Hathras Accident: हादसे में बाइक सवार तीन बहन-भाइयों सहित चार की मौत, जन्मदिन से एक दिन पहले दुनिया छोड़ गया शहजाद
Hathras Accident News Update सादाबाद में सड़क हादसे में तीन छात्राओं और एक युवक की मौत हो गई। दो परिवारों में कोहराम मचा है। नरगिस शहनाज की मौत की खबर से उसकी मां मदीना का बुरा हाल है। रात में बेटे की मौत की खबर सुनकर तो मदीना का मानो कलेजा ही फट गया। चार मौतों से हर कोई बेहाल है।
जागरण संवाददाता, हाथरस। Hathras Accident: सादाबाद में हुए हादसे में तीन छात्राओं व एक युवक की मौत की खबर के बाद दो परिवारों में कोहराम मच गया। नरगिस, शहनाज की मौत की खबर से उनकी मां मदीना बेहाल हो गई। उन्हें परिवार के अन्य सदस्यों ने बमुश्किल संभाला।
रात में बेटे की मौत की खबर सुनकर तो मदीना का मानो कलेजा ही फट गया। दोपहर ढाई बजे हादसा हुआ। एक बाइक पर सवार चारों की मृत्यु ही गई। दूसरी बाइक पर आ रहे पीहू के भाई, बहन सिम्मी और नरगिस की बहन आसमीन को राहगीरों ने संभाला। सिम्मी ने हादसे की जानकारी फोन से स्वजन को दी। इसकी बहन की मृत्यु हुई है। इसके पिता मुंबई में रहते हैं। मां पुष्पा देवी आगरा में रहकर एक ढलाई फैक्ट्री में काम करती हैं।
शमसुद्दीन के पांच बच्चे हैं
शमसुद्दीन के पांच बच्चों में से दो बेटियों नरगिस, शहनाज और बेटा शहजाद की जान गई है। वे मूलरूप से सादाबाद क्षेत्र के गांव तसींगा के रहने वाले हैं। कई वर्ष से आगरा के डेढ़ी बगिया क्षेत्र में रहते हैं। नरगिस की ननिहाल जलेसर में है। उनके छोटे मामा नवी की ससुराल इगलास के गांव कजरौठ में है।
रिश्तेदारी होने के कारण शमसुद्दीन ने तीन बेटियों का दाखिला कस्तूरबा गांधी विद्यालय कजरौठ में कराया था। तीन-चार वर्ष से सभी बहनें वहां रहकर पढ़ाई कर रही थीं। तीनों छात्राओं के शव हाथरस की मोरचरी पर हैं। जबकि भाई शहजाद की मृत्यु आगरा में हुई है। उसका पोस्टमार्टम आगरा में होगा। रात हो जाने के कारण स्वजन ने सुबह शव आगरा ले जाने का निर्णय लिया है।
हादसे के बाद पहुंचे अधिकारी
सादाबाद के एसडीएम संजय कुमार, सीओ हिमांशु माथुर, बीएसए स्वाती भारती, इगलास के एसडीएम और अलीगढ़ के बीएसए हाथरस पहुंचे। उन्होंने घटना के बारे में जानकारी जुटाई।
जन्मदिवस से एक दिन पहले दुनिया छोड़ गया शहजाद
शहजाद का रविवार को जन्मदिवस है। इससे एक दिन पहले ही वह काल के गाल में समा गया। वह दिल्ली में रहकर एक कंपनी में काम करता था। उसने यूपी बोर्ड में 10वीं का फार्म भरा था। सोमवार से उसकी परीक्षाएं थीं।
आगरा-अलीगढ़ हाइवे पर नहीं रुक रहे हादसे
आगरा-अलीगढ़ हाइवे पर हादसों का सिलसिला थम नहीं रहा है। महीनें में 20 से अधिक हादसे यहां हो रहे हैं। तेज रफ्तार इसका प्रमुख कारण है। वहीं अवैध कट और खराब ड्राइविंग भी हादसे का कारण बन रही है। हाइवे पर सुरक्षा इंतजाम भी पर्याप्त नहीं है। कई जगहों पर संकतेक नहीं है। पिछले कुछ माह में इस रोड पर हादसों में 30 से अधिक लोगों की जान जा चुकी है।
- 17 सितंबर 2024 को आगरा-अलीगढ़ मार्ग पर रोडवेज बस और मैक्स लोडर की भिड़ंत में 17 लोगों की जान गई थी।
- 01 नवंबर 2024 इसी हाइवे पर अनीगगढ़ी के पास कार पेड़ से टकराई थी, जिसमें आगरा के एक ही परिवार के चार लोगों की मौत हुई।
- 01 जनवरी को हतीसा पुल के पास ट्रक अनियंत्रित होकर पलट गया। हादसे में तीन लोगों की जान गई।
- शनिवार को फिर चार लोगों ने हादसे में दम तोड़ दिया।
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फैक्ट्री में साथ काम करती हैं दोनों की मां
नरिगस की मां मदीना और पीहू की मां पुष्पा पड़ोसी हैं। दोनों ही आगरा में एक ढलाई की फैक्ट्री में काम करती हैं। नरगिस की बच्चियों के साथ ही उन्होंने दोनों बेटियों पीहू और सिम्मी को पढ़ने के लिए कस्तूरबा विद्यालय भेज दिया था।
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