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    गोरखपुर में आकर्षक लाइटों से जगमगाएगा ताल रिंग रोड, खर्च होगा 2.57 करोड़ रुपये

    Updated: Wed, 24 Sep 2025 12:56 PM (IST)

    गोरखपुर विकास प्राधिकरण (जीडीए) पैडलेगंज-मोहद्दीपुर रिंग रोड को आकर्षक लाइटों से सजाएगा जिसपर 2.57 करोड़ रुपये खर्च होंगे। मोहद्दीपुर से सहारा एस्टेट तक रिंग रोड का निर्माण जनवरी 2026 तक पूरा होने की उम्मीद है। जीडीए गौतम बुद्ध द्वार के पास ताल में गिरने वाले नालों का फाइटोरेमेडिएशन तकनीक से शोधन करेगा। इस परियोजना पर लगभग दो करोड़ रुपये खर्च होंगे।

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    रामगढ़ ताल रिंग रोड पर लगेगी ऑर्नामेंटल लाइट। जागरण

    जागरण संवाददाता, गोरखपुर। नौकायन रोड की ही तरह पैडलेगंज से मोहद्दीपुर रिंग रोड पर भी आकर्षक लाइटें लगाई जाएंगी। गोरखपुर विकास प्राधिकरण (जीडीए) ने इसकी कार्ययोजना बना ली है। अक्टूबर में ही शिलान्यास के बाद कार्य शुरू कराने की तैयारी है। परियोजना पर करीब 2.57 करोड़ रुपये खर्च होंगे।

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    करीब तीन माह पहले ही पैडलेगंज से मोहद्दीपुर स्थित स्मार्ट व्हील रिंग रोड को आवागमन के लिए खोला गया है। वर्तमान में मोहद्दीपुर से सहारा एस्टेट तक भी रिंग रोड का निर्माण कार्य तेजी से चल रहा है। जनवरी 2026 तक रिंग रोड का यह हिस्सा भी बनकर तैयार हो जाने की उम्मीद है।

    प्राधिकरण का जोर अब ताल के चारों ओर रिंग रोड के साथ ही इसके सुंदरीकरण पर भी है। इसी के तहत पैडलेगंज से मोहद्दीपुर तक रिंग रोड पर डेकोरेटिव लाइटें लगाने की परियोजना तैयार की गई है।

    उधर, प्राधिकरण गौतम बुद्ध द्वार के पास रिंग रोड से सटे क्षेत्र की ड्रेजिंग कराने के साथ ही ताल में गिरने वाले नगर निगम के पांच प्रमुख नालों का शोधन फाइटोरेमेडिएशन तकनीक से कराने जा रहा है। इस प्राकृतिक और कम लागत वाली तकनीक पर लगभग दो करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है। जीडीए ने परियोजना की डिटेल्ड प्रोजेक्ट रिपोर्ट (डीपीआर) तैयार कराने की प्रक्रिया शुरू कर दी है।

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    गौतम बुद्ध द्वार के पास रामगढ़ताल में गोल्फ क्लब नाला, पैडलेगंज (सिविल लाइन द्वितीय) नाला, साहबगंज मंडी नाला, रुस्तमपुर नाला और इंदिरानगर का नाला आकर मिलते हैं। जल निगम दावा करता है कि इन नालों को टैप कर पंपिंग स्टेशन से चिड़ियाघर स्थित सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) पर भेजा जाता है। लेकिन, मानसून के समय ज्यादा बहाव के कारण गंदा पानी ओवरफ्लो होकर सीधे ताल में चला जाता है, जिससे पानी की गुणवत्ता प्रभावित होने के साथ ही जैव विविधता पर गंभीर असर पड़ता है।

    नालों से आने वाले मलबे की वजह से बुद्धा गेट पंपिंग स्टेशन और रामगढ़ताल रिंग रोड के पास का इलाका सिल्ट से भर गया है। जीडीए इस हिस्से की ड्रेजिंग कर सिल्ट हटाने के साथ शोधन कार्य भी करेगा।