Baisakhi 2025: आज मनाया जा रहा है बैसाखी का पर्व, जानिए इस दिन से जुड़ी महत्वपूर्ण बातें
सिख समुदाय के लिए बैसाखी के पर्व का विशेष महत्व है। हर साल वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की प्रतिपदा तिथि पर बैसाखी का पर्व बहुत ही धूमधाम के साथ मनाया जाता है। वैशाख माह के पहले दिन यानी बैसाखी के त्योहार पर देश और विदेश में गुरुद्वारों में अधिक रौनक देखने को मिलती है। आइए जानते हैं इस पर्व से जुड़ी महत्वपूर्ण बातें।

धर्म डेस्क, नई दिल्ली। हर साल वैशाख माह के पहले दिन बैसाखी का पर्व मनाया जाता है। धार्मिक मान्यता के अनुसार, बैसाखी के दिन ही सूर्य मीन राशि से निकलकर मेष राशि में गोचर करते हैं। इस बार बैसाखी का पर्व 13 अप्रैल को मनाया जाएगा। इस शुभ अवसर लोग घरों में खास पकवान और नाच-गाने का आयोजन किया जाता है। क्या आपको पता है कि बैसाखी का त्योहार कैसे मनाया जाता है? अगर नहीं पता, तो आइए हम आपको बताएंगे इसके बारे में।
कब है बैसाखी 2025 (Baisakhi 2025 Date)
वैदिक पंचांग के अनुसार, आज यानी13 अप्रैल को वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की प्रतिपदा तिथि तिथि है। इसी दिन बैसाखी का पर्व मनाया जाता है और प्रतिपदा तिथि से वैशाख माह की शुरुआत होती है।
ब्रह्म मुहूर्त - सुबह 04 बजकर 28 मिनट से 05 बजकर 13 मिनट तक
विजय मुहूर्त - दोपहर 02 बजकर 30 मिनट से 03 बजकर 21 मिनट तक
गोधूलि मुहूर्त - शाम 06 बजकर 45 मिनट से 07 बजकर 07 मिनट तक
निशिता मुहूर्त - रात्रि 11 बजकर 59 मिनट से 12 बजकर 44 मिनट तक
(Pic Credit-Freepik)
सूर्योदय और सूर्यास्त का समय
सूर्योदय - सुबह 05 बजकर 58 मिनट पर
सूर्यास्त - शाम 06 बजकर 46 मिनट पर
चन्द्रोदय- शाम 07 बजकर 12 मिनट पर
चंद्रास्त- कोई नहीं।
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कैसे मनाई जाती है बैसाखी (How is Baisakhi celebrated)
- इस दिन सुबह स्नान करने के बाद लोग गुरुद्वारों में भजन और प्रार्थना करते हैं। गुरुद्वारों को अधिक सुंदर तरीके से सजाया जाता है और खास रौनक देखने को मिलती है।
- गुरुद्वारे में माथा टेकने के साथ ही जीवन में सुख-शांति की प्राप्ति के लिए कामना करते हैं।
- इसके अलावा धार्मिक कार्यक्रम और जुलूस का आयोजन किया जाता है।
- घरों में सरसों का साग और मक्के की रोटी समेत कई तरह के पकवान बनाए जाते हैं।
इस उपाय से करियर में सफलता
अगर आपको जीवन में अधिक मेहनत करने के बाद भी करियर में सफलता नहीं मिल रही है, तो ऐसे में बैसाखी के दिन गरीब लोगों में मूंग की दाल की खिचड़ी का दान करें। ऐसा माना जाता है कि इस उपाय को करने से साधक को करियर में सफलता मिल सकती है। इसके अलावा अन्न और धन का करना चाहिए। इससे साधक को जीवन में शुभ परिणाम देखने को मिलते हैं।
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अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।
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