Agra News: सुनवाई के लिए 15 मार्च महत्वपूर्ण, मुस्लिम पक्ष की अपील खारिज, लघुवाद न्यायालय में पहुंचा जामा-मस्जिद और केशव देव विग्रह
Jama Masjid Case Agra जामा मस्जिद पक्ष ने प्रस्तुत किया था प्रार्थना पत्र 15 मार्च को होगी अगली सुनवाई। न्यायालय ने दोनों पक्षाें को सुनते हुए जामा मस्जिद के प्रार्थना पत्र को खारिज कर दिया। लघुवाद न्यायालय में योगेश्वर श्रीकृष्ण जन्मसंस्थान सेवा संघ ट्रस्ट के अध्यक्ष एवं अधिवक्ता अजय प्रताप सिंह की ओर से पिछले वर्ष याचिका दायर की गई थी।

जागरण संवाददाता, आगरा। जामा मस्जिद की सीढ़ियों में केशव देव के विग्रह दबे होने के मामले की सुनवाई लघुवाद न्यायालय में ही होगी। मामले की सुनवाई के क्षेत्राधिकार को लेकर जामा मस्जिद पक्ष की ओर से प्रस्तुत प्रार्थना पत्र को खारिज लघुवाद न्यायालय के न्यायाधीश मृत्युंजय श्रीवास्तव ने खारिज करने के आदेश दिए। सुनवाई के लिए अगली तिथि 15 मार्च नियत की है।
लघुवाद न्यायालय में योगेश्वर श्रीकृष्ण जन्मसंस्थान सेवा संघ ट्रस्ट के अध्यक्ष एवं अधिवक्ता अजय प्रताप सिंह की ओर से पिछले वर्ष याचिका दायर की गई थी। जिसमें जामा मस्जिद की सीढ़ियों में केशव देव के विग्रह दबे होने का दावा किया गया है। याचिका में जामा मस्जिद इंतजामिया कमेटी और सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड को प्रतिवादी बनाया गया है।
वाद काे किया खारिज
मामले में वादी पक्ष की ओर से अधिवक्ता राजेश कुलश्रेष्ठ और अधिवक्ता अजय प्रताप सिंह ने वाद की पोषणीयता (क्षेत्राधिकार) पर जिरह की थी। विपक्षी जामा मस्जिद पक्ष की ओर से काज आफ एक्शन व एस्टोपल के अधीन वाद को खारिज होने योग्य बताया था।
इस पर वादी पक्ष के अधिवक्ताओं ने सर्वोच्च न्यायालय के स्वामी आत्मानंद बनाम रामकृष्ण तपोवन, कृष्ण राय बनाम बनारस हिंदू विश्वविद्यालय आदि केसों की नजीर दी थी। औरंगजेब की पुस्तक मसिर-ए-आलमगीरी के तथ्य को पेश करते हुए विपक्षी जामा मस्जिद के प्रार्थना पत्र को खारिज होने योग्य बताया था।
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अगली तारीख 15 मार्च
न्यायालय ने दोनों पक्षों को सुनते हुए जामा मस्जिद के प्रार्थना पत्र को खारिज कर दिया। न्यायालय ने कामरेड भजनलाल और मोहम्मद इख्तियार द्वारा विपक्षी बनने को दिए प्रार्थना पत्रों काे भी खारिज कर दिया। सुनवाई की अगली तिथि 15 मार्च तय की है। ट्रस्ट के अध्यक्ष अधिवक्ता अजय प्रताप सिंह ने बताया कि जल्दी जामा मस्जिद की सीढ़ियां खुदेगी और प्रभु श्रीकृष्ण लला के विग्रहों को बाहर निकला जाएगा।
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सरकार और पुरातत्व विभाग को पक्षकार बनाए जाने के आदेश
कथा वाचक देवकी नंदन ठाकुर के समर्थकों की ओर से जामा मस्जिद में केशव देव विग्रह दबे होने को लेकर भी याचिका पिछले वर्ष जून में दायर की गई थी। मामले में लघुवाद न्यायाधीश मृत्युंजय श्रीवास्तव ने भारत सरकार और पुरातत्व विभाग को पक्षकार बनाए जाने के आदेश पारित किए हैं। वादी पक्ष को निर्देशित किया है कि वह सात दिनों के अंदर दोनों पक्षकारों को सम्मन भेजे। सरकार और पुरातत्व विभाग को 15 मार्च को अपना जवाब प्रस्तुत करने का भी आदेश दिया है।
7 दिनों के अंदर दोनों को समन तामील कराने के आदेश
वादी पक्ष के अधिवक्ता विनोद कुमार शुक्ला ने बताया, उन्होंने पूर्व तिथि पर न्यायालय में भारत सरकार और पुरातत्व विभाग को पक्षकार बनाए जाने काे प्रार्थना पत्र दिया था। इसमें पुरातत्व विभाग द्वारा जामा मस्जिद की सीढ़ियों में केशव देव विग्रह दबे होने का सर्वे कराए जाने को प्रार्थना पत्र दिए थे। न्यायालय ने वाद में सरकार और पुरातत्व विभाग को पक्षकार बनाए जाने के आदेश पारित किए हैं। दोनों नए पक्षकारों से 15 मार्च को न्यायालय में जवाब दाखिल करने का आदेश दिया है। वहीं, मामले मे भगवान सिंह लोधी एवं इरशाद अली द्वारा पक्षकार बनने काे दिए गए प्रार्थना पत्रों को भी न्यायालय ने निरस्त कर दिया है।

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