं।
कहा कि दुनिया में कई जगह गए, मगर प्रयागराज (Maha Kumbh 2025) जैसा अच्छा कहीं नहीं लगा। अकेले रेहेन्यू ही नहीं, विदेश से आए कई पर्यटक इस बात के साक्षी बने कि महाकुंभ कैसे एकता संग वसुधैव कुटुंबकम का संदेश विश्व को देता है।
मकर संक्रांति पर विदेशियों ने भी किया स्नान
मकर संक्रांति पर महाकुंभ (Maha Kumbh 2025) में भारत के हर राज्य और हर जाति के लोगों ने एक साथ संगम में अमृत स्नान किया। दुनियाभर के कई देशों के श्रद्धालु भी पहुंचे और जय श्रीराम, हर-हर गंगे, बम-बम भोले के उद्घोष के साथ भारतीय जनमानस में घुल-मिल गए।
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महाकुंभनगर में एकता का महासमागम नजर आया। संगम का तट भारतीय और विदेशी श्रद्धालुओं से पूरी तरह भर गया। अमेरिकी, इजरायली, फ्रांसीसी, आस्ट्रेलियाई, अफ्रीकी समेत कई अन्य देशों के नागरिक गंगा स्नान करते हुए भारत की सनातन संस्कृति से अभिभूत हुए। महाकुंभ मेले के शुरुआती दो दिनों में कई देशों के नागरिकों ने भाग लिया और भारत की संस्कृति को अनुभव किया।
प्रयागराज के महाकुंभ आकर बहुत अच्छा लगा- विदेशी श्रद्धालु जैफ
अमृत स्नान का हिस्सा बने विदेशी नागरिक जैफ बताते हैं कि वह अमेरिका से हैं, लेकिन अब लिस्बन, पुर्तगाल में रहते हैं। वह दक्षिण भारत की यात्रा कर रहे थे। वाराणसी के रास्ते यहां पहुंचे। उन्हें यहां की आध्यात्मिक ऊर्जा बहुत शांति प्रदान कर रही है। हर कोई बेहद मित्रवत सा लगता है। यहां आकर बहुत अच्छा लग रहा है। यह एक बड़े मंदिर जैसा लगता है।
बता दें कि 14 जनवरी को अमृत स्नान के दिन त्रिवेणी संगम में साढ़े तीन करोड़ से ज्यादा श्रद्धालुओं ने आस्था की डुबकी लगाई।
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