Uttarkashi Cloudburst: उत्तराखंड में राहत-बचाव के लिए यूपी से भेजे गए वायुसेना के विमान, सी-295 इसी साल बना था सेना का हिस्सा
उत्तराखंड के धराली गांव में बादल फटने से आई आपदा के बाद वायुसेना राहत कार्यों में जुट गई है। आगरा से एएन-32 और सी-295 विमान 114 सैनिकों और 13.5 टन राहत सामग्री के साथ भेजे गए। बरेली से एमआई-17 और एएलएच एमके-3 हेलीकॉप्टर भी भेजे गए हैं। सी-295 विमान पहली बार किसी आपदा राहत कार्य में शामिल हुआ है। वायुसेना हर संभव मदद के लिए तैयार है।

जागरण संवाददाता, आगरा। उत्तराखंड के धराली गांव में बादल फटने से आई आपदा ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया। जल प्रलय से बड़ी संख्या में लोग लापता हैं। राहत एवं बचाव कार्य के लिए वायुसेना ने भी पूरी ताकत झोंक दी है। बुधवार को आगरा से एएन-32 और सी-295 विमान के साथ 114 सैनिक और 13.5 टन राहत सामग्री उत्तराखंड भेजी गई। सी-295 विमान इसी साल जनवरी में भारतीय वायुसेना का हिस्सा बना है। इसे 12वीं स्क्वाड्रन में शामिल किया गया है। पहली बार किसी आपदा एवं बचाव कार्य में शामिल हुआ है। बरेली से एमआई-17 और एएलएच एमके-3 हेलीकॉप्टर को रवाना किया गया। दोनों विमान और हेलीकाप्टर देहरादून पहुंच गए हैं।
खीर गंगा नदी में बादल फटने से मंगलवार को धराली गांव तबाह हो गया। जल प्रलय के वीडियो इंटरनेट मीडिया में प्रसारित हो रहे हैं। राष्ट्रीय आपदा अनुक्रिया बल (एनडीआरएफ), भारतीय सेना सहित संस्थाओं को भी राहत कार्य में लगाया गया है। बुधवार को मध्य वायु कमान, भारतीय वायुसेना ने एक्स पर संबंधित बचाव कार्य के फोटो साझा किए। वायुसेना स्टेशन आगरा से एएन-32 और सी-295 मालवाहक विमान और बरेली से एमआइ-17 और एएलएच एमके-3 हेलीकाप्टर से सुबह रवाना हुए। इन सभी की देहरादून में लैंडिंग हुई। हेलीकाप्टर से आपदा पीड़ित लोगों को राहत सामग्री का वितरण किया जा रहा है।
हर संभव मदद करेंगे
सेवानिवृत्त कर्नल जीएम खान का कहना है कि उत्तराखंड में आई जल प्रलय में प्रभावित लोगों के लिए सेना और वायुसेना राहत कार्य कर रही है। सेवानिवृत्त अधिकारियों की जरूरत पड़ेगी तो वह भी पीछे नहीं हटेंगे। सेवानिवृत्त मेजर जनरल प्रताप दयाल का कहना है कि आपदा की घड़ी में पूरा देश उत्तराखंड के लोगों के साथ खड़ा है।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।