दैनिक जागरण गोरखपुर की 50वीं वर्षगांठ पर बोले सीएम योगी, 'आपातकाल हो या हल्ला बोल, अडिग रहा यह अखबार'
दैनिक जागरण गोरखपुर की 50वीं वर्षगांठ पर सीएम योगी ने अखबार की सराहना की।कहा कि आपातकाल हो या हल्ला बोल जागरण राष्ट्रवादी विचारधारा के प्रति अडिग रहा है। सीएम ने श्रीराम मंदिर आंदोलन के दौरान जागरण की भूमिका को भी रेखांकित किया। उन्होंने बताया कि तब किस तरह चौराहों पर नौजवान जागरण के संपादकीय पेज पर राष्ट्रीयता का भाव भरने वाले लेख पढ़कर समझते थे कि इससे कैसे जुड़ना है।

आशुतोष मिश्र, गोरखपुर। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि आपातकाल का दौर हो या 1994 का हल्ला बोल, दैनिक जागरण राष्ट्रवादी विचारधारा के प्रति अडिग रहा है। यही कारण है कि तानाशाही और अधिनायकवादी अंत:करण वाले विरोध में फतवे जारी करते रहते हैं। ऐसे लोग किसी का विकास नहीं देखना चाहते। वह अपना और अपने परिवार का विकास चाहते हैं।
मुख्यमंत्री ने श्रीराम मंदिर आंदोलन के दौरान दैनिक जागरण की भूमिका को रेखांकित किया। बताया कि तब किस तरह चौराहों पर नौजवान जागरण के संपादकीय पेज पर राष्ट्रीयता का भाव भरने वाले लेख पढ़कर समझते थे कि इससे कैसे जुड़ना है।
दैनिक जागरण गोरखपुर की 50वीं वर्षगांठ पर शनिवार को होटल कोर्टयार्ड बाय मैरिएट में ‘अभिव्यक्ति के उत्सव-संवादी’ के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने 19 अप्रैल, 1975 का वह दिन याद किया, जब दैनिक जागरण गोरखपुर के पहले अंक की प्रतियां यहां के लोगों के हाथों में आईं।
‘विकास यात्रा में गोरखपुर और दैनिक जागरण’ विषय को आगे बढ़ाते हुए वह बोले-’ जागरण के पूर्वजों ने गोरखपुर में पत्रकारिता का जो बीज रोपा, वह अभी दो महीने का ही हुआ था कि आपातकाल लग गया। तब स्वस्फूर्त भाव के साथ संपादकीय पेज ब्लैंक छोड़कर जागरण ने लोकतंत्र के चतुर्थ स्तंभ के रूप में सशक्त उपस्थिति दर्ज कराई।”
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को दैनिक जागरण गोरखपुर की 50वीं वर्षगांठ के अवसर पर गोरखपुर में आयोजित ‘अभिव्यक्ति के उत्सव - संवादी’ के दौरान दैनिक जागरण के विशिष्ट अंकों की प्रदर्शनी का अवलोकन किया। साथ में हैं (बाएं से) दैनिक जागरण के निदेशक सुनील गुप्त, सांसद रविकिशन और प्रबंध संपादक तरुण गुप्त। जागरण
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मुख्यमंत्री ने बताया कि तब गोरखपुर में कनेक्टिविटी का अभाव था, पलायन था। पहले से चले आ रहे उद्योग बंदी की ओर जा रहे थे। बाढ़ थी। मलेरिया के बाद इंसेफ्लाइटिस अपना पैर जमा रहा था। फिर वह दौर आया जब माफिया गैंग न केवल गोरखपुर को, बल्कि पूरे पूर्वी उत्तर प्रदेश को अपनी चपेट में ले चुके थे। विकास की प्रक्रिया को ठप करने वाली उस व्यवस्था और उन स्थितियों में मीडिया के बीच दैनिक जागरण गोरखपुर में आया और आगे बढ़ा।
योगी ने कहा कि व्यक्ति हो या संस्थान, उसे अपनी वैचारिक प्रतिबद्धता प्रकट करनी होगी। कोई भी जब अपनी विरासत से भटकेगा, उसके सामने पहचान का संकट खड़ा हो जाएगा। संवादी के मंच से मुख्यमंत्री ने दैनिक जागरण हिंदी बेस्टसेलर (जनवरी से मार्च 2025) की सूची का लोकार्पण भी किया।
कोर्टयार्ड में दैनिक जागरण संवादी गोरखपुर कार्यक्रम। जागरण
‘उन्होंने वन डिस्ट्रिक्ट वन माफिया दिया, हमने वन डिस्ट्रिक्ट वन मेडिकल कालेज’
संवादी के मंच से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विकास के पथ पर अग्रसर गोरखपुर सहित प्रदेश का शब्द चित्र भी उकेरा। सीएम योगी ने कहा कि 1947 से 50 के आसपास यूपी की प्रति व्यक्ति आय राष्ट्रीय औसत से अधिक थी, लेकिन 2017 में यह राष्ट्रीय औसत के एक तिहाई पर आ गई। 2017 से सरकार ने प्रयास शुरू किए तो आज उत्तर प्रदेश की पहचान देश की तेजी से उभरती अर्थव्यवस्था के रूप में है।
उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में 2017 के पूर्व एक एक्सप्रेसवे था जबकि आठ सालों में छह एक्सप्रेसवे बन गए हैं और सात पर काम चल रहा है। उन्होंने कहा कि आजादी के 70 वर्ष बाद उत्तर प्रदेश के एक शहर में मेट्रो चल रही थी, आज छह शहरों में मेट्रो का संचालन हो रहा है। 2017 के पहले यूपी की जीडीपी 12.75 लाख करोड़ थी, जो आठ वर्षों में बढ़कर 30 लाख करोड़ रुपये हो चुकी है। 2017 में प्रति व्यक्ति आय 46 हजार रुपये थी, जो कि अब बढ़कर 1.10 लाख रुपये हो गई है।
दैनिक जागरण गोरखपुर की 50वीं वर्षगांठ के अवसर पर होटल कोर्टयार्ड बाय मैरिएट में आयोजित संवादी के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को स्मृति चिह्न प्रदान करते दैनिक जागरण के निदेशक सुनील गुप्त । साथ में प्रबंध संपादक तरुण गुप्त।-अभिनव राजन चतुर्वेदी
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इंटरस्टेट कनेक्टिविटी बेहतर हुई है। हाईवे और रेल का सबसे बड़ा नेटवर्क आज यूपी में है। पहली रैपिड रेल और पहले इनलैंड वाटरवे की सेवा यूपी ने शुरू की है। मुख्यमंत्री ने प्रदेश की पिछली सरकारों पर निशाना साधते हुए कहा कि उन सरकारों ने वन डिस्ट्रिक्ट वन माफिया दिया, जबकि 2017 के बाद आई डबल इंजन सरकार ने वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट और वन डिस्ट्रिक्ट वन मेडिकल कालेज देकर इस राज्य की पहचान को बहाल कराया है।
आज उत्तर प्रदेश देश की अर्थव्यवस्था के लिए ग्रोथ इंजन के रूप में स्थापित हुआ है। 2017 के पहले तक यूपी को बीमारू राज्य और विकास में बैरियर माना जाता था, जबकि आज यह विरासत और विकास की शानदार यात्रा का बेहतरीन मॉडल बन गया है।
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