By omkar verma Edited By: Aysha Sheikh Updated: Sat, 10 Feb 2024 11:24 AM (IST)
UP News विशेष न्यायाधीश एससी / एसटी एक्ट नेहा आनंद ने मारपीट व एससी/एसटी एक्ट में चाचा-भतीजे को तीन- तीन वर्ष का साधारण कारावास की सजा सुनाई है। दो दोषियों पर 11-11 हजार रुपये अर्थदंड लगाया है। विवेचना के उपरांत पुलिस ने आरोप पत्र न्यायालय पर प्रेषित किया। न्यायाधीश ने दोनों दोषियों पर दोष सिद्ध करते हुए सजा सुनाई।
संवाद सूत्र, अंबेडकरनगर। विशेष न्यायाधीश एससी/एसटी एक्ट नेहा आनंद ने मारपीट व एससी/एसटी एक्ट में चाचा-भतीजे को तीन-तीन वर्ष का साधारण कारावास की सजा सुनाई है। दो दोषियों पर 11-11 हजार रुपये अर्थदंड लगाया है। इब्राहिमपुर के खूखूतारा गांव में मनीराम अपने घर का पानी रास्ते पर निकाल रहे थे।
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पानी सत्यमान के घर से सामने से बह रहा था। इसका विरोध करने पर 29 मई 2010 को मनीराम, रामबहाल, दुर्गेश ने सत्यमान व इनके पिता अनंतराम की लाठी-डंडा व सरिया से पिटाई कर दी। सिर व पैर में गंभीर चोट लगी। शोर पर ग्रामीणों ने पहुंचकर बीच-बचाव किया।
आरोपित जान से मारने की धमकी देते हुए चले गए। सत्यमान की तहरीर पर पुलिस ने तीनों आरोपितों के खिलाफ केस दर्ज किया। विवेचना के उपरांत पुलिस ने आरोप पत्र न्यायालय पर प्रेषित किया। इस बीच अभियुक्त मनीराम की मौत हो गई।
सत्र परीक्षण के दौरान विशेष लोक अभियोजक एससी/एसटी एक्ट सुदीप मिश्र ने गवाहों को न्यायालय पर परीक्षित कराते हुए सजा दिए जाने के पक्ष में तर्क प्रस्तुत किया। न्यायाधीश ने दोनों दोषियों पर दोष सिद्ध करते हुए सजा सुनाई।
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