Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck

    UP के इस जिले में पहली बार विधानसभा और पंचायत की मतदाता सूची बराबर, इन वोटरों के नाम कटने तय

    Updated: Wed, 31 Dec 2025 07:44 AM (IST)

    गोरखपुर में विशेष गहन पुनरीक्षण अभियान के तहत 6.47 लाख से अधिक अनुपस्थित, शिफ्टेड और मृतक (एएसडी) मतदाताओं के नाम 6 जनवरी को प्रकाशित होने वाली अनंतिम ...और पढ़ें

    Hero Image

    तस्वीर का इस्तेमाल प्रतीकात्मक प्रस्तुतीकरण के लिए किया गया है। जागरण

    अरुण चन्द, गोरखपुर। मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण -एसआइआर अभियान के तहत जिले में अनुपस्थित, शिफ्टेड और मृतक (एएसडी श्रेणी) के रूप में चिह्नित किए गए 6.47 लाख से अधिक मतदाताओं के नाम आगामी छह जनवरी को प्रकाशित होने जा रही अनंतिम मतदाता सूची से कट जाएंगे।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    इसके बाद जिले की विधानसभा मतदाता सूची में मतदाताओं की संख्या घटकर लगभग 30 लाख के आसपास रह जाएगी। खास बात यह है कि लगभग इतनी ही संख्या पंचायतों की मतदाता सूची में भी दर्ज है। नगर निकाय की मतदाता सूची की बात करें तो नगरीय क्षेत्र में करीब सात लाख वोटर हैं।

    बताया जा रहा है कि पहली बार ऐसी स्थिति बनी है कि जब विधानसभा और पंचायत की मतदाता सूचियों में मतदाताओं की संख्या लगभग एक समान हो गई है। इसे लेकर राजनीतिक और प्रशासनिक हलकों में बहस शुरू हो गई है। मतदाता सूची पर सवाल उठ रहे हैं। हालांकि, प्रशासनिक महकमा इस पूरे घटनाक्रम पर फिलहाल चुप्पी साधे हुए है।

    जिले में एसआइआर अभियान के तहत गणना प्रपत्र भरने, जमा करने और डिजिटाइज करने की समय सीमा 26 दिसंबर को समाप्त हो चुकी है। सत्यापन प्रक्रिया के बाद भी मतदाता सूची में अबसेंट, शिफ्टेड, डुप्लीकेट और डेड यानी एएसडी श्रेणी में 6 लाख 47 हजार 519 नाम दर्ज हैं।

    इन सभी नामों का कटना लगभग तय माना जा रहा है। वर्तमान में जिले की विधानसभा मतदाता सूची में करीब 36 लाख मतदाता दर्ज हैं। यदि एएसडी श्रेणी के नाम हटाए जाते हैं तो यह संख्या घटकर करीब 29.50 लाख रह जाएगी।

    हालांकि, एसआइआर अभियान के दौरान करीब 30 हजार नए मतदाताओं ने नाम जोड़ने के लिए आवेदन किया है। इनके शामिल होने के बाद विधानसभा की मतदाता सूची में कुल मतदाताओं की संख्या लगभग 29.80 लाख के आसपास पहुंचने का अनुमान है। यही आंकड़ा पंचायतों की मतदाता सूची के भी लगभग बराबर बैठ रहा है, जिसे लेकर कई तरह के सवाल उठाए जा रहे हैं।

    यह भी पढ़ें- SIR In UP: गोरखपुर में गणना प्रपत्र भरने से चूके लोग फार्म-6 भरकर बन सकेंगे वोटर, करना होगा यह काम

    अभियान के दौरान 3 लाख 22 हजार 468 ऐसे मतदाता हैं, जिनकी मैपिंग 2003 की मतदाता सूची से नहीं हो सकी है। इन मतदाताओं के विवरण का मिलान नहीं हो पाने के कारण अगले चरण में जिला निर्वाचन कार्यालय की ओर से बीएलओ के माध्यम से इन्हें नोटिस जारी किए जाएंगे।

    उधर, त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव को लेकर चलाए गए वृहद पुनरीक्षण अभियान के तहत 23 दिसंबर को पंचायत निर्वाचक नामावली का ड्राफ्ट (अनंतिम) प्रकाशन किया जा चुका है। इस अभियान से पहले जिले की पंचायत मतदाता सूची में कुल 29 लाख 23 हजार 715 मतदाता दर्ज थे, जो अब बढ़कर 29 लाख 88 हजार 530 हो गए हैं।

    करीब दो महीने तक चले इस अभियान में पंचायत मतदाता सूची में 4 लाख 58 हजार 235 नए मतदाता जुड़े, जबकि 3 लाख 93 हजार 420 पुराने नाम सूची से हटाए गए। इस तरह कुल मिलाकर पंचायत मतदाता सूची में 64 हजार 815 मतदाताओं की शुद्ध वृद्धि दर्ज की गई है। अनंतिम सूची प्रकाशित होने के बाद आपत्ति और दावे मांगे गए थे, जिसकी अवधि मंगलवार को समाप्त हो गई। पांच दिन में करीब 18 हजार वोटर बढ़े हैं तो करीब दो हजार वोटरों के नाम कटे हैं।

    पंचायत निर्वाचक नामावलियों का अंतिम प्रकाशन छह फरवरी 2026 तक किया जाएगा। प्रशासनिक सूत्रों के अनुसार, विधानसभा और पंचायत मतदाता सूचियों में मतदाताओं की संख्या लगभग बराबर होना एक असामान्य स्थिति है, लेकिन इसके पीछे के वास्तविक कारणों को लेकर कोई आधिकारिक बयान सामने नहीं आ रहा है।